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आतंकवादियों की घुसपैठ करवा पड़ोसी देश राज्य की शांति को बाधित कर रहा है: राज्यपाल

राज्यपाल ने कहा कि घाटी में फिर से शांति बहाली के लिए हमारे जवान राज्य में अत्यंत परिस्थितियों में काम कर रहे हैं। सशस्त्र बल और पुलिस ने एक साल में सबसे अधिक आतंकवादियों को मार गिराया है।

By Rahul SharmaEdited By: Published: Sat, 26 Jan 2019 01:19 PM (IST)Updated: Sat, 26 Jan 2019 01:19 PM (IST)
आतंकवादियों की घुसपैठ करवा पड़ोसी देश राज्य की शांति को बाधित कर रहा है: राज्यपाल
आतंकवादियों की घुसपैठ करवा पड़ोसी देश राज्य की शांति को बाधित कर रहा है: राज्यपाल

जम्मू, राज्य ब्यूरो। राज्यपाल सत्यपाल मलिक ने देश के 70वें गणतंत्र दिवस पर राज्यवासियों को बधाई देते हुए कहा कि देश की एकता और अखंडता को कायम रखने में सशस्त्र बल और पुलिस के जवानों की भूमिका सराहनीय है। मैं उनको नमन करता हूं। पड़ोसी देश पाकिस्तान राज्य की शांति को बाधित करने के लिए लगातार आतंकवादियों की मदद कर रहा है। अंतरराष्ट्रीय और नियंत्रण रेखा पर बार-बार घुसपैठ का प्रयास किया जा रहा है। बार-बार हो रहे संघर्ष विराम उल्लंघन के कारण सीमावर्ती क्षेत्रों में रहने वाले लोगों की मुश्किलें बढ़ रही हैं। इन चुनौतियों के बावजूद हमारे सशस्त्र बल सीमा पर कड़ी चौकसी बरते हुए हैं।

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गणतंत्र दिवस पर जम्मू यूनिवर्सिटी में आयोजित राज्य स्तरीय समारोह में तिरंगा फहराने के बाद संबोधित करते हुए राज्यपाल ने जम्मू-कश्मीर में शांति के लिए एक तरफ जहां सशस्त्र बल और पुलिस की सराहना की, तो दूसरी तरफ उन्होंने राज्य को विकास के पथ पर ले जाने के लिए कई योजनाओं का जिक्र भी किया। उन्होंने कहा कि हिंसा या टकराव से किसी समस्या का समाधान नहीं हो सकता। उन्होंने इस बात पर दुख बताया कि जो युवा पेशेवर शिक्षा हासिल कर रहे थे, उन्होंने हिंसावादी समुहों से प्रभावित होकर बंदूक उठाई। इससे घाटी में लोगों की समस्याओं में इजाफा हुआ। हिंसा से कई कीमती जानें गई हैं। जिन परिवारों ने अपने प्रियजनों को खोया है, उन शोकसंतप्त परिवारों के प्रति मैं संवेदना जताता हूं।

राज्यपाल ने कहा कि घाटी में फिर से शांति बहाली के लिए हमारे जवान राज्य में अत्यंत परिस्थितियों में काम कर रहे हैं। सशस्त्र बल और पुलिस ने एक साल में सबसे अधिक आतंकवादियों को मार गिराया है। हम सशस्त्र बल और पुलिस जवानों के जज्बे को सलाम करते हैं। जिन्होंने जम्मू-कश्मीर में शांति बनाए रखने के लिए सर्वोच्च बलिदान दिए हैं। राष्ट्र उनका ऋणि है और उनके परिवार के प्रति हमारी संवेदनाएं हैं। यह हमारा कर्तव्य है कि हम शहीदों के परिवारों में खुशियां लाने का काम करें।

हमारा कर्तव्य उन लोगों के प्रति भी बढ़ जाता है जिन्होंने हिंसा में अपने प्रियजनों को खोया है। लोकतांत्रिक प्रक्रिया में सुधार लाना और सुशासन उपलब्ध कराना सरकार की जिम्मेदारी रही है। कड़ी चुनौतियों में पंचायत व निकाय चुनाव संपन्न हुए। जिस तरह से लोगों ने पंचायत और निकाय चुनाव में भाग लिया है, मैं लोगों का शुक्रगुजार हूं। शांतिपूर्वक चुनाव संपन्न होने के लिए मैं पुलिस और प्रशासन को मुबारकबाद देता हूं।

भ्रष्टाचार समाप्ति के लिए मिलकर काम करने की जरूरत

भ्रष्टाचार एक विकट समस्या है। इसे समाप्त करने के लिए सभी को मिलकर काम करना है। इसका समाधान तभी संभव है जब राज्य में एक निवारण करने वाला संस्थागत ढांचा हो। इसके लिए हमने एंटीक्रप्शन ब्यूरो का गठन किया है। इसे ज्यादा ताकतवर और प्रभावी बनाने के लिए विजिलेंस एक्ट में संशोधन किए गए हैं। नागरिकों की शिकायत के निवारण को प्राथमिकता दी गई है।

प्रधानमंत्री पैकेज से विकास को गति मिली

प्रधानमंत्री के 80 हजार करोड़ रूपये के पैकेज से राज्य में विकास को तेज गति मिली है। यह राज्य की शांति, समृद्धि को खुशहाल करेगा। पैसे की कमी के कारण राज्य में कई ढांचागत विकास योजनाएं रूक गई थी। इसके लिए जम्मू-कश्मीर इन्फ्रास्टक्चर डेवलपमेंट फाइनांस कारपोरेशन का गठन किया गया है। इसके तहत आठ हजार करोड़ रूपये का ऋण लेकर रूके पड़े काम आगे बढ़ाए जा रहे हैं। राज्यपाल ने विभिन्न केंद्र परियोजनाओं का भी जिक्र किया जिससे लोगों की समस्याओं का समाधान हो रहा है।

अधूरी योजनाओं के लिए उठाए गए हैं कदम

बिजली की अधूरी योजनाओं को पूरा करने लिए भी कदम उठाए जा रहे हैं। रत्तले पनबिजली परियोजना को सांझे कार्यक्रम के तहत मंजूरी दे दी गई है। 850 मेगावाट क्षमता वाली इस परियोजना के पूरा होने से राज्य में बिजली समस्या का निवारण होगा। सरकार हर क्षेत्र के लोगों की उम्मीदों के लिए संवेदनशील है। लद्दाख में यूनिवर्सिटी स्थापित करने की लंबित मांग को पूरा किया गया है। लद्दाख पहाड़ी विकास स्वायत काउंसिल को सशक्त बनाने के लिए अधिनियम में संशोधन किए गए हैं। राज्य में 40 नए डिग्री कालेज खोले गए हैं।

समस्याओं के हल के लिए उठाए कदम

बाहरी राज्यों में पढ़ रहे जम्मू-कश्मीर के विद्यार्थियों के समाधान के लिए नोडल अधिकारियों की नियुक्ति की है। शिक्षकों के मसलों का समाधान किया गया है और इसमें कई पेचीदा मसलों को हल किया गया है। शिक्षकों को एक ही काडर में लाया गया है। राज्य के हर स्कूल में बिजली, पानी, शौचालय उपलब्ध कराने के लिए कार्य योजना बनाई गई है। जम्मू-कश्मीर में छह लोग परिवारों के 30 लाख सदस्यों को आयुष्मान योजना के दायरे में लाया गया है। इस योजना के तहत प्रति परिवार को पांच लाख की बीमा सेवा उपलब्ध होगी। राज्य के पांच मेडिकल कालेजों के लिए केंद्र सरकार ने 260 करोड़ रूपये दिए हैं। 


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