जम्मू संभाग के समर जोन में 10वीं-12वीं कक्षा की परीक्षाएं आफलाइन ही होंगी, मार्च में हो सकती है परीक्षाएं
कोरोना से हालात सामान्य होने पर ही बोर्ड 10वीं व 12वीं कक्षा की परीक्षाओं के लिए डेटशीट जारी करेगा अलबत्ता बोर्ड ने परीक्षाओं के लिए अपनी तरफ से तैयारी शुरू कर दी हुई है। इस बार 11वीं कक्षा की परीक्षा भी आफलाइन करवाने की तैयारी है।
जम्मू, राज्य ब्यूरो। जम्मू कश्मीर बोर्ड आफ स्कूल एजूकेशन की जम्मू संभाग के समर जोन की 10वीं व 12वीं कक्षा की परीक्षाएं आफलाइन ही होगी। जिस तरह से पिछले साल नवंबर दिसंबर माह में कश्मीर संभाग व जम्मू संभाग के विंटर जोन की 10वीं व 12वीं कक्षा की परीक्षाएं आफलाइन करवाई गई हैं, उसी तर्ज पर जम्मू संभाग के समर जोन में भी परीक्षाएं करवाने जाने की तैयारी शुरू हो गई है।
बोर्ड इस समय कोरोना से उपजे हालात पर नजर रखे हुए है। कोरोना से हालात सामान्य होने पर ही बोर्ड 10वीं व 12वीं कक्षा की परीक्षाओं के लिए डेटशीट जारी करेगा अलबत्ता बोर्ड ने परीक्षाओं के लिए अपनी तरफ से तैयारी शुरू कर दी हुई है। इस बार 11वीं कक्षा की परीक्षा भी आफलाइन करवाने की तैयारी है।
बोर्ड की चेयरपर्सन प्रो. वीना पंडिता ने कहा कि हम कोरोना की तीसरी लहर से उपजे हालात पर नजर रखे हुए हैं। अब यह लहर चरम पर पहुंच रही है जिसके मार्च में कम होने की संभावना है। बोर्ड फरवरी माह में आपदा प्रबंधन की कार्यकारी समिति में परीक्षाएं करवाने को लेकर प्रस्ताव भेजेगा जिस पर चर्चा होगी। सरकार से अनुमति मिलने के बाद बोर्ड डेटशीट जारी रखेगा। इस दौरान कोरोना की रोकथाम के लिए जारी दिशा निर्देशों का पूरा ध्यान रखा जाएगा।
उन्होंने कहा कि मार्च के अंत में 10वीं व 12वीं की परीक्षाएं शुरू की जा सकती है। दोनों परीक्षाएं साथ-साथ करवाई जाएगी। हमने विद्यार्थियों को पाठ्यक्रम में पहले ही राहत प्रदान की हुई है। पाठ्यक्रम में 30 प्रतिशत की कटौती की जा चुकी है। उसकी जानकारी का आदेश पहले ही निकाला जा चुका है ताकि विद्यार्थियों को किसी किस्म की परेशानी का सामना न करना पड़े। बोर्ड फरवरी माह में कश्मीर संभाग व जम्मू संभाग के विंटर जोन का परिणाम घोषित कर देगा। 10वीं व 12वीं कक्षा के बाद 11वीं कक्षा की परीक्षा करवाने जाने का प्रस्ताव है। बताते चले कि बोर्ड ने कश्मीर संभाग में पिछले साल कोरोना की चुनौतियों के बीच 10वीं व 12वीं कक्षा की परीक्षाएं आफलाइन तरीके से करवाई थी। अधिक परीक्षा केंद्र बनाए गए थे ताकि शारीरिक दूरी का पालन व अन्य नियम सुनिश्चित बनाए जा सकें।