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एनओसी नहीं मिलने से नक्सली प्रभावित क्षेत्रों में विकास गति पड़ी ेधीमीे

गोमिया (बेरमो) : गोमिया प्रखंड की अति उग्रवाद प्रभावित पंचायतों की विकास योजनाओं के क्रियान्वयन

By JagranEdited By: Published: Fri, 18 Jan 2019 06:19 PM (IST)Updated: Fri, 18 Jan 2019 06:19 PM (IST)
एनओसी नहीं मिलने से नक्सली प्रभावित क्षेत्रों में विकास गति पड़ी ेधीमीे
एनओसी नहीं मिलने से नक्सली प्रभावित क्षेत्रों में विकास गति पड़ी ेधीमीे

गोमिया (बेरमो) : गोमिया प्रखंड की अति उग्रवाद प्रभावित पंचायतों की विकास योजनाओं के क्रियान्वयन में नक्सलियों से अधिक बाधक वन विभाग का एनओसी बना हुआ है। प्रशासनिक आंकड़े के अनुसार गोमिया प्रखंड में लगभग 75 करोड रुपए की विभिन्न योजनाएं मसलन सड़क कालीकरण, पीसीसी पथ, जलमीनार, सामुदायिक भवन, अस्पताल, स्कूल भवन आदि योजनाओं को ध्ररातल पर उतारने में यहां वन विभाग बाधक बना हुआ है। इस विकास योजनाओं के क्रियान्वयन में जिला प्रशासन और वन विभाग के बीच आपसी समन्वय की कमी उभर कर सामने आई है। गोमिया प्रखंड में तीन वन प्रक्षेत्र हैं, जो गोमिया, तेनुघाट और महुआटांड़ रेंज के अंतर्गत हैं। इसमें से तेनुघाट और महुआटांड़ क्षेत्र को वन प्रमंडल बोकारो के अधीन रखा गया है वहीं गोमिया वन प्रक्षेत्र हजारीबाग पूर्वी प्रमंडल के मातहत है। अधिकांश योजनाएं जो हजारीबाग पूर्वी वन प्रमंडल क्षेत्र में कार्यांन्वित होनी है, में एनओसी (अनापत्ति प्रमाणपत्र) नहीं मिल रहा है। प्रशासनिक महकमा इसमें असहाय नजर आ रहा है।

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इन योजनाओं में एनओसी का पेंच फंसा :

प्रखंड के झुमरा पहाड़ से सटे तिस्कोपी गांव में 12 किमी लंबी सड़क जिसकी प्राक्कलित राशि 9 करोड़ रुपए हैं, पिछले एक वर्ष से वन विभाग से एनओसी नहीं मिलने के कारण लटकी हुई है। वहीं गुरुडीह पंचायत के भित्तिया गांव में 7 किमी की लंबी सड़क जिसकी लागत करीब 5 करोड रुपए है, में ही कमोबेश एक जैसी परिस्थितियों बनी हुई है। यहीं नहीं कर्री से कुकनालो तक पांच करोड़ रुपये की लागत से बनने वाली 7 किमी सड़क, कढमा से दनरा तक 5 करोड़ की लागत से 7 किमी लंबी सड़क और चतरोचट्टी से झुमरा तक 21 करोड़ रुपये की लागत से 16 किमी लंबी सड़क का निर्माण कार्य एनओसी नहीं मिलने बंद है। इसके अलावा झुमरा से बलथरवा तक 7 किमी लंबी सड़क जिसकी लागत राशि 7 करोड रुपए है, भी एनओसी के पेंच में फंसी हुई है।

इसी तरह चतरोचट्टी ग्राम में पेयजलापूíत के लिए जल मीनार, पाइप लाइन बिछाने की योजना वन विभाग से एनअेासी नहीं मिलने से बंद है। इसकी प्राक्कलित राशि 18 करोड 75 लाख रुपए है। चतरोचट्टी से ग्राम मंगरो तक 2200 मीटर सड़क निर्माण कार्य भी वन विभाग के कारण बंद है। चतरोचट्टी पंचायत की मुखिया कौलेश्वरी देवी, समाजसेवी महादेव महतो, आजसू के कोलेश्वर रविदास, सुंदर रविदास ने बोकारो उपायुक्त से शीघ्र इन विकास योजनाओं को धरातल पर उतारने की मांग की है।

-----------------------------------------विकास कार्यों की समीक्षा के दौरान इस मामले को गंभीरता से उठाया जाएगा। विकास योजना को धरातल पर उतारने के लिए राज्य प्रशासन को अपने विभागों के बीच समन्वय स्थापित कराना चाहिए। इस मामले में जरूरत पड़ने पर विधान सभा में भी आवाज उठाई जायेगी। - बबीता देवी, विधायक, गोमिया।


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