आदिवासियों का शोषण बर्दाश्त नहीं
पोड़ैयाहाट : आदिवासियों से जुड़ी समस्याओं के समाधान के लिए 12 सितंबर को प्रखंड परिसर मे
पोड़ैयाहाट : आदिवासियों से जुड़ी समस्याओं के समाधान के लिए 12 सितंबर को प्रखंड परिसर में प्रस्तावित महाधरना की सफलता के लिए झारखंड विकास जनजातीय मोर्चा की बैठक हुई। इसमें कार्यक्रम की सफलता की रणनीति बनाई गई। पौलुस सोरेन ने बताया कि आदिवासियों का शोषण बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। वर्तमान सरकार आदिवासियों के शोषण में लगी हुई है। आज हर तरफ आदिवासियों की जमीन छीनी जा रही है। आदिवासियों के लिए आज बहुत ही संकट का समय है। आदिवासी अपने अस्तित्व की लड़ाई लड़ रहे हैं। ऐसे समय में सभी आदिवासियों को एकजुट कर महाधरना कार्यक्रम आयोजन किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि इसमें सभी गांव के आदिवासी समाज के लोग शामिल होंगे। महाधरना के माध्यम से प्रस्तावित सुगाथान डैम व परगोडीह के पास बासलोई नदी पर डैम का विरोध किया जाएगा। सरकार को अल्टीमेटम दिया जाएगा कि वह आदिवासियों का शोषण बंद करे। अडाणी पावर प्लांट के नाम पर माली मौजा के आदिवासियों का जमीन लेना बंद करे। बर्बाद फसल का मुआवजा दिया जाए। अगर सरकार इस पर संज्ञान नहीं लेती है तो आरपार की लड़ाई लड़ी जाएगी। 11 सितंबर को प्रस्तावित महिला मोर्चा के महाधरना के बारे में भी जानकारी दी गई। झाविमो की महिला जिलाध्यक्ष बेनु चौबे ने कहा कि आदिवासी महाधरना के एक दिन पूर्व 11 सितंबर को महिला मोर्चा का धरना है जिसमें क्षेत्र में वृद्धा पेंशन, विधवा पेंशन, इंदिरा आवास, केरोसिन आदि की मांग की जाएगी। कहा कि सभी महिलाओं को एकजुट होकर प्रदर्शन करना है । अगर सरकार उनकी मांगें नहीं मानती है तो यह धरना अनिश्चितकाल के लिए भी हो सकता है। मौके पर मुकेश सोरेन, चुंडा मरांडी, राजकिशोर मरांडी, सीताराम राय, अजय शर्मा, विकास यादव आदि उपस्थित थे।