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राजनीतिक अस्थिरता से करोड़ों के विकास रुके, करीब तीन माह से कठुआ नगर परिषद में प्रधान पद पर गतिरोध जारी

नप प्रधान नरेश शर्मा ने इस्तीफा दिया है तब से विकास कार्यों पर ब्रेक सी लग गई है। उसके बाद भी अब जब राजनीतिक अस्थिरता को दूर करने के लिए गत डेढ़ माह पहले नए नगर परिषद नप प्रधान का चुनाव भी हो गया है

By rakesh sharmaEdited By: Lokesh Chandra MishraPublished: Wed, 26 Oct 2022 02:59 AM (IST)Updated: Wed, 26 Oct 2022 04:59 PM (IST)
राजनीतिक अस्थिरता से करोड़ों के विकास रुके, करीब तीन माह से कठुआ नगर परिषद में प्रधान पद पर गतिरोध जारी
पार्किंग सुविधा से जुड़ी मुखर्जी चौक में करोड़ों की शॉपिंग कांप्लेक्स परियोजना का निर्माण रुका हुआ है।

कठुआ, राकेश शर्मा : नगर परिषद में पिछले कुछ माह से राजनीतिक अस्थिरता से शहर में करोड़ों के विकास कार्य रुके पड़े हैं। विशेषकर जब से नप प्रधान नरेश शर्मा ने इस्तीफा दिया है तब से विकास कार्यों पर ब्रेक सी लग गई है। उसके बाद भी अब जब राजनीतिक अस्थिरता को दूर करने के लिए गत डेढ़ माह पहले नए नगर परिषद नप प्रधान का चुनाव भी हो गया है, लेकिन कुछ सरकारी अड़चनों के कारण नए प्रधान को कार्यभार संभालने का मौका नहीं मिल सका।

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अब उम्मीद है कि इस पर जल्द फैसला ही हो जाएगा, लेकिन इन सब के बीच पिछले कुछ माह से राजनीतिक अस्थिरता ने शहर के विकास पर ब्रेक लगा दी है। शहर में अब तक नगर परिषद की पहली पार्किंग सुविधा से जुड़ी मुखर्जी चौक में करोड़ों की शॉपिंग कांप्लेक्स परियोजना का निर्माण रुका हुआ है।

इस पर नरेश शर्मा के कार्यकाल के दौरान ही काम शुरू हुआ था। हालांकि, इसमें भी कुछ अड़चनें आई थीं, लेकिन समय रहते उसे तत्कालीन नप प्रधान ने दूर कर लिया था। उसके बाद कार्य दोबारा शुरू होता, तब तक वर्तमान प्रधान ने इस्तीफा दे दिया था। उसके बाद नगर परिषद की ओर से एक माह तक चुनाव ही नहीं कराए गए,जब कराए गए तो नवनिर्वाचित प्रधान राजेंद्र सिंह बब्बी को कुर्सी पर बैठने के लिए सरकारी अधिसूचना का लंबा इंतजार करना पड़ा रहा है, जो ड़ेढ महीने बीतने के बाद भी खत्म नहीं हो रहा है।

इन सब झमेलों एवं राजनीतिक अस्थिरता से आ रही अड़चनें शहर के विकास को ग्रहण लग गया है। एक समय में दिन में चार चार विकास कार्यों के उद्घाटन हो रहे थे। सबसे ज्यादा शहर की सड़कों के निर्माण और उनपर तारकोल के कार्य पूरी गति से जारी थे, जो तीन माह से ठप पड़े हैं। नगर परिषद में कहीं भी विकास कार्य के शुभारंभ होते नहीं दिख रहे हैं, जो कार्य चल रहे थे,वो वहीं रुक गए हैं। इसका सबसे बड़ा उदाहरण कृष्णा कालोनी की मुख्य सड़क का अधूरा कार्य है।

नगर परिषद की अभी तक एक भी पार्किंग नहीं

शहर में नगर परिषद की एक भी अपनी पार्किंग नहीं है। इससे शहरवासियों को खासकर मुखर्जी चौक स्थित मुख्य बाजार में खरीदारी आदि के लिए आने पर वाहन पार्किग के लिए कोई चिन्हित जगह नहीं है। बीच चौक में वाहनों की अवैध पार्किंग पूरे शहर में अव्यवस्थित यातायात का माहौल बना रहता है। अगर कोई त्योहार हो तो मुखर्जी चौक अवैध पार्किंग से पटा रहता है। ये तभी खाली दिखता है,जब शहर में कोई बड़ा नेता आता है तो पूरा चौक प्रशासन झटके से खाली करा लेता है,लेकिन जब जनता की समस्याओं के समाधान के लिए तब प्रशासन, पुलिस और नगर परिषद गंभीर नहीं दिखती है।

शहर की इस बड़ी समस्या का समाधान मौजूदा समय में बनने वाले शॉपिंग कांप्लेक्स से दिख रहा है, लेकिन उसमें भी अड़गा डाले हुए कई महीनें हो चुके हैं। इसके समाधान के लिए नगर परिषद कोई गंभीरता से प्रयास नहीं करती दिख रही है। बता दें कि 25 किलोमीटर वर्ग क्षेत्र में फैले शहर में 21 वार्ड हैं। जिला मुख्यालय होने पर यहां बड़े बड़े मॉल, बैंक सहित अन्य संस्थान खुल चुके हैं और आए दिन खुलने का क्रम तेजी से जारी है, लेकिन इन सबके लिए पार्किंग का कहीं भी कोई प्रावधान नहीं है। नगर परिषद से उन्हें एनओसी बिना रोकटोक के जारी होती है।

नगर परिषद आज तक कोई भी अपना पार्किंग स्थल नहीं बना

शहर में बढ़ते यातायात के बावजूद नगर परिषद आज तक कोई भी अपना पार्किंग स्थल नहीं बना सकी है। कॉलेज रोड पर सबसे ज्यादा भीड़ रहती है। यहां पर कालीबड़ी में बीच सड़क, डीसी कार्यालय के अपने गेट के बाहर नो पार्किंग जोन, कॉलेज के सामने, शहीदी चौक आदि में वाहन बीच सड़क में पार्क होते हैं। इसके लिए पार्षद भी प्रयास करते नहीं दिखते हैं, जब कि प्रशासन व पुलिस की नागरिकों के साथ अक्सर होने वाली बैठकों में नागरिक शहर में अवैध पार्किंग का मुद्दा प्रमुखता से उठाते हैं, लेकिन उस पर अमल कोई नहीं होता है।

पार्किंग के लिए 29 को खुलेगा टेंडर

नगर परिषद कठुआ के मुख्य कार्यकारी अधिकारी संतोष कोतवाल ने कहा कि मुखर्जी चौक में चिन्हित पार्किंग का निर्माण वहां बनने वाले शॉपिंग कांप्लेक्स से अर्जित होने वाले रेवेन्यू से होना है। अब पहली दस दुकानों का टेंडर लगाया गया है, जिसे 29 अक्टूबर को खोला जाना है। उसके बाद निर्माण भी शुरू होगा।


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