मिशन गंगे: बछेंद्री पाल की सेना ने आठ टन से अधिक कचरा हटाया
मिशन गंगे पर निकली बछेंद्री पाल की सेना अभी वाराणसी में हैं। यहां टीम के सदस्यों ने 15 स्कूलों विद्यार्थियों के बातचीत की।
जमशेदपुर(जासं)। गंगा की सफाई के प्रति लोगों के बीच जागरूकता फैलाने को 'मिशन गंगे' पर निकली बछेंद्री पाल की सेना अभी वाराणसी में हैं। यहां टीम के सदस्यों ने 15 स्कूलों के 13,000 से अधिक स्कूली विद्यार्थियों के बातचीत की। टीम ने इन्हें अपशिष्ट प्रबंधन के बारे में शिक्षित किया और अपनी प्रकृति को स्वच्छ बनाये रखने की जरूरत के प्रति जागरूक किया।
पांच अक्टूबर को अभियान आरंभ हुआ था। तत्पश्चात, हरिद्वार, बिजनौर, फर्रुखाबाद, कानपुर और इलाहाबाद के बाद वाराणसी में मिशन गंगे टीम का यह छठा ठहराव था। वाराणसी में टीम ने 23 और 25 अक्टूबर के बीच 1,000 से अधिक स्वयंसेवकों की मदद से अस्सीघाट, दशास्वमेध घाट और राजघाट में 8 टन कचरा साफ किया। टीम ने 5000 से अधिक स्थानीय लोगों के साथ बातचीत की और उन्हें पवित्र गंगा नदी की सफाई के बारे में जागरूक किया। यहां से बक्सर, बिहार में टीम का सातवां ठहराव होगा, जहां इसके सदस्य एक दिन ठहर कर सफाई और जागरुकता अभियान जारी रखेंगे।
'मिशन गंगे' अपशिष्ट प्रबंधन और गंगा की सफाई के लिए एक महीने के राफिं्टग अभियान के माध्यम से जागरूकता प्रसार के लिए टाटा स्टील एडवेंचर फाउंडेशन (टीएसएएफ) और नेशनल मिशन फॉर क्लीन गंगा (एनएमसीजी) की संयुक्त पहल है। राफिं्टग के माध्यम से लगभग 1,500 किलोमीटर की दूरी तय कर अभियान को पूरा किया जायेगा। यह अभियान बिजनौर, फर्रुखाबाद, कानपुर, इलाहाबाद, वाराणसी और बक्सर समेत आठ प्रमुख शहरों से होते हुए 30 अक्टूबर, 2018 को पटना में समाप्त होगा।