गर्भवती महिलाओं के लिए सात्विक विचार व संतुलित आहार जरूरी
संस, निरसा : फेडरेशन ऑफ ऑब्स्टेक्ट्रिस गाइनोकोलॉजिस्ट सोसाइटी ऑफ इंडिया व प्रजापिता ब्र
संस, निरसा : फेडरेशन ऑफ ऑब्स्टेक्ट्रिस गाइनोकोलॉजिस्ट सोसाइटी ऑफ इंडिया व प्रजापिता ब्रह्माकुमारी ईश्वरीय विश्वविद्यालय निरसा शाखा द्वारा शुक्रवार को ज्ञान विज्ञान भवन में अद्भुत मातृत्व विषय पर कार्यशाला का आयोजन किया गया। कार्यशाला में काफी संख्या में गर्भवती महिलाएं एवं उनके परिजनों ने शिरकत की।
संबोधित करते हुए मशहूर स्त्री रोग विशेषज्ञ डॉ. अवंतिका ने कहा कि गर्भवती महिलाओं में शारीरिक एवं मानसिक समस्याएं बढ़ रही हैं। जीवन में बढ़ते तनाव, गलत जीवनशैली, खानपान व नकारात्मक विचार का सीधा असर गर्भ में पल रहे शिशुओं पर पड़ता है। मां और बालक शारीरिक एवं मानसिक रूप से स्वस्थ एवं सशक्त बनें इसके लिए सात्विक विचार एवं संतुलित आहार जरूरी है।
गर्भवती महिलाओं को व्यायाम, प्राणायाम के साथ साथ मन को शांत एवं खुश रहने के लिए राजयोग करते रहना चाहिए। गर्भ में ही बच्चों के मस्तिष्क का विकास होता है। आहार, व्यायाम एवं राजयोग को अपनाकर माताएं एवं आम लोग शारीरिक एवं मानसिक समस्या का निवारण आसानी से कर सकते हैं। इसके पालन से सामान्य प्रसव की संभावनाएं काफी बढ़ जाती हैं। उन्होंने बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ और उन्हें सशक्त बनाओ का नारा दिया तथा उस पर सभी को अमल करने की भी नसीहत दी। उक्त अवसर पर राजयोगिनी जया बहन ने गर्भवती माताओं से राजयोग भी करवाया। कार्यक्रम को सफल बनाने में विक्रम, सुखतार, शीतल, रीता, ज्योत्स्ना की भूमिका रही।