दहेज हत्या में सास-ससुर दोषी करार
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जागरण संवाददाता, गिरिडीह: जिला जज दो कुमार दिनेश की अदालत ने शनिवार को दहेज हत्या में मो.अयूब और खजीरा खातून को दोषी करार दिया। इन्होंने दहेज में 60 हजार और बाइक नहीं देने पर गला दबाकर बहू साईदा की हत्या की थी। दोषी करार देने के साथ ही दोनों को न्यायिक अभिरक्षा में लेकर सेंट्रल जेल भेज दिया गया। सजा पर सुनवाई 9 अप्रैल को होगी। इसके पूर्व दोनों न्यायालय से जमानत पाकर बाहर थे। घटना तिसरी थाना क्षेत्र के चंदौरी की सात फरवरी 2013 की है।
शादी के मात्र नौ माह हुए थे: देवरी थाना के घसकरिडीह निवासी रफीद अंसारी ने प्राथमिकी में कहा था कि उसकी बेटी साईदा प्रवीण की शादी रुस्तम अंसारी के साथ 5 मई 2012 को हुई थी। शादी में दो लाख 30 हजार का उपहार दिया था। शादी के कुछ दिनों के बाद से ही सास, ससुर, पति और भैसूर दहेज में 60 हजार रुपये और एक मोटरसाइकिल की मांग की। नहीं देने पर प्रताड़ित करने लगे। किसी तरह समझाने बुझाने पर भी दहेज की मांग को कायम रखा। दहेज की मांग पूरा नहीं होने पर उसकी बेटी को प्रड़ताडित करते थे। सात फरवरी को उसके समधी मो अयूब ने फोन कर बताया कि उसकी बेटी बेहोश है। चंदोरी जाकर देखा तो बेटी मृत पड़ी थी। उसके गले मे रस्सी के निशान थे। उसे देख कर उसकी बेटी के ससुराल वाले भागने लगे। उन्होंने दहेज की मांग पूरा नहीं होने पर साईदा की हत्या करने का आरोप लगाया था। इस मामले में अभियोजन की तरफ से एपीपी मनोज सिंह ने 12 गवाहों को पेश किया व बहस की। इस मामले में आरोपित पति व अन्य अब तक पुलिस की पकड़ से बाहर हैं।