Move to Jagran APP

Jagran Webinar: उद्योग-उद्यमियों की हरसंभव मदद को तैयार JIADA, क्षेत्रीय निदेशक बोले-स्थिति बदलेगी

कोरोना काल में हजारों प्रवासी मजदूर बोकारो पहुंच रहे हैं। ऐसे में यहां के उद्योग व उद्यमियों की सक्रियता उन लोगों के लिए बड़ी पहल होगी जो कि उद्योगों का संचालन कर रहे हैं।

By Sagar SinghEdited By: Published: Tue, 26 May 2020 04:13 PM (IST)Updated: Wed, 27 May 2020 06:56 AM (IST)
Jagran Webinar: उद्योग-उद्यमियों की हरसंभव मदद को तैयार JIADA, क्षेत्रीय निदेशक बोले-स्थिति बदलेगी
Jagran Webinar: उद्योग-उद्यमियों की हरसंभव मदद को तैयार JIADA, क्षेत्रीय निदेशक बोले-स्थिति बदलेगी

बोकारो, जेएनएन। पहले चुनाव व उसके बाद कोरोना के संक्रमण के कारण पूरा सिस्टम उलझा हुआ है। अब कोरोना के बाद बाहर से आने वाले प्रवासी श्रमिकों की समस्या। पर इन सबका समाधान है तो यहां के उद्योग का संचालन होने में ही है। जहां से आर्थिक गतिविधि का संचालन होगा, वहां सारी स्थिति स्वत: सुधर जाएंगी। इसलिए जरूरी है कि यहां के उद्यमी दोगुने उत्साह के साथ अपने उद्योगों का संचालन करें। बाहर से मजदूर लाने के बजाय स्थानीय मजदूरों को काम दें। नावाचार करें, अपने उत्पाद की ब्रांडिंग करें। अधिक से अधिक उसका निर्यात करें। स्थिति बदलेगी और बियाडा क्षेत्र राज्य के उद्योगों का नई दिशा में देने में कामयाब होगा। यह कहना है झारखंड औद्योगिक क्षेत्र विकास प्राधिकार के क्षेत्रीय निदेशक सह उपायुक्त मुकेश कुमार का। वे मंगलवार को दैनिक जागरण के वेबिनार कार्यक्रम में बोल रहे थे। उनके समक्ष बोकारो के उद्यमियों ने सीधे अपनी समस्याओं को रखा।

loksabha election banner

धर्मेंद्र जैन, अनेकांत स्टील इंडिया प्राइवेट लिमिटेडः बोकारो में चल रहे इस्पात आधारित उद्योगों को प्राथमिकता के साथ रियायती दर पर इस्पात उपलब्ध कराएं। ताकि स्थानीय उद्योग अधिक से अधिक चलें और यहां के लोगों को रोजगार मिले।

उपायुक्त: इस संबंध में बोकारो इस्पात के अधिकारियों से बात करेंगे, ताकि दूसरे उद्योगों के जरिए भी अधिकतम लोगों को रोगजार मिले।

महेश केजरीवाल, क्वालिटी रबर: वर्तमान में बोकारो स्टील अपनी क्षमता से कम पर संयंत्र का संचालन कर रहा है। चर्चा है कि बीएसएल अपना उत्पादन बढ़ाने वाला है। इसमें बियाडा उद्यमियों की भूमिका तय हो।

उपायुक्त: स्थानीय उद्योगों के विस्तार से ही बियाडा का विकास होगा। इसके लिए बोकारो स्टील के अधिकारियों के साथ बैठक होने वाली है। इसमें उद्यमियों के प्रतिनिधि से भी बात होगी।

शैलेंद्र पाण्डेय, छिन्नमस्तिका स्टील: कंपनी में सामान लाने व उत्पादित सामान भेजने में परेशानी होती है।

उपायुक्त: भारत सरकार के गृह मंत्रालय का स्पष्ट आदेश है। हम लोगों ने भी भी स्पष्ट निर्देश दे रखा है कि किसी भी प्रकार के औद्योगिक वस्तु के परिवहन के लिए पास या अनुमति की जरूरत नहीं है। यदि कोई दंडाधिकारी ऐसा करता है तो इसकी सूचना दें। जिला प्रशासन उद्योगों को चालू कराने के लिए सभी प्रकार की सहूलियत दे रहा है।

संजय बैद, चैंबर ऑफ कॉमर्स: बाहर से प्रवासी मजदूरों का डाटाबेस तैयार किया जाए, ताकि यहां के उद्यमियों को कुशल श्रमिक सहजता के साथ उपलब्धता हो सकें।

उपायुक्त: बोकारो पहला जिला है, जिसने कोरोना के समय अपने वैसे सभी प्रवासी मजदूरों का डाटाबेस तैयार किया है, जिन्होंने आधिकारिक रूप से जिले में प्रवेश किया है। ऐसे 19 हजार लोगों का डाटाबेस तैयार है। इनमें काफी कुशल मजदूर हैं। सभी उद्यमियों को जिला प्रशासन इन श्रमिकों की सूची उपलब्ध कराएगा। आप उन्हें नियोजित करें तो यह स्वागतयोग्य कदम होगा। धनबाद के लोगों ने नियोजन का प्रस्ताव दिया है। बोकारो के लोगों से भी अपेक्षा है कि वे भी आगे बढ़कर इस दिशा में पहल करें।

अमित प्रसाद, अमित स्टील: लॉकडाउन की अवधि का बिजली का सरचार्ज माफ किया जाए।

उपायुक्त: यह नीतिगत निर्णय है, पर उद्यमियों के साथ होने वाली बैठक के बाद आप लोगों की बातों को संबंधित विभाग तक पहुंचाने का प्रयास करेंगे, ताकि उद्यमियों को राहत मिल सके।

उमेश पाण्डेय, स्मिडे एंड मशीनन प्रालि: जियाडा द्वारा उद्यमियों से वार्षिक शुल्क व विकास शुल्क लिया जाता है। इस समय उसमें छूट दी जानी चाहिए।

उपायुक्त: दरों का निर्धारण उद्योग सचिव स्तर से होता है, लेकिन आपकी बातों का उद्योग सचिव तक पहुंचाने का काम करेंगे।

राजकुमार जायसवाल: बिजली का सरचार्ज व फिक्स चार्ज को माफ कराने का काम होना चाहिए। बैंको से मिलने वाली छूट व केंद्रीय वित्त मंत्री की घोषणा का लाभ यहां के उद्यमियों को मिले, इस पर बात होनी चहिए।

उपायुक्त: इस संबंध में बिजली के अधिकारियों से बात करेंगे। जो भी बेहतर रास्ता हो सकता है, निकाला जाएगा। बैंकर्स के साथ भी बैठक करेंगे कि फिलहाल कौन-कौन सी योजना है और क्या कर रहे हैं, ताकि उद्यमियों को लाभ दिलाया जा सके।

सिद्धार्थ सिंह माना, इशा इंटरप्राइजेज: बोकारो स्टील से जरूरत के अनुसार आर्डर नहीं मिलता है। हम लोग चाहते हैं कि नए उत्पाद का आदेश मिले।

उपायुक्त: इस संबंध में बोकारो स्टील के अधिकारियों के साथ बैठक में सभी संबंधित मामलों पर चर्चा होगी।

देव कुमार पोद्दार, निर्मल इंटरप्राइजेज प्रालि: बोकारो इस्पात के ऑर्डर की फरवरी में आपूर्ति करनी थी, पर कुछ कारण से आपूर्ति नहीं हो सकी। इस बीच लॉकडाउन हो गया। अब ग्रेस समय के लिए 5 प्रतिशत की राशि की कटौती होगी। इस पर ध्यान दिया जाना चाहिए।

जवाब: इस संबंध में बोकारो स्टील के अधिकारियों के साथ बैठक करेंगे। उम्मीद है कि समस्या का समाधान होगा। संयंत्र के ईडीएमएम से भी चर्चा करेंगे।

मधुकर सिन्हा, एवीसी प्रालि: बियाडा द्वारा जीएसटी लिया जाता है, पर उद्यमियों को उसका लाभ नहीं मिल रहा है।

उपायुक्त: इस संबंध में जियाडा के स्थानीय अधिकारी, सीए के साथ अन्य संबंधित सदस्यों से चर्चा कर समाधान करांएगे।

निखिल श्रीवास्तव, श्रीराम एग्रोटेक: ईएसआइसी का अस्पताल राज्य सरकार का है, लेकिन सरकारी भवन होने के बावजूद यह निजी भवन में चल रहा है। इस वजह से बियाडा के उद्यमियों को लाभ नहीं मिलता है।

उपायुक्त: जिला स्तरीय बैठक में इस मुद्दे पर भी चर्चा होगी और जल्द ही इसका समाधान किया जाएगा।

  • इन्होंने भी पूछे सवाल : 
  • सिद्धार्थ पारख --किरण इस्पात
  • शशि भूषण प्रसाद --बियाडा  उद्यमी
  • उमेश जैन, बोकारो टिंबर 
  • विनय कुमार सिंह --श्रीराम इंडस्ट्रीजसवाल
  • सशांक अग्रवाल -- अशोक फाउंड्री

वेबिनार की पांच बड़ी बातें 

  1.  बिजली की समस्या से अवगत हुआ हूं। मंगलवार की शाम इस पर बैठक करेंगे। जैनामोड़ ग्रिड से निर्बाध रूप से बिजली मिले, इस पर काम होगा। एक माह के अंदर बिजली की समस्या का समाधान हो जाएगा। बिजली के सरचार्ज सहित अन्य नीतिगत मामलों के बारे में राज्य मुख्यालय के अधिकारियों से बात करेंगे
  2. भारत सरकार व राज्य सरकार द्वारा उद्यमियों के लिए घोषित पैकेज का लाभ उन्हें मिले, इसके लिए जिला स्तरीय बैंकर्स के साथ उद्यमियों की बैठक करांएगे। जो भी समस्या है उसका ऑनस्पॉट समाधान होगा।
  3. बोकारो इस्पात से संबंधित समस्या को लेकर अधिशासी निदेशक के स्तर से बात की जाएगी, ताकि बोकारो की इकाइयों को अधिक से अधिक काम मिल सके। 
  4.  पीएफ, जीएसटी क्रेडिट, ईएसआइसी की समस्या का भी समाधान होगा। 
  5.  प्रवासी मजदूरों के लिए सभी उद्यमी कार्ययोजना बनाएं, यह प्रयास करें कि बाहर से लौटे मजदूरों को वे काम देना चाहते हैं और दे रहे हैं।

Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.