Jammu-Kashmir News: जांच एजेंसी की कस्टडी में मेहराज, पता चल सकतें हैं देशविरोधी गतिविधियों के कई राज
गैर सरकारी संगठन (एनजीओ) के माध्यम से कश्मीर में आतंकियों और आतंकी संगठनों को फंडिंग के मामले में श्रीनगर में गिरफ्तार किए गए इरफान मेहराज को 10 दिन के लिए राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) की कस्टडी में भेज दिया गया है।
जम्मू, राज्य ब्यूरो : गैर सरकारी संगठन (एनजीओ) के माध्यम से कश्मीर में आतंकियों और आतंकी संगठनों को फंडिंग के मामले में श्रीनगर में गिरफ्तार किए गए इरफान मेहराज को 10 दिन के लिए राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) की कस्टडी में भेज दिया गया है।
एनआइए ने गत सोमवार को ही उसे श्रीनगर से गिरफ्तार किया था। इसके बाद बुधवार को उसे दिल्ली की एक अदालत में पेश किया गया।
पूछताछ के लिए एनआईए को सौंपा
सुनवाई के दौरान अदालत ने उसे पूछताछ के लिए एनआईए को सौंप दिया। पूछताछ में उससे देश के खिलाफ षड्यंत्र के कई राज सामने आएंगे। बता दें कि जम्मू कश्मीर में एनजीओ से टेरर फंडिंग में गिरफ्तारी का यह पहला मामला है।श्रीनगर निवासी इरफान मेहराज की गिरफ्तारी अक्टूबर, 2020 में दर्ज एनजीओ टेरर फंडिंग मामले के मामले में हुई है। वह मानवाधिकार कार्यकर्ता खुर्रम परवेज का करीबी सहयोगी है और उसके संगठन जम्मू एंड कश्मीर कोएलिशन ऑफ़ सिविल सोसाइटी के साथ काम कर रहा था।
मेहराज को एनआइए ट्रांजिट रिमांड पर दिल्ली ले गई थी
जांच में पता चला है कि यह संगठन आतंकी गतिविधियों को वित्तपोषित कर रहा था और मानवाधिकारों की सुरक्षा की आड़ में घाटी में अलगाववादी एजेंडे का प्रचार भी कर रहा था। इस मामले में कश्मीर के कुछ गैर सरकारी संगठनों, ट्रस्टों और सोसाइटी की आतंकवाद से संबंधित गतिविधियों के वित्तपोषण में संलिप्तता की भी जांच की जा रही है। आरोपित मेहराज को एनआइए ट्रांजिट रिमांड पर दिल्ली ले गई थी। वहां अदालत के प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश धर्मेश शर्मा ने मेहराज को 10 दिनों के लिए एनआईए को सौंप दिया।
राष्ट्रीय जांच एजेंसी ने खुर्रम परवेज को नवंबर 2021 में हिरासत में लिया
एजेंसी ने कहा कि कुछ पंजीकृत व गैर पंजीकृत एनजीओ, सार्वजनिक स्वास्थ्य और शिक्षा सहित दान और विभिन्न कल्याणकारी गतिविधियों की आड़ में टेरर फंडिंग के लिए देश-विदेश में धन एकत्र कर रहे हैं। इनमें से कुछ संगठनों के संबंध लश्कर-ए-तैयबा, और हिजबुल मुजाहिदीन जैसे आतंकी संगठनों से हैं। बता दें कि राष्ट्रीय जांच एजेंसी ने खुर्रम परवेज को नवंबर 2021 में हिरासत में लिया था और 13 मई, 2022 को छह अन्य आरोपितों के साथ कथित देश विरोधी गतिविधियों के लिए उनके खिलाफ चार्जशीट पेश की गई थी।
इन पर महत्वपूर्ण प्रतिष्ठानों और सुरक्षाबलों की तैनाती और आवाजाही के बारे में जानकारी एकत्र करने, आधिकारिक गुप्त दस्तावेजों की खरीद और उन्हें लश्कर-ए-तैयबा के हैंडलर को पैसे के लिए संचार माध्यम से उपलब्ध करवाने के आरोप हैं।