जम्मू में प्रवासी पक्षियों से पर्यटन बढ़ाने की तैयारी, स्थानीय लोग बनेंगे जागरूकता के प्रहरी
घराना वेटलैंड पर आने वाले पक्षियों की जानकारी दिलाने के लिए जगह-जगह साइन बोर्ड लगवाए जा रहे हैं। यह साइन बोर्ड तो वेटलैंड क्षेत्रों में तो लग ही रहे हैं वहीं सीमांत क्षेत्र के गली चोराहों पर भी लगाए जा रहे हैं।
जम्मू, जागरण संवाददाता। जम्मू के सीमांत क्षेत्र की भूमि प्रवासी पक्षियों की पसंदीदा जगह है। हर साल सर्दियों में आने वाले यह पक्षी घराना वेटलैंड पर तो डेरा डालते ही हैं। मगर इसके साथ साथ चिनाब नदी के किनारे, तवी नदी के आसपास के वातावरण में भी इन पक्षियों का मेला लगता है। यहां तक कि बसंतर नदी का सीमांत क्षेत्र का इलाका भी इन पक्षियों की चहल कदमी के लिए बेहतर है। यानि कि अखनूर से लेकर कठुआ तक की बार्डर बेल्ट की पट्टी प्रवासी पक्षियों के लिए बेहतर जगह है जहां यह मेहमान परिंदे सर्दियों का समय बिताते हैं।
कईं पक्षी तो बहुत ही नायाब हैं जोकि यहीं आना पसंद करते हैं। लेकिन इन पक्षियों के समीप या वेटलैंड के समीप रहने वाले लोग इन मेहमान परिंदों के प्रति बहुत ज्यादा जागरूक नही हैं। इसको लेकर वन्यजीव संरक्षण विभाग ने अभियान तो छेड़ा ही है मगर साथ ही साथ गैर सरकारी संस्थाएं भी लोगों को जागरूक कर रही हैं। चूंकि आने वाले समय में प्रवासी पक्षियों से भी पर्यटन बढ़ेगा। इसलिए कम से कम उन लोगों को तो इन पक्षियों के बारे में पता होना चाहिए जोकि इनके करीब रहते हैं। अगर इनको कुछ मालूम होगा तो यह दूसरे लोगों को भी बता पाएंगे। इसके लिए यह उपाय किए जा रहे हैं।
लगाए जा रहे साइन बोर्ड
घराना वेटलैंड पर आने वाले पक्षियों की जानकारी दिलाने के लिए जगह-जगह साइन बोर्ड लगवाए जा रहे हैं। यह साइन बोर्ड तो वेटलैंड क्षेत्रों में तो लग ही रहे हैं, वहीं सीमांत क्षेत्र के गली चोराहों पर भी लगाए जा रहे हैं। यह इसलिए कि पहले स्थानीय क्षेत्र के लोगों को इन पक्षियों के बारे में पता चल सके। वहीं फिर यह लोग बाहर से आने वाले पर्यटकों को भी जानकारी दे सकें। चूंकि घराना वेटलैंड पर हर साल सर्दियों में दूर दूर से पर्यटकों के आने का क्रम आरंभ हो चुका है और आने वाले बरसों में पर्यटकों की संख्या में और बढ़ोतरी होगी। इसको देखते हुए स्थानीय लोगों में जागरूकता आना जरूरी है।
बर्डस गाइड हो चुके तैयार
सीमांत क्षेत्र जैसे घराना वेटलैंड पर आने वाले लोगों को पक्षियों की जानकारी देने के लिए बर्डस गाइड का प्रशिक्षण भी कई युवाओं को मिल चुका हैं। इस प्रशिक्षण में अब युवाओं को आने वाले प्रवासी पक्षियों की किस्मों की तो जानकारी दी ही, वहीं इन पक्षियों के रहने सहन के बारे में भी बढ़चढ़ कर बताया गया। अब यह गाइड लोगों को पक्षियों के बारे में गाइड करने के लिए तैयार हैं।
आरएस पुरा कालेज में बनाया जा रहा घराना कार्नर
आरएस पुरा डिग्री कालेज ऐसा शिक्षण संस्थान है जोकि प्रवासी पक्षियों के सबसे नजदीक है। इसलिए यहां के विद्यार्थियों की जिम्मेदारी बनती है कि वे पहले स्वयं इन पक्षियों के बारे में जानें और फिर दूसरों को भी जागरूक बनाएं। इसके लिए इस डिग्री कालेज में घराना कार्नर बनायाा जा रहा है। यानि कि जीव विज्ञान के हाल में एक पूरा कार्नर प्रवासी पक्षियों के लिए समर्पित होगा। इस कार्नर में घराना वेटलैंड पर आने प्रवासी पक्षियों की तस्वीरों को लगाया जाएगा जिसमें इन पक्षियों के नाम भी दिए जाएंगे। इससे प्रभाव यह होगा कि विद्यार्थी वर्ग इन पक्षियों के बारे में बहुत कुछ जान सकेगा और फिर दूसरे में भी ज्ञान बांटेगा। जीव विज्ञान की हेड प्रो. प्रीतपाल कौर का कहना है कि आने वाले दिनों में कालेज के बच्चे प्रवासी पक्षियों पर अध्ययन भी शुरू करेंगे।
बनाए जा रहे पोस्टर
वन्यजीव संरक्षण विभाग ने प्रवासी पक्षियों की जानकारी जन-जन तक पहुंचने के लिए अनेकों किस्म के पोस्टर बनाए हैं। इस पठनीय सामग्री को लोगों में उतारा जा रहा है। वहीं कुछ सामाजिक संस्थाओं ने भी अपनी जिम्मेदारी को निभाने के लिए आगे आई हैं व लोगों को जागरूक बनाने के लिए कई तरह के कार्यक्रम आयोजित करवा रही हैं।