भूमिगत आग से शहरी जलापूर्ति योजना पर ब्रेक
फुसरो (बेरमो) : फुसरो नगर परिषद की महात्वाकांक्षी परियोजना पर भूमिगत आग ने ग्रहण लगा दी
फुसरो (बेरमो) : फुसरो नगर परिषद की महात्वाकांक्षी परियोजना पर भूमिगत आग ने ग्रहण लगा दी है। ढोरी खास के समीप दामोदर नदी के तट पर 47 करोड़ की लागत से बनने वाला वाटर ट्रीटमेंट प्लांट का काम तीन माह से बंद पड़ा है। नगरवासियों के लिए यह विडंबना है कि जनता की प्यास बुझाने के लिए शुरू की गई उक्त योजना का भविष्य खटाई में पड़ गया है। नगर परिषद के 28 वार्डो में शुद्व पेयजलापूर्ति के लिए यहां काफी मशक्कत के बाद शहरी जलापूर्ति योजना को हरी झंडी दी गई थी। नगर की एक लाख से अधिक की आबादी के लिए यह जीवनदायिनी परियोजना साबित हो सकती थी। सीसीएल की जमीन के एमओयू के बाद ढोरी खास स्थित पांच एकड़ भूमि पर उक्त योजना का कार्य गत वर्ष शुरू हुआ था। योजना का शिलान्यास सितंबर 2017 को आनलाइन किया गया था। इसके बाद रॉक ड्रिल इंडिया कंपनी की ओर से योजना कार्य प्रारंभ कर दिया गया।
वाटर ट्रीटमेंट प्लांट के कार्य स्थल पर भूमिगत आग के बाहर आने के बाद कार्य एजेंसी अब पशोपेश में है। फायर जोन होने के कारण जमीन से धुआं निकलने लगा है। धुआं निकलने की घटना के बाद नगर परिषद के तकनीकी अधिकारियों की ओर से स्थल निरीक्षण किया गया। कालांतर में बेरमो एसडीएम प्रेमरंजन की अध्यक्षता में आयोजित समीक्षा बैठक में इसका फैसला ले लिया गया कि फायर जोन में योजना नहीं दी जा सकती।
वर्ष 2008 में बनी थी डीपीआर : शहरी जलापूर्ति योजना की डीपीआर वर्ष 2008 में तैयार की गई थी। नगर परिषद ने इसके लिए ढोरी खास स्थित सीसीएल की पांच एकड़ भूमि अधिग्रहित कर चारदीवारी और वाटर ट्रीटमेंट प्लांट की आधारशिला रखी। योजना के तहत 28 वार्डो को छह जोन में बांटकर छह जलमीनार निर्माण का भी प्रस्ताव है।
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पूर्व के अधिकारियों ने स्थल चयन में भूल की थी, जिसका खमियाजा अब सामने आ रहा है। फायर जोन में जलापूर्ति संयंत्र की स्थापना नहीं की जा सकती है। इसके तकनीकी पहलुओं की पड़ताल की गई है। स्थल जांच कर रिपोर्ट से सीसीएल को भी अवगत करा दिया गया है। परियोजना के लिए अब नए स्थल की तलाश की जा रही है।
- राकेश कुमार ¨सह, अध्यक्ष, नगर परिषद, फुसरो।