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सादगी से मनाएं शब-ए बरात, मुल्क के लिए करें दुआ : डॉ.जमाल अहमद

हजारीबाग पूरी दुनिया में मुसलमानों को शब-ए-बरात की इस इबादत वाली रात का साल भर से इं

By JagranEdited By: Published: Wed, 08 Apr 2020 08:29 PM (IST)Updated: Thu, 09 Apr 2020 06:18 AM (IST)
सादगी से मनाएं शब-ए बरात, मुल्क के लिए करें दुआ : डॉ.जमाल अहमद
सादगी से मनाएं शब-ए बरात, मुल्क के लिए करें दुआ : डॉ.जमाल अहमद

हजारीबाग : पूरी दुनिया में मुसलमानों को शब-ए-बरात की इस इबादत वाली रात का साल भर से इंतजार रहता है। इस्लामी कैलेंडर के आठवें महीने शाबान की चौदहवीं तारीख ( सूर्यास्त) मगरिब के बाद से शुरू होकर पूरी रात से सुबह के फजर तक चलते रहता है। इस रात को लोग अपने गुनाहों से तौबा करते हैं। अल्लाह अपने फजल से नेकियों के दरवाजे खोल देते हैं और तौबा क़बूल होती है। अल्लाह अपने फरिश्तों से फरमाते हैं कि आज की रात कोई सवाली खाली ना जाए। जो बंदा जो दुआ मांगे, उसके हक में वह कबूल कर ली जाएगी। यह बातें इस्लामिक इतिहास के जानकार, सह प्रोफेसर संत कोलंबा महाविद्यालय डा. जमाल अहमद ने कही। कहा कि इस बार शब-ए- बरात सादगी से मनाएं और अपने मुल्क के लिए दुआ करें। महामारी के कारण लाकडाउन चल रहा है, इसलिए अपने-अपने घरों में इबादत करें। ऐसे ही मौकों के लिए आप अल्लाह के रसूल( स.) ने फरमाया कि तुम सुन लो कि किसी जगह महामारी फैल रही है, तो वहां मत जाओ और जहां हो उसी जगह ठहर जाओ। ऐसे मौके पर घर में ही रहकर इबादत करें और साथ ही साथ रोजा रखें। पटाखे आतिशबाजी का इस्तेमाल ना करें, यह सख्त मना है। आज की रात सादगी के साथ अपने-अपने घरों में रहकर नफल की नमाजे पढ़ें। फातिहा खानी करें और सोशल डिस्टेंस को बनाए रखें यही वक्त की मांग और पैगाम है।

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घर से ही इबादत करें लोग, तंजीमे अहले सुन्नत की अपील

संसू, हजारीबाग : मुस्लिम धर्मावलंबियों का महत्वपूर्ण त्यौहार शबे बारात यानी 14वीं शाबान नौ अप्रैल गुरूवार को मनाया जाएगा। विश्व के साथ साथ हमारे देश में भी इस बार कोरोना वायरस का संक्रमण फैला हुआ है। ऐसे में तंजीमे अहले सुनत हजारीबग ने सभी अहले ईमान से अपने अपने घरों में ही इबादत करने को कहा है। मस्जिद नहीं जाने की ताकीद की है। साथ ही साथ गुजरे हुए लोगों के इसाले सवाल व फातेहा के लिए कब्रिस्तान भी न जाए बल्कि अपने अपने घरों से इसाले सवाब करें। यह फैसला तंजीत की मोबाईल कॉनफ्रेंस मीटिग में लिया गया था। मौके पर मौलाना महबूब आलम मिस्बाही, मौलाना अब्दुल वाहिद मिस्बाही, मौलाना मुखतार हबीबी मिस्बाही, मौलाना गुलाम वारिस, मुफ्ती मोबिन अहमद, मौलाना जलील साहब, मौलाना रफीक अहमद, जनाब निसार अहमद मुख्य शामिल थे।

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लॉक डॉन का पालन करते हुए अपने अपने घरों में करें इबादत

संसू, हजारीबाग : राष्ट्रीय मुस्लिम महासभा के जिला अध्यक्ष साजिद अली खान ने एक बयान जारी कर कहा है कि कोरोना वायरस के कारण इस समय देश में लॉक डॉन चल रहा है। इस बीच 9 अप्रैल को शब-ए- बरात है। यह बड़े ही इबादत की रात है इस रात में ज्यादातर दुआएं कुबूल होती है, अल्लाह ताला सबों को शबे बरात की रात इबादत करने की तौफीक दे और हमारी दुआएं कबूल करते हुए हमारे गुनाहों को माफ करें। यह भी कहा कि अब तक हम सब लॉकडॉन का पालन करते हुए त्योहार मनाएं। इबादतगाह, मस्जिद, मदरसा, मजार, कब्रिस्तान को छोड़कर अपने घरों में ही इबादत व इसाले सवाब करें। निश्चित तौर पर इन कुर्बानियों और आपसी सौंदर्य से हम करोना वायरस जैसे संक्रमण से जंग जीत सकते है। शब ए-बरात के रोज आप सब अपने मुल्क और इंसानियत को बचाने के लिए दुआएं करते हुए जिले के लॉक डॉन का पालन करें।

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बंद रहेगा कब्रिस्तान का दरवाजा

संस, हजारीबाग : देश भर में कोरोना संक्रमण को लेकर जारी लॉक डाउन के कारण इस वर्ष शबे बारात के त्यौहार में खीरगांव कब्रिस्तान का गेट बंद रहेगा। यह जानकारी देते हुए कब्रिस्तान कमेटी के सदर मुशर्रफ कुरैशी ने बताया कि लाक डाउन के कारण कब्रिस्तान का गेट बंद रखने का निर्णया लिया गया है ताकि भीड न लगे।कहा कि सभी लोग अपने अपने घर से ईसाले सवाब करें ओर घर से ही फातिहा पढ़ें।

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