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Dhanbad Municipal Corporation: एक माह में भी सड़क पर नहीं उतर सका सिटी इंफोर्समेंट स्क्वायड, दो टीमें गठित कर भूल गए अधिकारी

अतिक्रमण करनेवालों में फुटपाथी दुकानदार तो होते ही हैं स्थायी दुकानदार भी अपने दुकान का सामान बाहर निकालकर रख देते हैं। जिससे सामने की सड़क जाम हो जाती है। इसके अलावा ऑटो और ई-रिक्शा की वजह से भी शहर की सड़कों पर चलना मुश्किल हो जाता है।

By MritunjayEdited By: Published: Mon, 28 Sep 2020 02:28 PM (IST)Updated: Mon, 28 Sep 2020 02:28 PM (IST)
Dhanbad Municipal Corporation: एक माह में भी सड़क पर नहीं उतर सका सिटी इंफोर्समेंट स्क्वायड, दो टीमें गठित कर भूल गए अधिकारी
धनबाद नगर निगम में अतिक्रमण हटाओ अभियान के लिए दो टीमें गठित।

धनबाद, जेएनएन। धनबाद नगर निगम ने शहर को साफ-सुथरा और अतिक्रमण मुक्त करने की नीयत से योजना तो बना डाली, लेकिन धरातल पर उतारना शायद भूल गया। यही कारण है कि जिस इंफोर्समेंट स्क्वायड को एक सप्ताह के अंदर अभियान चलाना था, वह एक माह बाद भी सड़क पर नहीं उतर सका। इस टीम के मूवमेंट के लिए बकायदा दो गाड़ियां भी मंगवा ली गई, लेकिन ये भी नगर निगम परिसर की शोभा बनी हुई हैं।

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दरअसल अतिक्रमण हटाने और राजस्‍व में बढ़ोतरी के लिए धनबाद नगर निगम ने रांची, जमशेदपुर एवं चास की तर्ज पर सिटी इंफोर्समेंट स्क्वायड का गठन किया है। इस स्क्वायड में दो इंफोर्समेंट टीम काे रखा गया है। दोनों टीमों में एक-एक सिटी मैनेजर के साथ तकनीकी कोषांग, टैक्स कलेक्टर और पुलिस के जवान शामिल हैं। कार्यपालक पदाधिकारी इस टीम के नोडल पदाधिकारी होंगे। यह टीम ऑन द स्पॉट जुर्माना भी वसूल करेगी। इसके साथ ही टीम नगर निगम क्षेत्र में औचक निरीक्षण भी करेगी। इसमें पार्किंग, हाट-बाजार, भवन का नक्शा, अवैध होर्डिंग्स, अपार्टमेंट व शॉपिंग मॉल की पार्किंग, घरों एवं अपार्टमेंट में रेन वाटर हार्वेस्टिंग की स्थिति क भी जांच करेगी। टीम को जुर्नेना करने का अधिकार होगा। अभियान को बेहतर करने के लिए टीमों के बीच काम का बंटवारा कर दिया है। इससे बनाने के पीछे नगर निगम का तर्क है कि प्रमुख सड़कें अतिक्रमण का दंश झेल रही हैं। इसका असर यहां की यातायात व्यवस्था पर भी साफ दिखता है।

अतिक्रमण करनेवालों में फुटपाथी दुकानदार तो होते ही हैं, स्थायी दुकानदार भी अपने दुकान का सामान बाहर निकालकर रख देते हैं। जिससे सामने की सड़क जाम हो जाती है। इसके अलावा ऑटो और ई-रिक्शा की वजह से भी शहर की सड़कों पर चलना मुश्किल हो जाता है। फिलहाल धनबाद अंचल से इसकी शुरुआत की जानी थी। इसके बाद पांचों अंचल में यह व्यवस्था लागू होती। गठन के एक सप्ताह के अंदर इसे अभियान चलाना था, लेकिन यह हो नहीं सका। नगर निगम ने प्लान तो बना लिया, लेकिन लागू नहीं करा सका।

इंफोर्समेंट स्क्वायड का यह था काम

इंफोर्समेंट स्क्वायड पहले अपनी दोनों गाड़ियों से शहर भर में मुनादी करेगा। स्वयं अतिक्रमण हटाने और टैक्स देने का आहवान किया जाएगा। इसके बाद ऑन द स्पॉट कार्रवाई होगी। इसमें 100 से लेकर 25 हजार रुपये तक जुर्माना किया जाएगा। अलग-अलग क्षेत्रों के हिसाब से जुर्माना तय किया गया है। बड़े-बड़े शॉपिंग मॉल में दुकान संख्या की तुलना में पार्किंग स्पेस की भी जांच होगी। जहां पार्किंग की जगह में दुकानें बना दी गई हैं, उनपर भी कार्रवाई होगी। हालांकि इससे पहले सभी को नियम के अनुरूप रेगुलाइज्ड करने का अल्टीमेटम दिया जाएगा।

  • संभावित जुर्माना (रुपये में) भी तय
  • नो पार्किंग में गाड़ी : 100 से 300
  • सड़क पर अतिक्रमण : 1000 से 25000
  • होल्डिंग : निर्धारित दर से 100 गुना
  • सड़क पर कूड़ा : 500
  • बिना नक्शा पास भवन निर्माण : 25000
  • शॉपिंग मॉल में पार्किंग : प्रत्येक पार्किंग पर 300 रुपये

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