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डोली का इंजन फेल हुआ तो 16 मजदूरों की जान पर बन आई, 7 घंटे तक दहशत में अटकी रही सांस Dhanbad News

Kachhi Balihari colliery यह हादसा तब हुआ जब कंपनी सुरक्षा सप्ताह मना रही है। इसके तहत प्रतिदिन एक कोलियरी में सुरक्षा पर जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किया जाता है।

By MritunjayEdited By: Published: Wed, 29 Jan 2020 07:36 AM (IST)Updated: Wed, 29 Jan 2020 07:36 AM (IST)
डोली का इंजन फेल हुआ तो 16 मजदूरों की जान पर बन आई, 7 घंटे तक दहशत में अटकी रही सांस Dhanbad News
डोली का इंजन फेल हुआ तो 16 मजदूरों की जान पर बन आई, 7 घंटे तक दहशत में अटकी रही सांस Dhanbad News

पुटकी, जेएनएन। बीसीसीएल की कच्छी बलिहारी कोलियरी के दस नंबर चानक में मंगलवार दोपहर करीब 12 बजे अफरातफरी मच गई। 10/12 पिट बलिहारी में इंजन का कंट्रोल पैनल फेल हो गया। इसमें करंट नहीं आने लगा। इस कारण डोली रुक गई। उस वक्त 16 मजदूर खदान के अंदर थे। वे लगभग सात घंटे तक वहीं फंसे रहे।

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खदान के अंदर मजदूरों के फंस जाने की जानकारी मिलते ही अधिकारियो के होश उड़ गए। अधिकारी व तकनीशियनों का दल कोलियरी पहुंचा और राहत कार्य में लग गया। करीब सात घंटे की मशक्कत के बाद कंट्रोल पैनल में करंट पास होना प्रारंभ हुआ। इसके बाद मजदूरों को शाम करीब साढ़े सात बजे बाहर निकाला गया। मौके पर एरिया इंजीनियर एचके मिश्रा एवं कोलियरी अभियंता समेत दर्जनों बिजलीकर्मी मौजूद थे।

खदान के अंदर वो सात घंटे

खदान में जगनारायण सिंह, मनोज रजवार, दीपक कुमार दुसाध, इरशाद अली, हीरा पासवान सहित 16 मजदूर थे। ऊपर आने के बाद उन्होंने आपबीती बताई। मजदूरों ने कहा कि वे जब खदान में थे, उस वक्त बस एक ही बात दिल में थी कि कब वाइंडिंग इंजन बने और वे ऊपर आएं। थोड़ी घबराहट भी थी। खदान बंद है और यहां पानी भरा है। सिर्फ रख-रखाव कार्य किया जाता है ताकि पानी और न भरे। ऐसे में कभी भी कुछ हो सकता था। पानी भरने से कई हादसे हो चुके हैैं जो हमारे जेहन में कौैंध रहे थे। भगवान की कृपा रही कि हम सब सकुशल बाहर आ गए।

घनघनाने लगे परिजनों के फोन

खदान में गए मजदूर जब समय पर घर नहीं लौटे तो परिजन आशंकित हो गए। उन्होंने लगातार कोलियरी कार्यालय फोन लगाना शुरू किया और मामले की जानकारी लेनी चाही। शुरुआत में उन्हें साफ-साफ कुछ नहीं कहा गया। मशीन बनने के बाद जब मजदूरों को निकालना शुरू हुआ तब उन्हें सही जानकारी दी गई।

सुरक्षा सप्ताह के दौरान हुई ऐसी घटना 

यह हादसा तब हुआ जब कंपनी सुरक्षा सप्ताह मना रही है। इसके तहत प्रतिदिन एक कोलियरी में सुरक्षा पर जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किया जाता है। कोलियरी इलाके का अधिकारी मुआयना भी करते हैैं और मजदूरों के सुरक्षा उपकरण समेत मशीनरी का रख-रखाव जांचते हैैं। पुटकी बलिहारी क्षेत्र के एकड़ा वर्कशॉप, केंदुआडीह कोलियरी और गोपालीचक कोलियरी में सुरक्षा सप्ताह मनाया जा चुका है।

मेंटनेंस पर विशेष ध्यान नहीं

भागाबांध, कच्छी बलिहारी, साउथ बलिहारी, पुटकी कोलियरी बंद है। पिछले वर्ष पिट-6 में पानी भरने के कारण भागाबांध व कच्छी बलिहारी प्रोजेक्ट में भी जलस्तर बढऩे लगा। मोटर पंप भी डूब गए। ओपेन कास्ट का पानी आने से साउथ बलिहारी खदान भी बंद करनी पड़ी। अब यहां सिर्फ खदान से पानी निकालने और मोटर पंपों के रख-रखाव का काम ही होता है। यहां के कोलियरी कर्मियों का अंडरग्राउंड अलाउंस, संडे, होलीडे, ओटी आदि सुविधाएं भी बंद हैैं। रख-रखाव भी भगवान भरोसे है।

वाइंडिंग कंट्रोलर में बिजली आपूर्ति ठप हो जाने के कारण यह स्थिति उत्पन्न हुई। इसे ठीक करने के बाद मजदूरों को सुरक्षित बाहर निकाल लिया गया। जलमग्न खदान होने के कारण इसमें केवल पंपिंग एवं आवश्यक रख-रखाव करने वाले मजदूर ही अंदर जाते हैं।

- ललन प्रसाद, कोलियरी प्रबंधक, कच्छी बलिहारी


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