सावन की दूसरी सोमवारी पर शिव धुन से गूंजता रहा बासुकीनाथ
बासुकीनाथ के दरबार में श्रावण माह के नौवें दिन सोमवार को श्रावण मास कृष्ण पक्ष नवमी उपरांत दशमी तिथि को दिनभर इंद्रदेव की कृपा भोलेनाथ की नगरी पर बरसती रही।
संवाद सहयोगी, बासुकीनाथ (दुमका): बासुकीनाथ के दरबार में श्रावण माह के नौवें दिन सोमवार को श्रावण मास, कृष्ण पक्ष, नवमी उपरांत दशमी तिथि को दिनभर इंद्रदेव की कृपा भोलेनाथ की नगरी पर बरसती रही। इस दौरान बाबा बासुकीनाथ मंदिर शिव पंचाक्षर मंत्र से गुंजायमान होता रहा।
बता दें कि कोविड-19 के संक्रमण से बचाव को लेकर राज्य सरकार के निर्देश के आलोक में बासुकीनाथ मंदिर में श्रद्धालुओं के दर्शन-पूजन पर पूरी तरह प्रतिबंध है। बावजूद बासुकीनाथ मंदिर में सभी प्रकार के धार्मिक अनुष्ठान पूर्ववत आयोजित किए जा रहे हैं। सोमवार को बासुकीनाथ मंदिर में प्रात:कालीन पूजन, विश्राम पूजा व श्रृंगार पूजा के दौरान शिव पंचाक्षर मंत्र से गुंजायमान होता रहा। मंदिर के पुजारी व मंदिर कर्मियों ने कई शिव श्लोक, भजन गाकर बाबा बासुकीनाथ की आराधना की। यहां बता दें कि बासुकीनाथ मंदिर में प्रत्येक दिवस आयोजित होने वाले श्रृंगार पूजन का दृश्य अत्यंत मनमोहक होता है। मंदिर में आयोजित होने वाले इस श्रृंगार पूजन को देखने के लिए भक्त सदैव लालायित रहते हैं। रात्रि में भी पुजारी द्वारा भव्यतापूर्वक बाबा बासुकीनाथ का श्रृंगार किया गया।
मौके पर बाबा बासुकीनाथ के अलावा माता पार्वती, माता काली, शीतला माता, शत्रु संहारिणी बगलामुखी माता, आनंद भैरव व मंदिर परिसर स्थित विभिन्न देवी-देवताओं की भी पूजा अर्चना व श्रृंगार पूजा की गई। इस मौके पर बाबा बासुकीनाथ का मंदिर शिव तांडव स्त्रोत, शिव महिमन स्त्रोत, शिव पंचाक्षर मंत्र से गुंजायमान होता रहा।