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Raksha Bandhan 2022 : मौसम ने भरा जोश, पतंगबाजी के लिए घरों की छतों पर उमड़े बच्चे व युवा

Raksha Bandhan 2022 वीरवार को हुई बारिश से मौसम सुहावना हो गया और ठंडी हवाएं रक्षाबंधन पर जम्मू में पतंगबाजी को यादगार बना गई। सुबह मौसम साफ होने के साथ ही शहर में बच्चे और बड़े छतों पर चढ़ गए थे ताकि पतंगबाजी का मजा लिया जा सके।

By Rahul SharmaEdited By: Published: Fri, 12 Aug 2022 02:10 PM (IST)Updated: Fri, 12 Aug 2022 02:10 PM (IST)
Raksha Bandhan 2022 : मौसम ने भरा जोश, पतंगबाजी के लिए घरों की छतों पर उमड़े बच्चे व युवा
डीजे की धुन पर हल्का-फुल्का डांस भी चलता रहा।

जम्मू, जागरण संवाददाता : इस बार रक्षाबंधन पर राखी बांधने को लेकर चाहे असमंजस पैदा हुआ हो लेकिन यह असमंजस पंतगबाजी के शौकीन बच्चों व युवाओं के लिए दोगुनी खुशी लेकर आया। उन्हें दो दिन पतंग उड़ाने का मौका मिला। हालांकि वीरवार को बारिश ने उनके अरमानों पर पानी फेर दिया लेकिन आज मौसम साफ होते ही बच्चे व युवा पूरे जोश के साथ छतों पर पहुंच गए और सुबह से ही चल गइया, तेरी ओ, हुर्र-हुर्र-हुर्रे जैसे जोश भरे नारों और भारत माता की जय के जयघोष और डीजे की धुन पर थिरकते हुए पतंगबाजी का सिलसिला शुरू हो गया। आज मौसम ने भी साथ दिया और अधिक धूप भी नहीं थी जिससे पतंगबाजी का मजा दोगुना हो गया।

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वीरवार को हुई बारिश से मौसम सुहावना हो गया और ठंडी हवाएं रक्षाबंधन पर जम्मू में पतंगबाजी को यादगार बना गई। सुबह मौसम साफ होने के साथ ही शहर में बच्चे और बड़े छतों पर चढ़ गए थे ताकि पतंगबाजी का मजा लिया जा सके। दिन आगे बढ़ने के साथ शहर के अधिकतर इलाकों विशेष पुराने शहर में युवाओं की टोलियां छतों पर पतंगबाजी करने में व्यस्त हो गई थीं। आसमान में घूमती रंग-बिरंगी पतंगें रक्षाबंधन के त्यौहार की खुशियों को चार चांद लगा गईं। कई बहने भी भाइयों की इस खुशी को दोगुना करने के लिए उनके साथ छतों पर खड़ी रहीं। डीजे की धुन पर हल्का-फुल्का डांस भी चलता रहा।

पुराने शहर की हर गली, बाजार, मोहल्ले से ‘वो कटेया ई आ.. की आवाजें गूंजती रहीं। जिसने पतंग काटी वो मस्ती में झूम कर उत्साहित हुआ तो जिसकी पतंग कटी, वह फिर से दूसरी पतंग को हवा में उड़ा अपनी हार का बदला लेने का प्रयास करता नजर आया। आसमान रंग-बिरंगी पतंगों से पटा हुआ नजर आया। जम्मू शहर में रक्षा बंधन पर पतंगबाजी की परंपरा काफी पुरानी है जो जन्माष्टमी तक चलती है।

शायद ही किसी घर की छत ऐसी होगी जिस पर लोग पतंगबाजी का मजा लेते न दिखे हों।सबसे ज्यादा पतंगबाजी पुराने जम्मू शहर में होती है जहां घरों की छत्तों पर कहीं कोई कन्नी बांधता नजर आता है तो कोई चरखी लपेटता। छोटे-छोटे बच्चे भी किसी से पीछे नहीं रहते। अपने स्तर पर वे भी पतंगबाजी का खूब मजा उठाते है। 


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