Vaccine लेने से परहेज कर रहे धनबाद के पंचायतों के रहनुमा, 256 में अब भी 89 मुखिया टीकाकरण से दूर
धनबाद के 10 प्रखंडों में स्थित 256 पंचायतों के 89 मुखियाओं ने खुद टीका नहीं लिया है। अब ऐसे में टीकाकरण की सुस्त गति के कारणों को आसानी से समझा जा सकता है। धनबाद के सभी जनप्रतिनिधियों ने भी अभी तक टीका नहीं लिया है।
धनबाद, जेएनएन। जिले में कोरोना का लेकर चल रहे टीकाकरण की धीमी रफ्तार ने जहां प्रशासनिक अधिकारियों के पेशानी पर बल ला दिया है, वहीं पंचायत और ग्रामीण स्तर पर जनप्रतिनिधियों की इसको लेकर उदासीनता ने उनके परेशानियाें ने और इजाफा ही किया है उदासीनता का आलम यह है कि 10 प्रखंडों में स्थित 256 पंचायतों के 89 मुखियाओं ने खुद टीका नहीं लिया है। अब ऐसे में टीकाकरण की सुस्त गति के कारणों को आसानी से समझा जा सकता है यही नहीं पंचायती व्यवस्था से जुड़ करीब 50 से ज्यादा ऐसे जनप्रतिनिधियों ने भी टीका नहीं लिया है, जिन्हें टीककरण की गति तेज करने के लिए अधिकारी चले गांव की ओर अभियान से जोड़ा गया है। यह अभियान उपायुक्त उमा शंकर सिंह की पहल पर शनिवार से पूरे जिला भर में चलाया जा रहा है। जिसमें उपायुक्त सहित अन्य वरीय ओर कनीय पदाधिकारी गांव गांव घूम कर जनप्रतिनिधियों की मदद से लोगो को टीका लेने के लिए प्रेरित करेंगे।
यह आंकड़ा खुद सरकारी है ओर उस समय आया जब उपविकास आयुक्त दशरथ चंद्र दास ने सोमवार को विशेष काेरोना टीकाकरण को ले चल रहे गांव चले अभियान की समीक्षा की। उपविकास आयुक्त ने इस पर हैरानी जताते हुए कहा कि जब जनप्रतिनिधियों का यह हाल है तो बाकी गांववालों का क्या कहना। बावजूद इसके सभी मुखियाओं सहित सभी जनप्रतिनिधियों कोे यह स्पष्ट निर्देश दिया गया है कि वे अविलंब टीका ले लें। अन्यथा उपायुक्त के आदेशानुसार उनपर उपयुक्त कारवायी की जाएगी।
दास ने आगे बताया कि उपायुक्त ने टीकाकरण अभियान में बेहतर काम करनेवाले पंचायतों और उनसे जुड़ जनप्रतिनिधियों को पुरस्कार देने की योजना बनायी है। जिसकी चर्चा उन्होंने दैनिक जागरण की यश फॉर वैक्सीनेशन मुहिम के दौरान हुई वेबीनान में सभी जनप्रतिनिधियों के सामने भी की थी। इस प्रोत्साहन योजना के तहत बेहतर करनेवाले पंचायतों को उनकी माँग के अनुसार विकास राशि उपलब्ध करायी जाएगी, ताकि विकास को गति दी जा सके।