कुलगाम में एक और स्थानीय आतंकवादी का आत्मसमर्पण
राज्य ब्यूरो, श्रीनगर : स्थानीय आतंकियों की घर वापसी के सिलसिले को आगे बढ़ाते हुए बुध्
राज्य ब्यूरो, श्रीनगर : स्थानीय आतंकियों की घर वापसी के सिलसिले को आगे बढ़ाते हुए बुधवार को एक और आतंकी अल्ताफ शेख उर्फ कैप्टन ने भी कुलगाम में सेना के समक्ष आत्मसमर्पण किया। अल्ताफ आतंकी गतिविधियों में सक्रिय रहा है। वह पहले भी आत्मसमर्पण कर चुका है। इसके बाद अल्ताफ गत वर्ष दोबारा आतंकी बन गया था।
कुलगाम से मिली जानकारी के अनुसार, अल्ताफ शेख हिजबुल मुजाहिदीन और लश्कर-ए-तैयबा के आतंकियों का नामी ओवरग्राउंड वर्कर रहा है। वह कोयमू व साथ सटे इलाकों में पत्थरबाजी और अन्य राष्ट्रविरोधी गतिविधियों में लिप्त रहा है। अल्ताफ ने 11 सितंबर 2015 को कुलगाम में पुलिस कांस्टेबल जाहिद पर साथियों संग हमला कर उसकी राइफल छीन ली थी। इसके बाद वह आतंकी संगठन में पूरी तरह सक्रिय हो गया था। छह मार्च 2016 को मुठभेड़ में मारे गए कुख्यात आंतकी दाऊद शेख का करीबी रहा है। दाऊद की मौत से दो दिन पहले चार मार्च 2016 को अल्ताफ ने सुरक्षाबलों के आगे आत्मसमर्पण किया था। इसके बाद वह 25 नवंबर 2016 को फिर आतंकियों के लिए बतौर ओवरग्राउंड वर्कर काम करने लगा। कुछ माह बाद वह फिर एक सक्रिय आतंकी बन गया। संबंधित अधिकारियों ने बताया कि अल्ताफ ने वीरवार को कुलगाम के पास सेना की राष्ट्रीय राइफल्स के अधिकारियों के समक्ष आत्मसमर्पण किया है। अल्ताफ का आत्मसमर्पण स्वाग्तयोग्य है। हालांकि वह पहले भी मुख्यधारा में शािमल हुआ था और कुछ समय बाद दोबारा बंदूक के रास्ते पर चल पड़ा था। उसके खिलाफ कई संगीन आतंकी मामले भी दर्ज हैं। गौरतलब है कि इस माह हिज्ब से जुड़े माजिद इरशाद खान और निसार डार आत्मसमर्पण कर चुके हैं।