Jammu Kashmir: ट्रैफिक पुलिस को मिली 40 ई-चालान मशीन, अब नहीं बच पाएंगे फर्जी दस्तवेजों पर वाहन चलाने वाले
पोर्टल में वाहन व उसके चालक की जानकारी रखने के बाद जल्द ही दूसरे चरण में ई-चालान के जरिए कोर्ट को भी जोड़ने का सिलसिला चल रहा हैं। चालक यदि कोर्ट का चालान कटवाना चाहता है तो ई-चालान मशीन में ट्रैफिक कर्मी कोर्ट चालान की आप्शन पर बटन दबा देगा।
जम्मू, दिनेश महाजन: केंद्र सरकार ने मोटर वाहन नियम 1989 में संशोधन कर फर्जी दस्तावेजों के आधार पर वाहन चलाने वाले चालकों पर नकेल कसने जा रही हैं। सूचना प्रौद्योगिकी पोर्टल के माध्यम से एक अक्तूबर यानि आज से ड्राइविंग लाइसेंस और ई-चालान सहित वाहन संबंधी दस्तावेजों का रखरखाव किया जाएगा। वाहन दस्तावेजों की जांच के दौरान यदि इलेक्ट्रानिक माध्यम से दस्तावेज सही पाए गए तो चालकों को पुलिस नाकों पर वाहनों को दिखाने की जरूरत नहीं पड़ेगी।
40 ई-चालान मशीनें आई, 40 और जल्द आएंगी: एसपी ट्रैफिक जम्मू प्रदीप गोरिया का कहना है कि जम्मू पुलिस ने बीते शनिवार से ई-चालान का ट्रायल शुरू कर दिया हैं। ई-चालान करने के लिए जम्मू पुलिस के पास चालीस मशीन पहुंच गई और जल्द ही 40 और मशीन पहुंच रही हैं। यह मशीनें मोटर व्हीकल डिपार्टमेंट के पोर्टल से कनेक्ट होगी। जिसमें ट्रैफिक अधिकारियों के पास चालक के ड्राइविंग लाइसेंस के साथ गाड़ी के रजिस्ट्रेशन सर्टिफिकेट की जनकारी भी होगी। समय समय पर आरटीओ कार्यालय से ड्राइविंग लाइसेंस बने और रद्द होने की जानकारी को पोर्टल में अपडेट किया जाएगा।
कोर्ट में होगी जुर्माने की आन लाइन पेमेंट: पोर्टल में वाहन व उसके चालक की जानकारी रखने के बाद जल्द ही दूसरे चरण में ई-चालान के जरिए कोर्ट को भी जोड़ने का सिलसिला चल रहा हैं। चालक यदि कोर्ट का चालान कटवाना चाहता है तो ई-चालान मशीन में ट्रैफिक कर्मी कोर्ट चालान की आप्शन पर बटन दबा देगा। इंटरनेट से जुड़े होने चलते कोर्ट के रिकार्ड में भी चालान अपडेट हो जाएगा। इसके बाद कोर्ट से जिस व्यक्ति का चालान होगा को एसएमएस आया कि जिसमें उसे तय तिथि को पेश को जुर्माना भरे को कहा जाएगा। जुर्माने की राशि को कोर्ट में जाए बिना आन लाइन भी भरा जा सकेगा। जुर्माने की राशि भरने के बाद हीं चालक को उसके वाहन के दस्तावेज मिलेंगे जो चालान करवाते समय उसने ट्रैफिक कर्मी को दिए होंगे।
कैसे काम करती हैं ई-चालान मशीन: ई-चालान मशीन मोबाइल फोन की तरह हीं काम करती हैं। मशीन को स्टार्ट करते हुए इस पर विकल्प आ जाते हैं। जिसके चालक पोर्टल पर जा कर दस्तावेजों की जांच की जा सकती है या फिर चालान भी किया जा सकता हैं। जिस व्यक्ति का चालान हुआ है वह मौके पर जुर्माना देकर कंपाउंट चालान करवाए या फिर डेविट व क्रेडिट कार्ड से चालान कटवा दे। यदि उसके पास पैसे नहीं है तो वह बाद में अपने वाहन के दस्तावेज ट्रैफिक कर्मियों को सौंप कर बाद में एसपी ट्रैफिक कार्यालय में आ कर चालान की राशि जमा करवा सकता हैं। ई-चालान मशीन में चालक का जिस यातायात नियम का पालन ना करने के लिए चालान काटा जा रहा है कि जुर्माना पहले ही फीड होगा। जुर्माने की राशि में बदलाव करना संभव नहीं हैं।
यह हुआ है संशोधन :
- नए नियमों के मुताबिक, अगर इलेक्ट्रॉनिक माध्यम से दस्तावेजों की जानकारी सही होती है, तो फिर वाहन मालिक से जांच के लिए दस्तावेजों की हार्ड कॉपी नहीं मांगी जाएगी।
- इस पोर्टल में वह केस भी होंगे, जिनमें किसी अपराध के कारण वाहन मालिक के दस्तावेजों को जब्त किया गया है।
- वाहन चालकों को अपना लाइसेंस, रजिस्ट्रेशन सर्टिफिकेट, फिटनेस सर्टिफिकेट, परमिट्स जैसे दस्तावेज डिजिटली तैयार रखने होंगे।
- सभी दस्तावेजों को सरकार द्वारा चलाए जा रहे वेब पोर्टल के जरिए मेंटेन किया जाएगा।
- इसके साथ ही इलेक्ट्रॉनिक पोर्टल के जरिए कमपाउंडिंग, लाइसेंस का सस्पेंशन और रिवोकेशन, इम्पाउंडिंग, रजिस्ट्रेशन और ई-चालान जारी किए जाएंगे।
- अब गाड़ी चलाते समय वाहन चालक रास्ता देखने के लिए के लिए हाथ में मोबाइल या जीपीएस डिवाइस का उपयोग कर सकते हैं। मगर ध्यान रहे कि अभी भी वाहन चलाते समय फोन पर बात करना ट्रैफिक नियमों का उल्लंघन हैं। इसके लिए आपका चालान कट सकता है।