प्रतिबंध के बावजूद जम्मू शहर में बिक रही 'मौत की डोर', जानें किस तरह चल रहा यह ऑनलाइन गोरखधंधा
जम्मू में चाइनीज डोर (गट्टू) की बिक्री पर प्रतिबंध के बावजूद यह ऑनलाइन चोरी-छिपे बिक रही है। शॉपिंग वेबसाइट्स और एप्स पर यह आसानी से उपलब्ध है। पुलिस और प्रशासन गट्टू डोर के खिलाफ अभियान चला रहे हैं लेकिन लोग तकनीक का सहारा लेकर इसे खरीद रहे हैं। रक्षा बंधन और जन्माष्टमी पर पतंगबाजी के दौरान इससे कई लोग घायल होते हैं।

जागरण संवाददाता, जम्मू। जिला प्रशासन द्वारा चाइनीज डोर (गट्टू) की बिक्री और इस्तेमाल पर पूर्ण प्रतिबंध लगाए जाने के बावजूद यह जानलेवा डोर धड़ल्ले से बिक रही है। फर्क सिर्फ इतना है कि अब यह खुले बाजार में दुकानों पर नजर नहीं आती, बल्कि इंटरनेट मीडिया के जरिए चोरी-छिपे बेची जा रही है। शापिंग वेबसाइट्स और मोबाइल एप्स पर अलग अनग नामों से यह डोर आसानी से उपलब्ध हो रही है, जिसे लोग बेहिचक खरीद भी रहे हैं।
प्रशासन की सख्ती के बावजूद यह ट्रेंड लगातार बढ़ रहा है और यह स्थिति जम्मू पुलिस के लिए एक बड़ी चुनौती बन चुकी है। जहां एक ओर पुलिस व प्रशासन गट्टू डोर के खिलाफ अभियान चला रहा है, वहीं, दूसरी ओर तकनीक का सहारा लेकर लोग इस डोर को खरीदने में लगे हुए हैं।
कई मामलों में पाया गया है कि दुकानदार भी अब दुकान में स्टाक रखने की बजाय ग्राहकों को मोबाइल पर आर्डर करने की सलाह देते हैं। इसके लिए क्यूआर कोड, पेमेंट लिंक और प्राइवेट चैट का इस्तेमाल किया जा रहा है।
यह भी पढ़ें- Jammu Kashmir: पांच अगस्त को काला दिवस मनाएगी कांग्रेस, राज्य का दर्जा दिलाने के लिए आंदोलन का नया शेड्यूल जारी
गुप्त स्रोतों से जम्मू पुलिस को इस बात की खबर मिली है कि शहर में कई स्थानों पर अभी भी गट्टू डोर की आपूर्ति हो रही है। पुलिस ने बीते दिनों कुछ स्थानों पर छापेमारी भी की, लेकिन ठोस परिणाम सामने नहीं आ सके। दरअसल, आनलाइन माध्यम से मंगवाई गई गट्टू डोर को सीधे ग्राहक के घर तक डिलीवर कर दिया जाता है, जिससे किसी दुकान या स्टोर पर पकड़ने का मौका पुलिस को नहीं मिल पाता।
रक्षा बंधन और जन्माष्टमी पर पतंगबाजी के दौरान कई लोग होते है घायल
जम्मू शहर की बात करे तो गट्टू डोर से हर साल रक्षा बंधन और जन्माष्टमी के आसपास कई मासूमों की जान जा चुकी है। इस डोर से राहगीरों, खासकर दोपहिया वाहन चालकों को सबसे अधिक खतरा होता है। कई बार गर्दन कटने की घटनाएं सामने आई हैं। इसके अलावा, पक्षियों के लिए भी यह डोर जानलेवा साबित हो चुकी है। बीते शनिवार को जम्मू के मुट्ठी फ्लाई ओवर पर पत्नी संग जा रहे स्कूटी सवार का गट्टू डोर से गला कट गया था। जिससे उसकी मौके पर ही मौत हो गई थी।
साइबर सेल को सतर्क किया गया
एसएसपी जम्मू जोगिंदर सिंह ने बताया कि जम्मू पुलिस ने आनलाइन बिक्री पर निगरानी रखने के लिए साइबर सेल को सतर्क किया गया है। सोशल मीडिया प्लेटफार्म्स और शापिंग साइट्स की मानिटरिंग की जा रही है, ताकि इस अवैध व्यापार पर लगाम लगाई जा सके। साथ ही लोगों से भी अपील की गई है कि वे इस प्रकार की डोर न खरीदें और यदि कहीं इसकी बिक्री होते देखें तो तुरंत पुलिस को सूचित करें। पुलिस अधिकारियों को यह भी स्पष्ट किया गया है कि गट्टू डोर की बिक्री या उपयोग करते पाए जाने पर दोषियों के खिलाफ सख्त कानूनी कार्रवाई की जाए।
यह भी पढ़ें- Jammu Kashmir: नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने पुंछ जिले के 22 बच्चों को लिया गोद, जानें क्या है वजह
जम्मू पुलिस की एडवाजी : सावधानी ही सुरक्षा है
कैसे बचें जानलेवा गट्टू डोर से
- दोपहिया वाहन चालक ध्यान दें: हमेशा हेलमेट पहनें, साथ ही गले को ढकने के लिए स्कार्फ या मफलर का इस्तेमाल करें।
- नेकटाइट हेलमेट का प्रयोग ज्यादा सुरक्षित होता है।
- अभिभावकों के लिए सलाह:
- बच्चों को चाइनीज डोर से बनी पतंग उड़ाने से रोकें।
- उन्हें सामान्य सूती या नायलान डोर के इस्तेमाल के लिए प्रेरित करें।
- पतंगबाजों से अपील :
- गट्टू डोर का उपयोग न करें, यह गैरकानूनी है।
- इसका इस्तेमाल करते पकड़े जाने पर कानूनी कार्रवाई का सामना करना पड़ सकता है।
- सड़क पर चलने वाले लोगों के लिए:
- चलते समय सतर्क रहें, खासकर रक्षा बंधन और जन्माष्टमी जैसे त्यौहारों के दौरान।
- फ्लाई ओवर, पुल और खुली सड़कों पर विशेष सावधानी बरतें।
यह भी पढ़ें- श्रीनगर पीसीआर पहुंची एनआईए की टीम, शुरू की पहलगाम हमले के मास्टरमाइंड के मुठभेड़ में मारे जाने की जांच
कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों
कृपया धैर्य रखें।