Jammu Kashmir Domicile: डोमिसाइल पर बात करने के लिए पीएम मोदी, शाह से मिलेंगे बुखारी
बुखारी ने इस पर विरोध जताते हुए कहा है कि डोमिसाइल में जम्मू-कश्मीर के लोगों का न तो नौकरियों और न ही जमीन में अधिकारों को संरक्षित रखा गया है।
श्रीनगर, जेएनएन। केंद्र शासित जम्मू-कश्मीर में लागू किए गए डोमिसाइल पर विपक्षी राजनीतिक दल लामबंद होने लगा है। जहां जम्मू-कश्मीर में इसके खिलाफ विरोध शुरू हो गया है वहीं केंद्र सरकार तक लोगों की बात पहुंचाने के लिए अपनी पार्टी के अध्यक्ष अल्ताफ बुखारी अगले कुछ दिनों में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृहमंत्री अमित माह से मुलाकात करेंगे।
दूसरे राजनीतिक दलों की तरह बुखारी भी डोमिसाइल में रखे गए कानून से खुश नहीं हैं। उन्होंने भी इस पर विरोध जताते हुए कहा है कि डोमिसाइल में जम्मू-कश्मीर के लोगों का न तो नौकरियों और न ही जमीन में अधिकारों को संरक्षित रखा गया है। उनका यह भी कहना है कि यह लोगों की आकांक्षाओं के अनुरूप नहीं है। इन मुद्दों पर बात करने के लिए ही वह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृहमंत्री अमित शाह के पाए जाएंगे।
जम्मू कश्मीर में डोमिसाइल लागू करने से प्रदेश भाजपा को छोड़ अन्य सभी पार्टियां नाराज हैं। आने वाले समय में सभी दल इसके लिए लामबंद हो सकते हैं। कश्मीर केंद्रित राजनीतिक दलों के साथ जम्मू की नेशनल पैंथर्स पार्टी ने भी केंद्र व भाजपा के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। हालात ठीक होते ही दल सड़कों पर आ सकते हैं।
पैंथर्स पार्टी चेयरमैन हर्ष देव सिंह ने गत वीरवार को इसके विरोध में पार्टी मुख्यालय के बाहर मुख्य सड़क पर धरना देकर डोमिसाइल को प्रदेश के बेरोजगार युवाओं के साथ बड़ा धोखा करार दिया। उनका धरना सुबह 11 बजे शुरू होकर दोपहर एक बजे के करीब समाप्त हुआ। सिंह ने कहा कि भाजपा सरकार ने चतुर्थ श्रेणी कर्मियों को छोड़ बाकी सभी नौकरियां अन्य राज्यों के युवाओं के लिए खोलकर प्रदेश के बेरोजगार युवाओं के हितों को दांव पर लगा दिया है। अगर यही फैसला करना था तो इसके लिए आठ महीने इंतजार क्यों किया।
वहीं पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने भी सोशल साइट पर डोमिसाइल के खिलाफ बयानबाजी तेज कर दी है। इसके अलावा हिरासत में पीडीपी प्रधान महबूबा मुफ्ती भी इस कानून के खिलाफ सुलग रही हैं।