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Indian Railway News : महाजाम के पांच दिन, रेलवे को 1000 करोड़, सड़क जाम होने से भी 200 करोड़ रुपये का नुकसान, ट्रेनों का परिचालन शुरू, जानें और क्या-क्या हुआ

चक्रधरपुर आद्रा व खड़गपुर रेल मंडल के विभिन्न स्टेशनों पर आदिवासी कुड़मी समाज की ओर से रेल रोका और हाइवे जाम के कारण जहां यात्रियों को व्यापक परेशानियों का सामना करना पड़ा वहीं रेलवे को 1000 करोड़ का नुकसान उठाना पड़ा है। व्यापारियों को 200 करोड़ का नुकसान हुआ है।

By JagranEdited By: Uttamnath PathakPublished: Mon, 26 Sep 2022 02:16 PM (IST)Updated: Mon, 26 Sep 2022 02:16 PM (IST)
Indian Railway News : महाजाम के पांच दिन, रेलवे को 1000 करोड़, सड़क जाम होने से भी 200 करोड़ रुपये का नुकसान, ट्रेनों का परिचालन शुरू, जानें और क्या-क्या हुआ
सोमवार को टाटानगर स्टेशन से ट्रेन रवाना होने के दौरान बैठे यात्री।

जासं, जमशेदपुर : कुड़मियों के रेल राेको आंदोलन व महाजाम के कारण पांच दिन तक ट्रेनों का परिचालन ठप होने के कारण दक्षिण पूर्व रेलवे को लगभग 1000 करोड़ रुपये का नुकसान होने की संभावना है। आदिवासी कुड़मी समाज के लोगों ने पांच दिनों तक आद्रा डिवीजन के नीमडीह व कुस्तौर, चक्रधरपुर मंडल के आंगलाझुड़ी व खड़गपुर डिवीजन के खेमाशुली व सालबनी रेलवे स्टेशन पर आकर रेलवे ट्रैक को जाम कर दिया था। इसके कारण हावड़ा-मुंबई मार्ग पूरी तरह से ठप हो गया था। ऐसे में पांच दिनों में रेलवे ने 295 मेल, एक्सप्रेस व पैसेंजर ट्रेनों को रद किया। इसके अलावा 90 ट्रेनों को अलग-अलग स्टेशनों पर शार्ट टर्मिनेट किया और 105 ट्रेनों को बदले हुए मार्ग से चलाया। इसके कारण अलग-अलग स्टेशनों से लाखों यात्रियों ने अपने कंफर्म टिकट को रद कराया। वहीं, बदले हुए मार्ग से ट्रेन चलाने से ट्रेन अपने वर्तमान स्टेशन के बजाए बदले हुए मार्ग से चली, लंबी दूरी तय करने के कारण रेलवे को भी करोड़ों रुपये का नुकसान हुआ। आंदोलन खत्म होने के बावजूद अब जाकर ट्रेन का परिचालन सामान्य हो रहा है।

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150 गुड्स ट्रेनों की नहीं हुई लोड़िंग

दक्षिण पूर्व रेलवे का चक्रधरपुर मंडल पूरे देश में माल ढुलाई के मामले में दूसरे नंबर पर है। यहां से लौह अयस्क, कोयला, सीमेंट, पेट्रोलियम प्रद्धार्थ सहित कई तरह की खाद्य सामग्रियों की लोड़िंग-अनलोड़िंग होती है। आंदोलन के कारण पांच दिनों में 150 गुड्स ट्रेनों की लोड़िंग नहीं हुई। जबकि 175 ट्रेनों को अलग-अलग स्टेशनों पर रोक दिया गया, वे अपने निर्धारित समय पर गंतव्य तक नहीं पहुंच पाई। इसके कारण भी रेलवे को करोड़ों रुपये का नुकसान हुआ।

एनएच पर भी लगा रहा लंबा जाम

आंदोलनकारियों ने झारखंड को खड़गपुर से जोड़ने वाले राष्ट्रीय राजमार्ग को भी जाम कर दिया था। इसके कारण पांच दिनों में एनएच के दोनों छोर पर लगभग 60 किलोमीटर लंबा जाम लग गया था। इसके कारण हावड़ा से देश के विभिन्न क्षेत्रों में जाने वाले मालवाहक वाहनों के पहिए थम गए। इसके कारण भी विभिन्न वाहन मालिकों सहित ट्रांसपोर्ट कंपनियों को लगभग 200 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ।


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