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बगदाहा पंचायत की मुखिया पर लाभुक का पैसा छीनने का आरोप, बैठी पंचायत

बगदाहा पंचायत के नैनाटोला निवासी प्रधानमंत्री आवास योजना के लाभुक सुशीला देवी ने मुखिया समरी देवी पर दस हजार रुपये जबरन छीन लेने एवं बैंक पास बुक फाड़ देने का आरोप लगाया है।

By Deepak PandeyEdited By: Published: Mon, 18 Mar 2019 12:48 PM (IST)Updated: Mon, 18 Mar 2019 12:48 PM (IST)
बगदाहा पंचायत की मुखिया पर लाभुक का पैसा छीनने का आरोप, बैठी पंचायत
बगदाहा पंचायत की मुखिया पर लाभुक का पैसा छीनने का आरोप, बैठी पंचायत

संवाद सहयोगी, राजगंज: बगदाहा पंचायत के नैनाटोला निवासी प्रधानमंत्री आवास योजना के लाभुक सुशीला देवी ने मुखिया समरी देवी पर दस हजार रुपये जबरन छीन लेने एवं बैंक पास बुक फाड़ देने का आरोप लगाया है। लाभुक न्याय के लिए गांव के पंचायत में गयी।

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रविवार को स्थानीय हरि मंदिर में सहदेव रवानी की अध्यक्षता में हुई बैठक में सुशीला देवी ने पूरे मामले से अवगत कराते हुए कहा कि 15 मार्च शुक्रवार को मुखिया के बुलाने पर उसके घर गई। मुखिया द्वारा लाभुक को बताया गया कि एक लड़का दे रहे हैं। बैंक से पैसा ले आओ। सचिन कुमार नामक एक युवक के साथ बैंक आकर दस हजार की निकासी कर वापस मुखिया के घर पहुंची। वहां पहले पास बुक ले लिया और पूरा पैसा देने को कहा। लाभुक के अनुसार वह स्वेच्छा से दो-तीन हजार रुपये देने पर राजी हुई, लेकिन मुखिया नहीं मानी और पासबुक को फाड़ दिया। बैंक से निकाले गए दस हजार रुपये भी छीन लिया। सुशीला ने कहा कि आवास योजना का खाता खुलने के बाद उन्होंने अपने पास ही पासबुक रख लिया था। बार बार मांगने के वावजूद भी नहीं दे रही थी। बैठक में मुखिया को भी बुलाया गया था। लेकिन वह बैठक में नही आई। ग्रामीणों की इस बैठक में पंच ने फैसला सुनाया कि इस स्थिति में पीडि़त न्याय के लिए अन्य विकल्प का सहारा ले सकती है। लाभुक ने कहा कि अब वह डीडीसी से न्याय की फरियाद करेगी।

मुखिया ने आरोप को बताया निराधार: मुखिया समरी देवी ने कहा कि सारा आरोप निराधार है। एक साजिश के तहत उन्‍हें फंसाने की कोशिश लोग कर रहे है। उन्‍होंने कहा कि बैठक की जानकारी नही है, जबकि मेरे घर के ही सामने मंदिर है। 10 लोगों के बीच मैं भी अपना पक्ष रखती।

मुखिया ने कहा कि चार साल में चार सौ आवास योजना पूरे करा चुकी हूं। कभी भी किसी ने मुझपर आरोप नही लगा। उन्होंने कहा कि मैंने महिला के घर जाकर मार्च तक आवास पूरा करने की बात कही थी। पहली किस्त 40 हजार रुपये दिए गए थे। बावजूद काम धीमा है।


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