जान ले रही सड़क पर दौड़ने वाली फर्जी और खटारा एंबुलेंस Jamshedpur News
पूर्वी सिंहभूम जिले में चलने वाली अधिकतर एंबुलेंस खटारा हो चुकी है। करीब 90 से 95 एंबुलेंस का न तो रजिस्ट्रेशन है और न ही वह मानक के अनुरूप हैं।
जमशेदपुर (जागरण संवाददाता)। आपकी जान बचे या चली जाए, इसकी परवाह शायद ही जिला स्वास्थ्य विभाग को है। अगर, होती तो इतनी बड़ी संख्या में फर्जी व खटारा एंबुलेंस नहीं दौड़ रही होती। पूर्वी सिंहभूम जिले में चलने वाली अधिकतर एंबुलेंस फर्जी व खटारा हो चुकी है। करीब 90 से 95 एंबुलेंस का न तो रजिस्ट्रेशन है और न ही वह मानक के अनुरूप हैं। फिर भी वह धड़ल्ले से चल रही हैं।
मरीजों की जान से खिलवाड़ हो रहा है। एक चालक ने बताया कि सिविल सर्जन कार्यालय में रजिस्ट्रेशन कराना पड़ता है, इसके बाद ही कोई एंबुलेंस दौड़ा सकता है। शहर में चल रही एंबुलेंस में मरीजों की जान बचाने के लिए न तो कोई जीवन रक्षक उपकरण लगे होते हैं और न ही सुरक्षा का कोई इंतजाम होता हैं। बुधवार को दैनिक जागरण की टीम ने कुछ निजी व सरकारी एंबुलेंस की पड़ताल की तो व्यवस्था की पोल खुल गई।
एक निजी एंबुलेंस धर्मेद्र यादव नामक मरीज को अस्पताल ले जा रही थी, लेकिन जीवन रक्षक उपकरण के नाम पर कुछ भी नहीं था। सिर्फ एक स्ट्रेचर व चालक मौजूद था। जबकि, एक एंबुलेंस में चिकित्सीय टीम के साथ-साथ सारे उपकरण मौजूद होने चाहिए। एमजीएम असपताल में खड़ी एक निजी एंबुलेंस में कोई भी उपकरण नहीं है। सिर्फ एक ऑक्सीजन सिलेंडर ही उपलब्ध है।
शार्ट-सर्किट से आग लगी तो भगवान ही मालिक
आग से बचाव के मामूली उपकरण तक एंबुलेंस में नहीं मिलेंगे। एक निजी एंबुलेंस में देखा गया कि आग से बचाव के लिए लगाया गया उपकरण कबाड़ की तरह डिब्बे में कैद है। उसकी एक्सपायरी डेट तक साफ नहीं दिख रही थी। धूल की परत उपकरण पर जमी थी। ऐसा प्रतीत हो रहा था कि मरीज की जान बचाने वाली एंबुलेंस कहीं मौत का सबब न बन जाए।
एंबुलेंस में यह सुविधाएं जरूरी
►एंबुलेंस में एक चालक, एक इमरजेंसी मेडिकल टेक्नीशियन व एक नर्स 24 घंटे तैनात रहने चाहिए, ताकि मरीज की देखभाल कर सकें।
►मरीजों को चढ़ाने और उतारने के लिए तीन तरह के स्ट्रेचर व ट्रॉली होने चाहिए।
►एंबुलेंस के अंदर पंखा, ऑक्सीजन, सैक्शन मशीन, स्लाइन, प्रसव की सुविधा व जरूरी दवाएं उपलब्ध होनी चाहिए।
►हार्ट अटैक के मरीज के लिए एंबुलेंस में काडिए डियुकिबेलेटर मशीन होनी चाहिए।
►एंबुलेंस रजिस्टर्ड होनी चाहिए।