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Jammu: कवि गोष्ठी में कवियों ने अपनी रचनाओं से कही मन की बात

अपने अध्यक्षीय भाषण में डा. आदर्श ने कहा कि हिंदी साहित्य मंडल जम्मू कई दशकों से क्षेत्र में हिंदी के क्षेत्र में साहित्यिक गतिविधियों के आयोजन में योगदान दे रहा है।उन्होंने कहा कि कोविड काल के बाद इस तरह के कार्यक्रम की जरूरत थी।

By Vikas AbrolEdited By: Published: Tue, 05 Jul 2022 08:45 PM (IST)Updated: Tue, 05 Jul 2022 08:45 PM (IST)
Jammu: कवि गोष्ठी में कवियों ने अपनी रचनाओं से कही मन की बात
कार्यक्रम में कई बुद्धिजीवियों, साहित्यकारों, विभिन्न भाषाओं के जाने-माने कवियों और कला, संस्कृति प्रेमियों ने भाग लिया।

जागरण संवाददाता, जम्मू : आजादी का अमृत महोत्सव श्रृंखला के तहत हिंदी साहित्य मंडल, एचएसएम जम्मू की ओर से एसपीएमआर कालेज ऑफ कामर्स जम्मू में आयोजित हिन्दी कवि गोष्ठी में कवियों ने अपने मन की बात अपनी रचनाओं के माध्यम से कही।

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इस अवसर पर वरिष्ठ कश्मीरी लेखक रतन लाल शांत मुख्य अतिथि थे जबकि वरिष्ठ लेखक डा. आदर्श ने कार्यक्रम की अध्यक्षता की।डा. चंचल डोगरा, अध्यक्ष एचएसएम-जम्मू ने मंच साझा किया। कार्यक्रम में कई बुद्धिजीवियों, साहित्यकारों, विभिन्न भाषाओं के जाने-माने कवियों और कला, संस्कृति प्रेमियों ने भाग लिया।

कार्यक्रम की शुरुआत डा. चंचल डोगरा, अध्यक्ष एचएसएम के स्वागत भाषण से हुई। अपने संबोधन में उन्होंने संगठन और दिन की कार्यवाही की शुरूआत के बारे में एक संक्षिप्त नोट दिया। उन्होंने इस क्षेत्र में साहित्यिक प्रथाओं के साथ नई पीढ़ी को जोड़ने की आवश्यकता पर जोर दिया।

युवा और वरिष्ठ कवियों कल्पना खजूरिया, डिंपल वर्मा, सोफिया जिंद्राल, सुनील कुमार, सौरभ श्रीवास्तव, पुरुषोत्तम कुमार, गिरिजा शर्मा, मोहन वैद, मनजीत सिंह कामरा, जंग एस वर्मन, गोपाल, मोंटो दत्ता शर्मा, शमेंद्र कुमार, महाराज कृष्ण संतोषी, संजीव भसीन, श्याम जुडेजा, डा. बलजीत सिंह रैना, डा. निर्मल विनोद, सुभाष शर्मा, संजीव भसीन, उमा शर्मा, डा. चंचल डोगरा, रतन लाल शांत, डा. निर्मल विनोद और डा. आदर्श ने विभिन्न विधाओं में अपनी-अपनी कविताएं समकालीन, सामाजिक, धार्मिक और राजनीतिक मुद्दों पर अपनी कवितांए प्रस्तुत की।

अपने अध्यक्षीय भाषण में डा. आदर्श ने कहा कि हिंदी साहित्य मंडल, जम्मू कई दशकों से क्षेत्र में हिंदी के क्षेत्र में साहित्यिक गतिविधियों के आयोजन में योगदान दे रहा है।उन्होंने कहा कि कोविड काल के बाद इस तरह के कार्यक्रम की जरूरत थी। उन्होंने कहा कि नए लेखकों को वरिष्ठ कवियों की रचनाओं के पठन से कविता की तकनीक सीखने का प्रयास करना चाहिए।

कार्यक्रम का संचालन संजीव भसीन, उपाध्यक्ष एचएसएम जम्मू ने किया। कार्यक्रम का संचालन महासचिव राकेश अबरोल व साहित्य सचिव उमा शर्मा ने किया। जंग एस वर्मन, प्रेस सचिव एचएसएम- जम्मू ने धन्यवाद ज्ञापित किया।


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