Move to Jagran APP

Jammu Kashmir : अब आंदोलन को तेज करेंगे विस्थापित कश्मीरी पंडित

नगरोटा के जगटी में इन विस्थापितों का धरना जारी है ही वहीं अब यह लोग सड़कों पर उतर कर प्रदर्शन करने का मन बना रहे हैं। विस्थापित कश्मीरी पंडितों का कहना है कि लगता है कि केंद्र सरकार व जम्मू कश्मीर का प्रशासन कश्मीरी पंडितों की बात सुनना नही चाहता।

By Rahul SharmaEdited By: Published: Sun, 01 Nov 2020 11:33 AM (IST)Updated: Sun, 01 Nov 2020 11:33 AM (IST)
Jammu Kashmir : अब आंदोलन को तेज करेंगे विस्थापित कश्मीरी पंडित
नगरोटा के जगटी में विस्थापित कश्मीरी पंडित प्रशासन के खिलाफ विरोध प्रदर्शन करते हुए।

जम्मू, जागरण संवाददाता । मासिक राहत में बढ़ोतरी की मांगा को लेकर विरोध पर उतरे विस्थापित कश्मीरी पंडितों ने अब अपने आंदोलन को और तेज करने का मन बनाया है। नगरोटा के जगटी में इन विस्थापितों का धरना जारी है ही वहीं अब यह लोग सड़कों पर उतर कर प्रदर्शन करने का मन बना रहे हैं। विस्थापित कश्मीरी पंडितों का कहना है कि ऐसा लगता है कि केंद्र सरकार व जम्मू कश्मीर का प्रशासन कश्मीरी पंडितों की बात सुनना नही चाहता। इसलिए जगटी टैनिमेंट कमेटी को अब सड़क पर उतरने के लिए मजबूर होना पड़ रहा है।

loksabha election banner

कमेटी प्रधान शादी लाल पंडिता ने कहा कि चार सदस्य वाले विस्थापित परिवार को सरकार 13 हजार रुपए की मासिक सहायता देती है जोकि अब बहूत ही कम लगती है। क्योंकि महंगाई इतनी बढ़ गई है कि इस छोटी सी रकम में गुजारा नही हो पाता । इसलिए कश्मीरी पंडितों की मांग है कि इस राशि को बढ़ाकर 25 हजार रुपए माहवार किया जाए ताकि विस्थापित लोग अपनी गुजर बसर कर सके। लेकिन प्रशासन को हमारी चिंता ही नही है। माह भर से हम क्रमिक भूख हड़ताल पर भी हैं मगर प्रशासन की ओर से कोई नरमी का रुख नही देखा गया। यही कारण है कि हमें अब अपने आंदोलन को और तेज करने के लिए मजबूर होना पड़ा है।

मौके पर राज कुमार टिक्कू ने कहा कि घाटी से पलायन कर आए कश्मीरी पंडितों को आर्थिक तौर पर सुदृढ़ किए जाने की जरूरत है। ऐसे में हर विस्थापित कश्मीरी पंडित परिवार से एक व्यक्ति को सरकारी नौकरी दी जानी चाहिए। लेकिन केंद्र सरकार व जम्मू कश्मीर प्रशासन ने इस ओर अभी कोई निर्णय नही लिया है। ऐसा लगता है कि सरकार कश्मीरी पंडितों के मामलों को लेकर गंभीर ही नही है। इसलिए हमें अब अपना रुक कड़ा करना पड़ रहा है। आने वाले दिनों में कश्मीरी पंडित अपने हक के लिए राष्ट्रीय राजमार्ग पर पहुंच कर धरने प्रदर्शन करने के लिए मजबूर होगा।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.