Move to Jagran APP

Shri Gobind Singh Jayanti 2021: उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने सिख समुदाय से किया वायदा, जम्मू-कश्मीर में पंजाबी भाषा को मिलेगा इंसाफ

केंदशासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने कहा कि प्रदेश में पंजाबी भाषा को उचित मान सम्मान और इंसाफ मिलेगा। उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने कहा कि सिख समुदाय का प्रदेश की अर्थव्यवथा में अहम योगदान है जिसे कभी भुलाया नहीं जा सकता है।

By Vikas AbrolEdited By: Published: Wed, 20 Jan 2021 04:24 PM (IST)Updated: Wed, 20 Jan 2021 04:24 PM (IST)
Shri Gobind Singh Jayanti 2021: उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने सिख समुदाय से किया वायदा, जम्मू-कश्मीर में पंजाबी भाषा को मिलेगा इंसाफ
केंदशासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा

जम्मू, जेएनएन। केंदशासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने कहा कि प्रदेश में पंजाबी भाषा को उचित मान, सम्मान और इंसाफ मिलेगा। सिख समुदाय काप्रदेश की अर्थव्यवथा में अहम योगदान है जिसे कभी भुलाया नहीं जा सकता है। उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने आज यानि बुधवार को श्री गुरु गोबिंद सिंह जी महाराज के प्रकाशोत्सव के उपलक्ष्य में चांद नगर स्थित गुरुद्वारा यादगार में श्री गुरु ग्रंथ साहिब के समक्ष शीश नवाया और प्रदेश में सुख-समृद्धि की।

loksabha election banner

उन्होंने सिख संगत को संबोधित करते हुए कहा कि जम्मू-कश्मीर की सभी लाइब्रेरियों में पंजाबी की पुस्तकें उपलब्ध करवाई जाएंगी जबकि पंजाबी भाषा के प्रचार और प्रसार के लिए रिसर्च को भी बढ़ावा दिया जाएगा। उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने कहा कि केंद्रशासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर में सिख समुदाय का काफी अहम योगदान रहा है और रहेगा। अगर प्रदेश की अर्थव्यवस्था की बात की जाए तो इसमें भी सिख समुदाय अन्य समुदायों से पीछे नहीं है।

इसी बीच नेशनल कांफ्रेंस के प्रधान एवं पूर्व मुख्यमंत्री डा. फारूक अब्दुल्ला ने भी चांद नगर स्थित गुरुद्वारा यादगार में शीश नवाया और सिख समुदाय को श्री गुरु गोबिंद सिंह जी महाराज के प्रकाशोत्सव के लिए बधाई दी। गुरुद्वारा में आज दिन भर सैकड़ों की तादाद में सिख समुदाय सहित अन्य समुदायों के लोग भी माथा टेकने पहुंच रहे हैं। गुरुद्वारे में आज सुबह से ही गुरु का अटूट लंगर बरताया जा रहा है और गुरुद्वारा साहिब के बाहर प्रसाद भी बांटा जा रहा है। रागी जत्थों की ओर से संगत को सिख गुरुओं का इतिहास बताया गया।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.