सजनी ने पहले चांद फिर किए साजन का दीदार
जागरण संवाददाता गुमला गुमला गोपाल मंदिर में व अपने अपने घरों में रविवार को करवा चौथ के
जागरण संवाददाता, गुमला : गुमला गोपाल मंदिर में व अपने अपने घरों में रविवार को करवा चौथ के अवसर पर शिव-पार्वती व गणेश की पूजा की गई। पूजा के दौरान गोपाल मंदिर के पुजारी राजेश्वर पाठक व उनकी बेटी सविता पाठक ने सात भाई और एक बहन की कथा व्रतधारी महिलाओं को सुनाई। इसके बाद ग्रुप में बैठी महिलाओं ने अपनी-अपनी थालियों को बदला।
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सोलह श्रृंगार कर घर से निकली महिलाएं
व्रतधारी महिलाएं पूजा करने के लिए अपने अपने घरों से सोलह श्रृंगार कर मंदिर परिसर तक गई। इस दौरान व्रतधारी महिलाओं ने अपने हाथों में पूजा की थाली व दीया लेकर मंदिर तक पहुंचीं।
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सरगी खाकर की व्रत की शुरुआत
रविवार की सुबह चार बजे करवा चौथ का व्रत व्रतधारी महिलाओं ने आरंभ किया। इस दौरान सुबह उठकर नहा धोकर अपने सास-ससुर के पांव छूकर आशीर्वाद लिया। फिर सरगी खाकर व्रत की शुरुआत की। सरगी में फल, सूखे मेवे, मिठाई, सेवाई पुड़ी का इस्तेमाल व्रतधारी महिलाओं ने किया।
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चंद्रमा को अर्घ्य दे व्रतधारियों ने खोला व्रत
पूजा-अर्चना के बाद व्रतधारी महिलाएं चंद्रमा निकलने के इंतजार में बैठी रही। रात में जैसे ही चांद निकला, सज-धज कर बैठी व्रतधारी महिलाओं ने चांद के दर्शन किये। व्रतधारी महिलाएं एक थाली को सजा कर अपने छत, आंगन व जहां से चांद दिखाई दे वहां पहुंचे। थाली में दीया जल रहा था। चांद को अर्घ्य देने के बाद व्रतधारी महिलाओं ने छलनी से चांद को देखा फिर उसी छलनी से अपने पति की सूरत देखी और पति ने अपने हाथों से पत्नी को पानी पिलाकर व्रत खोलवाया। फिर पत्नी ने पति के पांव छूकर उनका आशीर्वाद लिया। व्रतियों ने अपने सास ससुर के पांव छुए और उन्हें स्वादिष्ट भोजन करवाया और खुद भी खाया।
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वीडियो कालिग कर किया साजन का दीदार
इस बार करवा चौथ में अत्याधुनिक तरीकों का भी इस्तेमाल किया गया। जिस व्रतधारी महिलाओं के पति दूसरे शहरों में करवा चौथ के दिन रहे वैसे व्रतधारी महिलाओं ने चांद देखने के बाद अपने पतियों के दर्शन मोबाइल की मदद से वीडियो कालिग के माध्यम से की। वहीं कुछ महिलाओं ने तो अपने पति के फोटो से ही काम चला लिया और कुछ ने तो उनकी आवाज सुनकर ही अपना व्रत खोला।
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17 वर्षों से कर रही है व्रत
गुमला जिला जनसंपर्क पदाधिकारी देवेंद्र नाथ भादुड़ी की पत्नी सोमा भादुड़ी 17 वर्षों से करवा चौथ का व्रत अपने पति के लिए कर रही है। करवा चौथ की तैयारी में पत्नी का साथ देवेंद्र नाथ भी देते हैं। दोनों मिलकर ही पूरे व्रत की सामग्री की खरीदारी 17 वर्षों से करते आ रहे है। इतना ही नहीं शादी के 17 वर्ष बीत जाने के बाद भी आज भी अपनी पत्नी को करवा चौथ के दिन एक गिफ्ट जरुर देते हैं। .....
सुहाग की रक्षा और परिवार में सुख शांति व समृद्धि के लिए करवा चौथ की व्रत रखी हूं। यह मेरा पहला व्रत है काफी अच्छा लग रहा है।
- श्रेया आनंद मेरा पहला करवा चौथ है। पति के लंबी उम्र के लिए दिन भर उपवास रखी हूं। चांद के साथ पति का भी दीदार करने के बाद ही पारण करूंगी।
-सानवी जायसवाल
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सिख समुदाय में करवा चौथ पर्व का विशेष महत्व है। पति के दीर्घायु जीवन के लिए 32 वर्षों से करवा चौथ की परंपरा को निर्वहन कर रही हूं।
-किरण आनंद
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करवा चौथ का पर्व अपनी सुहाग की रक्षा के लिए करते हैं। लगभग 25 वर्षों से करवा चौथ की व्रत रख रही हूं।
-अवनीत कौर
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करवा चौथ आस्था और पवित्रता का पर्व है। दिन भर उपवास कर शाम में पूजा करते हैं और देर शाम आसमान में चांद देखने की परंपरा है।
-परमजीत कौर
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करवा चौथ पर सुहागीन महिलाएं अखंड सुहाग की कामना करते हैं और विधि विधान से पूजा कर अपने पति की लंबी उम्र की कामना करते हैं।
-विनिता गुप्ता