जीवन की दिशा बदलने को यहां होती सूर्योपासना
जागरण संवाददाता, गिरिडीह: आस्था का महापर्व पर सेंट्रल जेल के बंदियों ने भी छठ मईया के गीत गाकर जेल प
जागरण संवाददाता, गिरिडीह: आस्था का महापर्व पर सेंट्रल जेल के बंदियों ने भी छठ मईया के गीत गाकर जेल परिसर के माहौल को भक्तिमय बना दिया है। इस महापर्व ने जेल की ऊंची चहारदीवारी को भी आस्था के सामने बौना साबित कर दिया है और यहां नेम निष्ठा का त्योहार बड़े ही पवित्रता के साथ बंदी कर रहे हैं। पांच बंदी जेल परिसर में ही नहाय खाय के साथ इस महापर्व की शुरूआत की है। व्रतियों में शामिल बंदियों ने सोमवार को दिनभर निर्जला उपवास रहकर खरना की तैयारी की, जिन्हें जेल में बंद अन्य महिला व पुरूष बंदियों ने पूरा सहयोग किया। देर शाम को व्रती बंदियों ने खरना किया और जेल प्रशासन समेत सभी बंदियों ने खरना का प्रसाद ग्रहण किया। व्रतियों व अन्य बंदी मंगलवार को अस्ताचलगामी व बुधवार को उदीयमान सूर्य को अर्घ्य देने की तैयारी करेंगे और फल, पूजन सामाग्री के अलावे सूप, डलिया सजा कर भगवान भास्कर को अर्घ्य अर्पित करेंगे।
- प्रशासन ने की सारी व्यवस्था: जेल में बंद बंदियों में से छठ व्रत कर रहे बंदियों के लिए जेल प्रशासन सारी व्यवस्थाएं करने का काम की है। व्रतियों के लिए खरना के लिए सामान से लेकर पूजन सामग्री, सूप, दौरा, फल के अलावे अन्य सारी सामग्रियों की व्यवस्था की गई है।
- पांच बंदी कर रहे छठ: प्रभारी जेल अधीक्षक पंकज कुमार ने बताया कि जेल में बंद पांच बंदी भगवान भास्कर का पर्व छठ कर रहे हैं। उनके द्वारा छठ किये जाने को लेकर जेल परिसर का माहौल छठ के गीतों से गूंजकर भक्तिमय बन गया है। जेल के अंदर ही सूर्य भगवान को अर्घ्य देने की पूरी तैयारी कर ली गई है।
- महिला बंदी गा रही छठ के गीत: जेल में बंदियों द्वारा छठ किये जाने से अन्य बंदी भी उत्साहित हैं। व्रती बंदियों के साथ अन्य महिला-पुरूष बंदी भी छठ के गीत गा रहे हैं। जेल के अंदर का माहौल भक्ति गीतों से गूंज रहा है।