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बेगुनाह को छेड़ें नहीं, पर गुनहगार को छोड़ा न जाए: उपराज्यपाल

श्रीनगर के जेवन में बुधवार को पुलिस स्मृति दिवस पर श्रद्धांजलि समारोह में उपराज्यपाल ने कहा कि जम्मू कश्मीर पुलिस संगठन दुनिया उन चुनिदा पुलिस संगठनों में एक है जो कानून व्यवस्था की जिम्मेदारी निभाने के साथ साथ एक छद्म युद्ध का भी पूरी तरह मुकाबला कर रही है।

By JagranEdited By: Published: Thu, 22 Oct 2020 08:52 AM (IST)Updated: Thu, 22 Oct 2020 08:52 AM (IST)
बेगुनाह को छेड़ें नहीं, पर गुनहगार को छोड़ा न जाए: उपराज्यपाल
बेगुनाह को छेड़ें नहीं, पर गुनहगार को छोड़ा न जाए: उपराज्यपाल

राज्य ब्यूरो, श्रीनगर: जम्मू कश्मीर में आतंकियों समेत देश विरोधी तत्वों को किसी भी सूरत में बख्शा नहीं जाएगा। उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने कहा है कि जम्मू कश्मीर पुलिस को स्पष्ट आदेश है कि वह किसी भी बेगुनाह को परेशान न करे, उन्हें न छेड़ें, लेकिन कोई भी गुनहगार छोड़ा भी न जाए। उन्होंने कहा कि राष्ट्रविरोधी तत्वों, आतंकियों और अपराधियों के साथ उदारता नहीं बरती जाएगी। उनके खिलाफ कानून के तहत कठोर कार्रवाई ही होगी।

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श्रीनगर के जेवन में बुधवार को पुलिस स्मृति दिवस पर श्रद्धांजलि समारोह में उपराज्यपाल ने कहा कि जम्मू कश्मीर पुलिस संगठन दुनिया उन चुनिदा पुलिस संगठनों में एक है जो कानून व्यवस्था की जिम्मेदारी निभाने के साथ साथ एक छद्म युद्ध का भी पूरी तरह मुकाबला कर रही है। आज के दिन मैं उन सभी वीरों को सलाम करता हूं जो अपनी अंतिम सांस तक राष्ट्रीय एकता व अखंडता के लिए लड़ते रहे। उन्होंने कहा कि तमाम विपरीत परिस्थितियों के बावजूद बीते दो सालों में 684 वीरता मिलना पुलिस के जवानों की वीरता और कर्तव्यनिष्ठा की परिचायक है। निजी जिम्मेदारियों के बीच पुलिस के जवान और अधिकारी आम लोगों के संरक्षक और मित्र की भूमिका भी निभा रहे हैं।

आतंकियों व राष्ट्रविरोधी तत्वों पर कठोर कार्रवाई की चेतावनी देते हुए मनोज सिन्हा ने पुलिस व सुरक्षा एजेंसियों को किसी भी खतरे को पूरी तरह से मिटाने का निर्देश दिया। उन्होंने कहा कि देश के किसी भी दुश्मन को नहीं बख्शा जाए, उनका समूल नाश किया जाए। सुरक्षाबल किसी बेगुनाह को न छेड़ें, लेकिन गुनाहगार को किसी भी कीमत पर न छोड़ा जाए। गुनाहगारों के खिलाफ कठोर कार्रवाई की जाए। उन्होंने सोशल मीडिया के दुरुपयोग से सभी को सचेत किया है। साथ ही इस पर काबू पाने को जरूरी बताया। युवाओं को गुमराह होने से बचाना जरूरी: उपराज्यपाल ने सोशल मीडिया के दुरुपयोग को एक बड़ी चुनौती बताया है। उन्होंने इस पर निरंतर निगरानी की जरूरत बताई है। उन्होंने कहा कि सोशल मीडिया के दुरुपयोग को रोकने, युवाओं को गुमराह होने से बचाने के लिए पहले ही एक तंत्र क्रियाशील है, लेकिन इसमें जनभागीदारी को बढ़ाना बहुत जरूरी है। आज के दिन मेरे लिए भावुक

मनोज सिन्हा ने कहा कि आज दिन मेरे लिए बहुत ही भावुक है। हम किसी भी परिवार के किसी भी सदस्य की मृत्यु से होने वाले नुकसान की भरपाई नहीं कर सकते, लेकिन हम शिक्षा, रोजगार, वित्त व अन्य प्रकार से शहीदों के परिजनों की सदैव मदद को प्रयासरत रहेंगे। आतंकियों की दरिदगी का जवाब देंगे: डीजीपी

पुलिस महानिदेशक दिलबाग सिंह ने बताय कि विभिन्न आतंकरोधी अभियानों में इस साल पहली जनवरी से अब तक पुलिस के 14 जवानों व अधिकारियों ने बलिदान दिया है। यह बलिदान व्यर्थ नहीं जाएगा, बल्कि आतंकवाद को पूरी तरह समाप्त करने का हमारा संकल्प और पक्का हुआ है। उन्होंने शहीद इंस्पेक्टर मोहम्मद अशरफ बट की शहादत का बदला लेने का संकल्प जताते हुए कहा कि हम आतंकियों को उनकी इस दरिदगी का जवाब देंगे।

पुलिस स्मृति दिवस पर जेवन में दिलबाग सिंह ने कहा कि जम्मू कश्मीर पुलिस पड़ोसी देश द्वारा फैलाए जा रहे आतंकवाद का मुकाबला कर रही है। बीते 30 सालों के दौरान जम्मू कश्मीर पुलिस के छह हजार जवान व अधिकारी शहीद हुए हैं। उन्होंने कहा कि जम्मू कश्मीर पुलिस संगठन देश के सबसे बेहतरीन और पेशेवर पुलिस संगठनों में एक है। हमारे जवानों की राष्ट्रभक्ति, कर्तव्यनिष्ठा, देश की एकता व अखंडता के लिए आत्मबलिदान की भावना की कोई दूसरी मिसाल नहीं है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृहमंत्री अमित शाह भी जम्मू कश्मीर पुलिस की कई बार प्रशंसा कर चुके हैं।


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