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पत्थरबाजी के आरोप में पकड़ा युवक छूटने के बाद परिजनों से बोला, यह याद रखने वाला सबक, मैं अब सिर्फ पढ़ाई पर ध्यान दूंगा Kashmir News

अंवतीपोर पुलिस लाइन में एक कार्यक्रम के दौरान पुलिस ने पत्थरबाजी सहित कानून व्यवस्था बिगाड़ने संबंधी मामलों में पकड़े एक दर्जन युवकों को काउंसिलिंग के बाद अभिभावकाें को सौंपा।

By Rahul SharmaEdited By: Published: Sun, 14 Jul 2019 11:48 AM (IST)Updated: Sun, 14 Jul 2019 11:48 AM (IST)
पत्थरबाजी के आरोप में पकड़ा युवक छूटने के बाद परिजनों से बोला, यह याद रखने वाला सबक, मैं अब सिर्फ पढ़ाई पर ध्यान दूंगा   Kashmir News
पत्थरबाजी के आरोप में पकड़ा युवक छूटने के बाद परिजनों से बोला, यह याद रखने वाला सबक, मैं अब सिर्फ पढ़ाई पर ध्यान दूंगा Kashmir News

श्रीनगर, नवीज नवाज । हमें विश्वास नहीं था कि हमारे बेटे को समझाकर, उसे इन्सान बनने की प्रेरणा देकर हमारे हवाले किया जाएगा। आज हमने बेटे से बात की तो हमें महसूस हुआ कि वह अपने किए पर शर्मिदा है। यह शब्द रुआंसी आवाज में मुश्ताक अहमद और उसकी पत्नी नाजिया बानो के मुंह से निकले हैं। दोनों मां-बाप पत्थरबाजी में संलिप्त अपने बेटे को पुलिस काउंसिलिंग के बाद लेने आए हुए थे। कहते हैं कि हमने अपने बेटे से कहा कि जो हुआ उसे भूल जाओ तो बेटे का जवाब था कि यह भूलने वाली बात नहीं है। यह सबक है जो मुझे याद रखना चाहिए, ताकि मुझे या आपको दोबारा यहां न आना पड़े। हम जब भी यहां आएं तो फक्र से आएं। इसलिए मैं अब पढ़ाई पर ही ध्यान दूंगा, इससे ज्यादा हमें चाहिए भी क्या?

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शनिवार को दक्षिण कश्मीर के अंवतीपोर पुलिस लाइन में एक कार्यक्रम के दौरान पुलिस ने पत्थरबाजी सहित कानून व्यवस्था बिगाड़ने संबंधी विभिन्न मामलों में पकड़े एक दर्जन से ज्यादा युवकों को काउंसिलिंग के बाद अभिभावकों के हवाले किया। छोड़े गए युवकों ने पुलिस को यकीन दिलाया है कि वे भविष्य में राष्ट्रविरोधी गतिविधि में लिप्त नहीं होंगे और कश्मीर में शांति बहाली व राष्ट्रनिर्माण में योगदान देंगे। युवकों ने उन कारणों का भी जिक्र किया, जिनसे प्रभावित होकर वह राष्ट्रविरोधी गतिविधियों में सम्मलित हुए।

कार्यक्रम में एसएसपी अवंतीपोर ताहिर सलीम, एसडीपओ त्रल, डीएसपी डीएआर और डीएसपी आप्रेशन्स के अलावा बड़ी संख्या में नागरिक समाज के विभिन्न प्रतिनिधियों शामिल थे। वहीं पत्थरबाजी के आरोप में पकड़े गए युवकों के परिजन भी विशेष तौर पर आए हुए थे।

युवकों को सख्ती नहीं हमदर्दी की जरूरत

एसएसपी ताहिर सलीम ने कहते हैं कि पुलिस के लिए इन युवकों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई का पूरा मौका था। लेकिन जब लड़कों की पृष्ठभूमि का पता किया, इनसे बातचीत की तो कई अन्य जानकारियां मिली। इससे लगा कि इन्हें सख्ती नहीं हमदर्दी और सही राह दिखाने की जरुरत है। काउंसिलिंग प्रक्रिया शुरू की। विभागीय अधिकारियों, मजहबी नेताओं व बुद्धिजीवियों का भी सहयोग लिया, जिसके बाद आज इन सभी युवकों को अभिभावकों के हवाले किया है। एसएसपी ने कहा कि अभिभावकों से आग्रह है कि वह बच्चों को हिंसक व राष्ट्रविरोधी गतिविधियों से दूर रखें। अगर उन्हें लगे कि बच्च गलत रास्ते पर जा रहा है तो वह उसे रोकें। पुलिस को सूचित करें। पुलिस उनकी मदद करेंगे।


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