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प्राचीन गुफा के कपाट न खुलने से श्रद्धालु मायूस, धूप निकलते ही वैष्णो देवी दर्शनों के लिए रवाना

बारिश व त्रिकुटा पर्वत हिमपात के बाद मंगलवार को मौसम साफ होने पर मां वैष्णो देवी के दर्शनों के लिए आए श्रद्धालुओं ने राहत की सांस ली।

By Preeti jhaEdited By: Published: Wed, 15 Jan 2020 09:54 AM (IST)Updated: Wed, 15 Jan 2020 09:54 AM (IST)
प्राचीन गुफा के कपाट न खुलने से श्रद्धालु मायूस, धूप निकलते ही वैष्णो देवी दर्शनों के लिए रवाना
प्राचीन गुफा के कपाट न खुलने से श्रद्धालु मायूस, धूप निकलते ही वैष्णो देवी दर्शनों के लिए रवाना

कटड़ा, जेएनएन। विश्व प्रसिद्ध सौन्दर्य के प्रतीक तीर्थ स्थल मां वैष्णो देवी भवन में प्राचीन गुफा के कपाट मकर संक्रांति पर पूजा-अर्चना के लिए खोल दिए जाते हैं, लेकिन इस बार श्रद्धालुओं को मायूस होना पड़ा। क्योंकि मकर संक्रांति पर श्रद्धालुओं की संख्या में आई गिरावट के बाद प्रकृति गुफा खोली जाती है। इस बार मां वैष्णो देवी की यात्रा का आकंडा प्रतिदिन 15 से 20 हजार के करीब है। भीड़ को देखते हुए फिलहाल श्राइन बोर्ड ने प्राचीन गुफा के कपाट को न खोलने का निर्णय लिया है।

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ऐसे में श्रद्धालु कृत्रिम गुफा से ही मां के दर्शन कर रहे हैं, क्योंकि देशभर से मकर सक्रांत के उपलक्ष्य पर मां वैष्णो देवी के दर्शनो के लिए आए श्रद्धालुओं को पूरी आस थी कि उन्हें प्राचीन गुफा से मां वैष्णो देवी के दर्शनो करने का सौभाग्य मिलेगा, जिसका वह बेसब्री से इंतजार कर रहे थे। उन्हें उम्मीद थी कि वर्तमान में जैसे ही यात्रा का आंकड़ा प्रतिदिन 10 हजार श्रद्धालु के करीब पहुंचेगा तो प्राचीन गुफा के कपाट को श्रद्धालुओं के लिए खोल दिया जाएगा। हालांकि सालभर में इस तरह का समय बड़ा कम ही रहता है परंतु सर्वाधिक समय फरवरी माह का रहता है जब श्रद्धालुओं को प्राचीन गुफा के दर्शन उपलब्ध होते हैं।

किसी समय मकर सक्रांति पर भी तीन से चार घंटे के लिए प्राचीन गुफा के द्वार श्रद्धालुओं के खोले जाते हैं बशर्ते इस मौके पर श्रद्धालुओं की संख्या काफी कम हो। श्रद्धालु मां वैष्णो देवी की प्राचीन गुफा से होकर मां वैष्णो देवी के अलौकिक दर्शन करता है तो उसका जीवन धन्य हो जाता है । 

15 से 20 हजार पहुंच रहे श्रद्धालु : वर्तमान में प्रतिदिन15 से 20 हजार श्रद्धालु मां वैष्णो देवी के चरणों में हाजिरी लगा रहे हैं। वहीं मां वैष्णो देवी के दर्शनों के बाद अधिकतर श्रद्धालु बर्फबारी का लुत्फ उठाने के लिए पत्नीटॉप, नत्थाटॉप की तरफ रुख कर रहे हैं। इससे पर्यटन स्थल गुलजार हो रहे हैं।

बारिश व त्रिकुटा पर्वत हिमपात के बाद मंगलवार को मौसम साफ होने पर मां वैष्णो देवी के दर्शनों के लिए आए श्रद्धालुओं ने राहत की सांस ली। सुबह धूप निकलने पर श्रद्धालुओं ने अपने परिजनों के साथ यात्रा पंजीकरण करवाकर मां वैष्णो देवी के दर्शनों के लिए भवन की ओर रवाना हुए। धूप का आनंद लेते हुए दिनभर श्रद्धालुओं का भवन की ओर जाने और कटड़ा की ओर आने का सिलसिला जारी रहा।

मौसम साफ रहने के कारण कटड़ा से सांझीछत तक चलने वाली हेलीकॉप्टर सेवा, आद्कुंवारी व वैष्णो देवी भवन तक चलने वाली बैटरी कार सेवा सुचारु रही। वहीं भवन से भैरोघाटी के मध्य चलने वाली पैसेंजर केबल कार सेवा भी श्रद्धालुओं को मिलती रही। खराब मौसम और कड़ाके की ठंड को देखते हुए श्रइन बोर्ड प्रशासन के अधिकारी व कर्मचारी यात्रा मार्ग पर नजर रखे हुए हैं। वहीं भवन मार्ग पर गर्म जल, कंबल, अंगीठी आदि की सुविधा भी श्रद्धालुओं को निरंतर मिल रही है। मौजूदा समय में मां वैष्णो देवी के सभी मार्गों पर यात्रा सुचारु रूप से चल रही है और श्रद्धालुओं को सुविधाएं भी मिल रही हैं। 


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