Move to Jagran APP

सुदामडीह में बना गोफ, गैस रिसाव से दहशत

सुदामडीह मेन कॉलोनी पुराना फिल्टर प्लांट नीचे माइंस के समीप बुधवार को एक नाली के पास जोरदार आवाज के साथ 20 मीटर के एरिया में गोफ बन गया।

By Edited By: Published: Wed, 12 Sep 2018 10:11 PM (IST)Updated: Thu, 13 Sep 2018 01:13 PM (IST)
सुदामडीह में बना गोफ, गैस रिसाव से दहशत
सुदामडीह में बना गोफ, गैस रिसाव से दहशत

चासनाला। ईजे एरिया सुदामडीह मेन कॉलोनी पुराना फिल्टर प्लांट नीचे माइंस के समीप बुधवार को एक नाली के पास जोरदार आवाज के साथ 20 मीटर के एरिया में गोफ बन गया। गहराई सौ मीटर से भी अधिक है। गोफ से भारी मात्रा में गैस रिसाव होने लगा। भू धंसान की चपेट में एक झोपड़ीनुमा घर भी आ गया है। घटना के बाद यहां के लगभग पांच हजार लोगों में दहशत है। सूचना पाकर सुदामडीह एएसपी कोलियरी के प्रबंधक कृष्ण मुरारी, सुरक्षा पदाधिकारी टीके साहू, विद्युत अभियंता एसपी सिंह घटनास्थल पर पहुंचे। लोगों को भू धंसान प्रभावित क्षेत्र से आवास खाली कराने का निर्देश दिया। अनहोनी की आशंका को लेकर प्रबंधन ने भू धंसान क्षेत्र के रास्ते में डंडा व तार से घेराबंदी कर अग्नि व भू धंसान क्षेत्र का बोर्ड लगा दिया। प्रबंधन ने घटनास्थल के पास चार जवानों को तैनात कर दिया गया है।

loksabha election banner

जानकारी के मुताबिक, दोपहर में नथुनी राम के आवास से महज दो फुट की दूरी पर तेज आवाज के साथ एक गोफ बन गया। इसकी चपेट में नथुनी के घर की एक साइड दीवार व दो विद्युत पोल भी आकर धराशायी हो गए। पोल क्षतिग्रस्त होने से पूरे क्षेत्र में बिजली की आपूर्ति ठप हो गई है। नथुनी का परिवार बाल-बाल बच गए। नथुनी ने अपने घरों के सामानों को निकालकर पड़ोस के घरों में सुरक्षित पनाह ली। भू धंसान की जद में सुदामडीह पुराना फिल्टर हाउस से मुंडा बस्ती व भौंरा जाने वाला मार्ग भी आ गया है। प्रबंधन ने मार्ग पर घेराबंदी कर आवागमन को बंद दिया है। प्रबंधन का कहना है पिछले ढाई माह से क्षेत्र में जरेडा के तहत क्षेत्र का सर्वे किया जा रहा है।

प्रबंधन ने क्षेत्र को कर रखा है अग्नि व भू धंसान प्रभावित बीसीसीएल प्रबंधन ने दो वर्ष पूर्व सुदामडीह मेन कालोनी, सवारडीह बस्ती, मुंडा बस्ती, नीचे माइंस, चीप हाउस, पुराना फिल्टर हाउस सहित अन्य क्षेत्रों को अग्नि प्रभावित व भू धंसान क्षेत्र घोषित कर दिया है। बस्तियों की आबादी हजारों में है। जगह-जगह बोर्ड व दीवार लेखन भी किया गया है। आवासों का सर्वे कर खाली करने को नोटिस भी लगाया गया है। 2016 में क्षेत्र में भू धंसान की घटना के बाद जेआरडीए के तहत बेलगडि़या में यहां के लोगों को आवास उपलब्ध कराया गया। यहां के पांच परिवार ही सुदामडीह से बेलगड़िया गए। इनमे उमा साव, पवन साव, रविंद्र ठाकुर, गोपाल रजक, गुड़िया कुमारी आदि हैं।

इसके बाद कोई भी बेलगड़िया या अन्यत्र जाने को तैयार नहीं है। यहां के मन्नू सिंह, प्रेम तिवारी ने कहा कि घटना के बाद प्रबंधन ने महज घेराबंदी कर खानापूर्ति करने का काम किया है। छह घंटों बाद भी भू धंसान स्थल की भराई कार्य शुरू नहीं की जा सकी। प्रबंधन लोगों के पुनर्वास के बजाये उन्हें जबरन हटाना चाहती है। लोग यहां 50-60 वर्षों से झोपड़ी बनाकर रह रहे हैं। मजदूरी कर परिवार का भरण पोषण करते हैं। जहां लोगों को भेजा जा रहा है। वहां रोजगार का कोई साधन नहीं है। हमलोगों को यहीं अगल-बगल में सुरक्षित जगह पर बसाने की व्यवस्था प्रबंधन करें। मौके पर जीएम व पीओ के नहीं पहुंचने से लोगों में रोष है।

भयभीत महिलाओं ने पड़ोस में जाकर की तीज की पूजा महिलाओं के महापर्व हरितालिका तीज के दिन हुई घटना से महिलाएं भयभीत हैं। घटना के बाद मंजू देवी, सुषमा कुमारी, गायत्री देवी, सुमित्रा देवी आदि महिलाओं ने पड़ोस के घरों में जाकर तीज पर्व की पूजा की।

दो वर्ष पूर्व भू धंसान से महिला की हुई थी मौत : दशकों पूर्व पाथरडीह हाट तल्ला से सवारडीह बस्ती, सुदामडीह मेन कॉलोनी, चीप हाउस होते हुए मोहलबनी तक आठ ए सिम चलाया गया था। तत्कालीन प्रबंधन व ठेकेदार की मिलीभगत के कारण ठीक से खदानों की भराई नहीं की गई थी। इस कारण पिछले कई वर्षों से क्षेत्र में लगातार भू धंसान की घटनाएं हो रहीं हैं। वर्ष 2016 में भी भू धंसान की बड़ी घटना में कई घरों के साथ जीरा देवी नामक एक महिला के जमीन में समा जाने से मौत हो गई थी। बड़ी दुर्घटना के पूर्व क्षेत्र से लोगों का विस्थापन बहुत जरूरी है।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.