प्रशासन की तत्परता से रुका बाल विवाह
प्रखंड के लखनपहाडी पंचायत अंतर्गत बारकोप गांव में बाल विवाह के दो अलग-अलग मामले सामने आए। बाल विवाह की जानकारी बाल विवाह की जानकारी मिलते ही प्रखंड प्रशासन हरकत में आई
पथरगामा : प्रखंड के लखनपहाड़ी पंचायत अंतर्गत बारकोप गांव में बाल विवाह के दो अलग-अलग मामले सामने आए। बाल विवाह की जानकारी मिलते ही प्रखंड प्रशासन हरकत में आया और दल बल के साथ नाबालिग किशोरी को बालिका वधू बनने से बचा लिया गया। प्रशासनिक अधिकारियों ने किशोरी के माता-पिता से विवाह के लिए तैयार हो रही किशोरी के बालिग होने का कागजात पेश करने की मांग की। माता-पिता ने जो कागजात पेश किया उसके अनुसार किशोरी नाबालिग थी। प्रखंड प्रशासन के बाद बाल संरक्षण विभाग के पदाधिकारियों ने ने संयुक्त रूप से पिता भूपदेव महलदार की पुत्री की शादी बालिग होने पर ही कराई का करार करवाया। बता दें कि उक्त किशोरी की शादी बांका के रजावर गांव में तय हुई थी। प्रशासन की तत्परता ने बाल विवाह रुकवाया गया। वहीं दूसरा मामला माला निसतारा पंचायत के घाट निसतारा निवासी संटू माझी की पुत्री की की शादी को लेकर है। महागामा थाना क्षेत्र बेलटीकरी ग्राम के दो नाबालिग जोड़ी मां योगिनी पहाड़ के समीप बिना पंडित बिना माता पिता की अनुमति से शादी के बंधन में बंधने जा रहे थे। लखनपहाड़ी पंचायत के मुखिया प्रदीप कुमार सिंह ने इसकी सूचना पथरगामा पुलिस को दी। थाना प्रभारी ने चौकीदार के माध्यम से दोनों प्रेमी युगल को पकड़ कर लाया। इस आशय की जानकारी उसके पिता को दी गई। थाना प्रभारी सुरेंद्र प्रसाद सिंह ने पिता से बॉन्ड लिखवाकर बच्ची की शादी बालिग होने पर करने की शपथ दिलाया। महागामा थाना क्षेत्र के बेलटीकरी गांव किशोर और किशोरी के अभिभावकों से प्रशासनिक अधिकारियों ने करार करवाया। प्रखंड विकास पदाधिकारी रुद्र प्रताप ने बताया कि नाबालिग जोड़े की शादी गैरकानूनी है। ग्रामीणों का सहयोग से बाल विवाह पर अंकुश लग रहा है।