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Jammu Farmers: किसानों ने रखी मांग- प्रशासन ही दे आग से बर्बाद हुई फसलों का मुआवजा

पिछले साल उनकी कई कनाल क्षेत्र में लगी गेहूं की फसल आग से बर्बाद हुई थी। लेकिन किसी ने कोई राहत नही दी। उसने कहा कि किसान पूरे सीजन दिन रात खेतों में मेहनत कर अनाज उगाता है और राष्ट्रीय उत्पादन में बढ़ोतरी करता है।

By Rahul SharmaEdited By: Published: Thu, 29 Apr 2021 12:41 PM (IST)Updated: Thu, 29 Apr 2021 12:41 PM (IST)
Jammu Farmers: किसानों ने रखी मांग- प्रशासन ही दे आग से बर्बाद हुई फसलों का मुआवजा
सरकार को देखना होगा कि आखिर किसानों की फसल को कैसे सुरक्षित किया जाए।

जम्मू, जागरण संवाददाता: आग लगने से फसलों के नुकसान को लेकर चिंता में आए किसानों ने कहा कि प्रभावित किसानों को राहत देना प्रशासन का काम है। किसान पूरे सीजन मेहनत करता है और बाद में एकदम से नुकसान हो जाने पर मुआवजा कौन देगा। मंडाल में किसानों की बैठक में पूरे मामलें पर मंथन किया गया। वहीं कुछ किसानों से आन आन लाइन बात कर पूरे मामले पर रोशनी डाली गई।

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जम्मू कश्मीर किसान सलाहकार बोर्ड के सदस्य कुलभूषण खजूरिया ने कहा कि अगर गेहूं की फसल आग से बर्बाद होती है तो बीमा कंपनियां अपना पल्ला झाड़ लेती है, वहीं प्रशासन भी इस ओर गौर नही करता। ऐसे में किसान बेचारा कहां जाएगा। किसानों के बारे में भी सोचा जाए। उन्होंने प्रशासन से कहा कि जिस किसान की फसल आग लग जाने से बर्बाद होती है, उसको कुछ तो मुआवजा देना प्रशासन का फर्ज बनता है।

नंदपुर के किसान विजय चौधरी ने कहा कि पिछले साल उनकी कई कनाल क्षेत्र में लगी गेहूं की फसल आग से बर्बाद हुई थी। लेकिन किसी ने कोई राहत नही दी। उसने कहा कि किसान पूरे सीजन दिन रात खेतों में मेहनत कर अनाज उगाता है और राष्ट्रीय उत्पादन में बढ़ोतरी करता है। किसान का काम मेहनत करना है और उसके माल की हिफाजत करना प्रशासन का काम है।

बहरहाल, किसानों ने एक प्रस्ताव पारित किया है कि आग लगने से फसल को होने वाले नुकसान का मुआवजा प्रशासन ही दे। किसान देस राज ने कहा कि बिजली की लटकती तारें जब आपस में टकराती हैं तो फसल में आग पनपती है। इसमें किसान कहां से दोषी है। सरकार को देखना होगा कि आखिर किसानों की फसल को कैसे सुरक्षित किया जाए। बहरहाल जिन-जिन किसानों की फसल आग से जली है, को राहत देने के लिए उप राज्यपाल कोई कदम उठाए। 


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