सर्दी, खांसी को मान रहे सामान्य, हर दो दिन में हो रही मौत
धनबाद मुख्यालय से महज चार किलोमीटर की दूरी पर पाडरपाला के महतो टोला में हर दो-तीन दिन में किसी न किसी की मौत हो रही है। इससे लोगों में भय का माहौल है। अधिकतर मौत बुखार सर्दी-खांसी और सांस लेने में हुई दिक्कत से हो रही है। लोग इसे सामान्य मान रहे हैं और समय पर समुचित इलाज नहीं मिलने के कारण काल के गाल में समा रहे हैं।
सौरभ पांडेय, भूली : धनबाद मुख्यालय से महज चार किलोमीटर की दूरी पर पाडरपाला के महतो टोला में हर दो-तीन दिन में किसी न किसी की मौत हो रही है। इससे लोगों में भय का माहौल है। अधिकतर मौत बुखार, सर्दी-खांसी और सांस लेने में हुई दिक्कत से हो रही है। लोग इसे सामान्य मान रहे हैं और समय पर समुचित इलाज नहीं मिलने के कारण काल के गाल में समा रहे हैं। लगातार हो रही मौत के कारण लोगों में भय का माहौल भी बन गया है। घर में किसी की भी तबीयत खराब होने से लोग संशकित हो जा रहे हैं। टोला में अभी भी दर्जनों लोगों को सर्दी-खांसी व सांस लेने में परेशानी है। वहीं स्वास्थ्य विभाग और प्रशासन की टीम ने इस टोला में अभी तक जांच शिविर भी नहीं लगाया है। टोला में लगातार हो रही मौत के बाद अब लोगों में जागरूकता आई है। लोगों ने अब खुद को घरों में कैद करना शुरू कर दिया है। दूसरी तरफ टोला में एक बार भी सैनिटाइजेशन न होने से लोग निराश भी हैं। इस टोला में लगभग 80 परिवार रहते हैं। बीते दिनों टोला के निवासी गणेश मुर्मू की मौत बुखार से हो गई थी। इसके बाद उनके पिता बाबू राम मुर्मू की तीन दिन बाद बुखार व खासी से मौत हो गई। वहीं भरत महतो, बेगी देवी, रति लाल महतो, मनी दत्ता, शिवाला पासवान की भी मौत इन्हीं सारे लक्षणों के कारण हुई। इन लोगों ने सर्दी-खांसी व बुखार होने पर डॉक्टर से जांच तक नहीं करवाई थी। घरेलू उपचार व खुद से ही दवा दुकान से दवा लेकर अपना इलाज किया। जिससे दिन ब दिन उनकी स्थिति बिगड़ती चली गई और धीरे-धीरे लोगो की मौत होती गई। वहीं कुछ ग्रामीण अब भी इसे कोरोना के कारण हुई मौत मानने से इनकार कर रहे हैं। उनका मानना है कि यह देवी का प्रकोप है और उसी के कारण मौत हो रही है। लोगों की मौत होने पर उनका जल्दबाजी में अंतिम संस्कार भी कर दिया जा रहा है। वहीं कुछ पढ़े-लिखे ग्रामीणों ने प्रशासन से क्षेत्र में जागरूकता अभियान व जांच शिविर लगाने की मांग की है।