Tablighi Jamaat: तब्लीगियों की तफ्तीश में धनबाद में मिले तीन रोहिंग्या मुसलमान, पुलिस के हाथ-पांव फूले Dhanbad News
पुलिस द्वारा प्रारंभिक पूछताछ में इस बात का खुलासा नहीं हो पाया है कि लॉकडाउन के दौरान तीनों मस्जिद में क्यों ठहरे थे। सभी अपना पता बसंत विहार नई दिल्ली बता रहे हैं।
धनबाद, जेएनएन। झारखंड में तब्लीगियों की तलाश में धनबाद में एक नया मामला सामने आया है। पुराना बाजार जामा मस्जिद से बैंकमोड़ पुलिस ने तीन रोहिंग्या मुसलमानों को पकड़ा है। कोरोना से संक्रमित होने की आशंका में बुधवार को जांच के लिए पीएमसीएच भेज दिया। अब पुलिस के सामने बड़ा सवाल यह है कि रोहिंग्या मुसलमान आखिर यहां क्यों ठहरे थे? पुलिस ने जांच-पड़ताल शुरू कर दी है।
पुलिस द्वारा प्रारंभिक पूछताछ में इस बात का खुलासा नहीं हो पाया है कि लॉकडाउन के दौरान तीनों मस्जिद में क्यों ठहरे थे। तीनों ने पूछताछ में अपना नाम अमानुल्लाह, मो. मुस्सा, हाफीजउर रहमान और पता बसंत विहार, नई दिल्ली बताया। बोले- वे लोग गरीबों की मदद के लिए आए थे। फिलहाल वे 14 दिनों तक क्वारंटाइन में रहेंगे। इस मामले को लेकर पुलिस-पदाधिकारियों के हाथ-पांव फूल गए हैं। रोहिंग्या से जुड़ा मामला होने के कारण इस मामले की पुलिस विस्तृत जांच करने की तैयारी में जुट गई है।
मऊ से आकर निरसा की पांड्रा मस्जिद में ठहरे थे 13 प्रचारक
तब्लीगी मरकज के 13 धर्म प्रचारक उप्र के मऊ से आकर निरसा की पांड्रा मस्जिद में ठहरे हुए थे। निरसा थानेदार उमेश कुमार सिंह ने उन्हें खोज निकाला। सभी को पहले निरसा प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र ले जाया गया। वहां थर्मल स्क्रीनिंग में स्वास्थ्य सामान्य मिला। फिर पीएमसीएच में परीक्षण कराया गया। छह लोगों को सदर अस्पताल में क्वारंटाइन में रखा गया, बाकी को एकांत में रहने की हिदायत देकर मस्जिद में भेज दिया गया। थानेदार को पता चला था कि निरसा इलाके में तब्लीगी मरकज के कुछ धर्म प्रचारक रुके हुए हैं। छानबीन शुरू हुई तो पांड्रा पश्चिम पंचायत के मुखिया रोबिन धीवर सक्रिय हुए। इसी बीच उन्हें मस्जिद समिति के सदर ने सूचना दी कि 21 मार्च सेे 13 धर्म प्रचारक मस्जिद में रुके हुए हैं। विलंब से इसकी सूचना देने पर मुखिया ने सदर को झाड़ भी पिलाई। धनबाद कंट्रोल रूम के निर्देश पर निरसा सीओ एमएन मंसूरी एवं बीडीओ विकास कुमार राय पुलिस के साथ मस्जिद आए और दोबारा जांच के लिए उन्हें पीएमसीएच भेजा। एडीएम संदीप कुमार भी निरसा प्रखंड कार्यालय आए।
पांड्रा में रहने वाले झामुमो नेता नईम शेख ने बताया कि ये लोग धर्म प्रचार के लिए 21 मार्च को गांव आए थे। लॉकडाउन की घोषणा के बाद मस्जिद में रुक गए थे। निजामुद्दीन में तब्लीगी मरकज के लोगों के संक्रमित होने की सूचना मिली तो मुखिया को उन लोगों के बारे में जानकारी दी। गलती हुई कि पहले यह सूचना नहीं दी। निरसा की सभी मस्जिद का ताल्लुक निजामुद्दीन तब्लीगी मरकज से है। अंसार मोहल्ला छोटी मस्जिद, पांड्रा मस्जिद, फतेहपुर मस्जिद, रंगामाटी मस्जिद, मदनपुर मस्जिद, सिजुआ मस्जिद के लोग तब्लीगी मरकज से ताल्लुकात रखते हैं।