जनता कर्फ्यू का निमियाघाट में सुबह से ही दिखा असर
जनता कर्फ्यू के दौरान रविवार सुबह से ही प्रखंड के विभिन्न क्षेत्रों में खासा असर देखा गया । कोरोना वायरस को फैलने से रोकने के लिए लोगों ने खुद को घरों में कैद कर लिया है। सड़कों पर सन्नाटा पसरा हुआ था तो बाजार व दुकान पूरी तरह से बंद थी। सभी मंदिरों को भी आम लोगों के लिए बंद कर दिया गया था। वहीं दूसरे जिले में जाने वाली बसें भी पूरी तरह से बंद रही। यहां के निवासियों ने जनता कर्फ्यू को पूरी तरह से सपोर्ट किया है। पुलिस जवानों ने घर से बाहर निकले लोगों को स
निमियाघाट : जनता कर्फ्यू का रविवार सुबह से ही विभिन्न क्षेत्रों में खासा असर देखा गया। कोरोना वायरस को फैलने से रोकने के लिए लोगों ने खुद को घरों में कैद कर लिया है। सड़कों पर सन्नाटा पसरा हुआ था तो बाजार व दुकान पूरी तरह से बंद थी। सभी मंदिरों को भी आम लोगों के लिए बंद कर दिया गया था। वहीं दूसरे जिले में जानेवाली बसें भी पूरी तरह से बंद रहीं। यहां के निवासियों ने जनता कर्फ्यू को पूरी तरह से सपोर्ट किया। पुलिस के जवान घर से बाहर निकले लोगों को समझाते नजर आए।
पारसनाथ स्टेशन पर नहीं थी प्रारंभिक जांच की व्यवस्था:कोरोना वायरस से बचाव को लेकर स्वास्थ्य विभाग की ओर से जगह-जगह विशेष शिविर के आयोजन के निर्देश के बावजूद जनता कर्फ्यू के दौरान रविवार को रेलवे मार्ग से अन्य राज्यों से पारसनाथ स्टेशन पर दर्जनभर ट्रेनों से सैकड़ों यात्री उतरते देखे गए। उन यात्रियों की जांच के लिए कोई भी हेल्प डेस्क स्वास्थ्य विभाग ने वहां स्थापित नहीं किया है। यह अनदेखी कहीं घातक ना हो जाए इसे लेकर स्थानीय लोग चितित है। रविवार को भी पारसनाथ रेलवे स्टेशन पर बाहर से आए यात्रियों की अच्छी खासी भीड़ देखने को मिली। यात्री ट्रेनों से उतरकर कार एवं ऑटो में बैठकर अपने गंतव्य स्थान की ओर जाते दिखे। पारसनाथ स्टेशन पर उतरे कई यात्रियों ने डुमरी रेफरल अस्पताल पहुंचकर प्रारंभिक स्वास्थ्य जांच कराई। डुमरी रेफरल अस्पताल के प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी ने उनकी जांच की जिसमें उनमें नेगेटिव पाया गया।