प्रेमिका ने साथ रहने के लिए किया बाध्य तो पत्नी का गला घोंट दिया
पत्नी व बच्चों के हत्यारोपी भैरो ने पुलिस को बताया कि उसकी प्रेमिका काफी दिनों से साथ रहने के लिए कह रही थी।
रिजवान शम्स, धनबाद। मोमबत्ती पर फूंक मार केक काटते वक्त दो साल के मासूम अभय को इतना अंदाजा भी नहीं होगा कि हंसते-मुस्कराते पिता के चेहरे के पीछे बेरहम कातिल छिपा है। वह जिस पिता के हाथों को पकड़ केक काट रहा था, दुनिया के सबसे सुरक्षित उन्हीं हाथों ने कुछ घंटों बाद उस मासूम का गला काट दिया। गले पर छुरी चलते वक्त उसकी तो चीख भी नहीं निकली थी। लेकिन अब कातिल पिता के खिलाफ उसके खून का कतरा-कतरा कोर्ट में गवाही देगा।
जिस चाकू से दो साल के मासूम अभय और उसकी बड़ी बहन आभा (तीन वर्ष) को बेरहम पिता ने काटा था, पुलिस ने उक्त चाकू बरामद करने में कामयाबी पा ली है। उस चाकू में अब भी उन मासूमों का खून लगा है। क्योंकि चाकू कवर वाला था। वारदात के बाद चाकू को कवर में डालकर फेंक दिया गया था। इस चाकू में लगे रक्त की जांच पुलिस विधि विज्ञान प्रयोगशाला में कराएगी। इसकी रिपोर्ट कोर्ट में सौंपी जाएगी कि चाकू में मिले रक्त बच्चों के हैं। ये रिपोर्ट मुकदमे में आरोप को साबित करने में काफी अहम भूमिका निभाएंगे।
प्रेमिका के पैसे से मंगवाया था बर्थडे केक:
अपनी चचेरी भाभी सह प्रेमिका के प्यार में पागलपन तक जा चुके भैरोनाथ ने मासूम बच्चों की गर्दन पर छुरी चलाने से पहले बर्थडे में संभवत : बेहोश करने वाला पदार्थ भी मिला दिया था। पुलिस सूत्रों की मानें तो इस बर्थडे केक की कीमत उसकी प्रेमिका ने दी थी। भैरोनाथ की गिरफ्तारी व रिमांड पर लेने के बाद मामले का हर पहलु खुलकर अब सामने आ रहा है। पुलिस सूत्रों की मानें तो टिपल मर्डर की पूरी साजिश महुदा में रची गई थी। भैरोनाथ अपने विधवा भाभी के घर गया था और वहीं पर तीनों को ठिकाने लगाने की साजिश रची गई थी।
वाट्सएप ग्रुप से मिलती थी सारी सूचना:
भैरोनाथ ने बताया कि घटना के बाद से उसे पुलिस की हर गतिविधि की जानकारी मिलती थी। वाट्स ऐप ग्रुप के माध्यम से तस्वीरें व सूचनाओं का मिलना आसान था। हत्याकांड से संबंधित खबरों को वह इंटरनेट पर देखता था।
प्रेमिका साथ रहने को कर रही थी बाध्य
भैरो ने पुलिस को बताया कि उसकी प्रेमिका सह चचेरी भाभी रूपा देवी काफी दिनों से साथ रहने के लिए प्रेशर दे रही थी। उसने कहा था कि वह उसके दोनों बच्चों को भी पालेगी। रूपा के भी दो बच्चे हैं।
पत्नी से बात करते-करते घोंट दिया था गला
भैरो ने पुलिस के समक्ष कबूला है कि बर्थडे के बाद रात में करीब एक बजे उसने पत्नी का गला घोंट दिया था। इससे पूर्व वे लोग गपशप कर रहे थे। दोनों बच्चे सो चुके थे। इसी में यकायक मौका पाकर उसने पत्नी का गला दबोच लिया। इसके बाद पत्नी की गर्दन में जूते का फीता बांध दिया और तब तक उसका शिकंजा कसता रहा, जब तक उसकी मौत नहीं हो गई। इसके बाद उसने बच्चों को मार डाला।
बोकारो अस्पताल में परवान चढ़ा था दोनों का प्रेम
कई साल पूर्व रूपा देवी का पति पप्पू दसौंधी बीमार पड़ गया था। बताया जा रहा है कि उसे शराब की लत थी। उसे बोकारो अस्पताल में भर्ती कराया गया था। पप्पू दसौंधी और भैरोनाथ एक दूसरे के चचेरे भाई हैं। इसी बीच भैरोनाथ का भी अस्पताल आना जाना होने लगा। अस्पताल आने जाने के क्रम में ही दोनों के बीच प्रेम परवान चढ़ गया। बीमार पप्पू दसौंधी की कुछ दिनों बाद मौत हो गई। पप्पू की मौत के बाद दोनों के बीच प्रेम और प्रगाढ़ हो गया। दोनों हमेशा एक साथ रहने के सपने देखने लगे।
मुझे चुनो या पत्नी को
दोनों के बढ़ते प्रेम के बीच भैरो की पत्नी अनुपमा देवी बाधा बनने लगी। उसे पति की करतूतों पर शक होने लगा। क्योंकि भैरो अक्सर फोन पर रूपा से घंटों बात करता था। इसी बीच, उसने मौका पाकर रूपा का मोबाइल नंबर चुपके से निकाल लिया और अपने भाइयों को देकर उक्त नंबर के बारे में जांच पड़ताल करने की बात कही। भाइयों ने जब फोन किया तो रूपा को अपनी चोरी पकड़े जाने का डर हो गया। इसके बाद उसने भैरोनाथ को सारी बात बता दी। भैरोनाथ को जब पता चला कि उसकी पत्नी उसकी जासूसी कर रही है तो दोनों के बीच विवाद भी होने लगा।
इसी बीच रूपा ने भैरो के साथ फोन पर बातचीत करना बंद कर दिया। बातचीत बंद होने पर भैरो बेचैन हो उठा। इसके बाद वह महुदा पहुंच गया। तब रूपा से साफ तौर पर कह दिया कि उसे दोनों में से किसी एक को चुनना होगा। भैरो ने प्रेमिका को चुनने का फैसला लिया। तब तीनों को मार डालने और फिर पुलिस से बचने की भी साजिश पर भी दिमाग खपाने का काम दोनों ने मिलकर शुरू कर दिया।
तय हुआ कि बेटे के बर्थडे के दिन ही वारदात को अंजाम देना है। इससे पूर्व पूरी खुशी के साथ बर्थडे मनाना है ताकि किसी को कोई संदेह न हो। प्लानिंग के अनुसार ही टिपल मर्डर को भैरो ने अंजाम दे दिया। लेकिन वारदात की रात फरार होने के कारण पुलिस और ससुराल वालों का सीधा शक भैरो पर ही केंद्रित हो गया। पकड़े जाने के बाद हुई पूछताछ में सारी बातें खुलकर सामने आ गईं।
फिल्म इंडस्ट्री में काम करने मुंबई भाग गया था भैरोनाथ
जागरण संवाददाता, धनबाद। पत्नी और दो बच्चों की हत्या करनेवाले भैरोनाथ दसौंधी को फिल्मों का बड़ा शौक है। तीन अक्टूबर की देर रात अपनी पत्नी अनुपमा समेत बेटी आभा व पुत्र अभय की हत्या कर भैरो मुंबई फरार हो गया था। उसे उम्मीद थी कि फिल्म इंडस्ट्री में काम कर रहे दोस्तों की मदद से उसे छोटा-मोटा रोल मिल जाएगा, लेकिन उन्होंने उसकी कोई मदद नहीं की। घटना को अंजाम देने के बाद वह विभिन्न माध्यमों से पुलिस की हर गतिविधियों की जानकारी ले रहा था। रिमांड पर लिए जाने के बाद भैरो ने पुलिस को कुछ अहम जानकारी दी है।
पूछताछ के क्रम में भैरो ने पुलिस को बताया कि उसे एक्टिंग का शौक रहा है, इसलिए घटना को अंजाम देने के बाद वह मायानगरी मुंबई चला गया। वहां उसके दोस्तों ने उसे अपने साथ रखने से मना कर दिया। जिन मित्रों के भरोसे वह मुंबई गया था, उनसे मदद नहीं मिलने पर भैरो काफी निराश हो गया। इसके अलावा उसने रांची व अन्य जगहों पर भी काम खोजने की काफी कोशिश की थी।