Jammu Kashmir: अमित शाह बोले- आंख खोल सरकार के विकास पर मत बनाएं, तीन परिवारों के चंगुल में न फंसे नई पीढ़ी
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने 370 को खत्म कर इसके खिलाफ बलिदान देने वाले श्यामा प्रसाद मुखर्जी व आंदोलन चलाने वाले पंडित प्रेमनाथ डोगरा के आंदोलन को अंजाम तक पहुंचा दिया। अगर ये दोनों न होेते तो जम्मू कश्मीर से देश का जुड़ाव कभी स्थायी न होता।
जम्मू, राज्य ब्यूरो। जम्मू कश्मीर में विधानसभा चुनाव की तैयारियों के बीच गृहमंत्री अमित शाह ने कहा है कि लोग खुली आंख से सरकार के विकास पर अपना मत बनाएं ताकि आने वाली पीढ़ियां तीन परिवारों के चंगुल में न फंसे।
मंगलवार शाम को जम्मू में 2200 करोड़ रूपये के विकास प्रोजेक्टों के ई-उद्घाटन व नींव पत्थर रखने के बाद गृहमंत्री ने कहा कि मोदी सरकार ने तीन सालों में जम्मू कश्मीर की कायाकल्प कर दी है। ऐसे में प्रदेश के निवासी अब आंखे व कान खोलकर योग्य निर्णय करें। अब्दुल्ला, मुफ्ती व गांधी परिवारों का नाम लिए बिना शाह ने कहा कि इन परिवारों ने जम्मू कश्मीर में में आतंक, अलगाववाद व भ्रष्टाचार को शह देने के सिवा कुछ नही किया। प्रदेश के निवासियों को अब उनसे हिसाब मांगना चाहिए कि उन्होंने सत्तर सालों के दौरान लोगों की बेहतरी के लिए क्या किया।
शाह ने अस्सी हजार करोड़ के प्रधानमंत्री पैकेज के साथ 4387 करोड़ के बिजली प्रोजेक्टों व विकास के अन्य बड़े पैकेजों का हवाला देते हुए अमित शाह ने कहा कि कहा कि जम्मू कश्मीर में इतना विकास किसी ने नहीं किया। शाह ने कहा कि दो साल में 56 हजार करोड़ का निवेश आना, यह बहुत बड़ी उपलब्धि है। हम बातें नही करते हैं, हम आतंक, भ्रष्टाचार को खत्म कर विकास से जम्मू कश्मीर को नंबर एक प्रदेश बनाना चाहते हैं। यह हमारा संकल्प है। हमने पत्थर उठाने वाले कश्मीर के युवाओं के हाथ में रोजगार व कंप्यूटर पकड़ाकर बदलाव लाया है। जम्मू के कन्वेंशन सेंटर में हुए इस कार्यक्रम में गृहमंत्री के साथ प्रधानमंत्री कार्यालय के राज्यमंत्री डा जितेन्द्र सिंह, जम्मू कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा, सांसद जुगल किशोर शर्मा, केंद्रीय गृह सचिच अजय भल्ला व मुख्यसचिव डा अरुण कुमार मेहता भी माैजूद थे।
गृहमंत्री अमित शाह ने कहा कि 370 की आड़ में जम्मू कश्मीर में एंटी क्रप्शन ब्यूरो न बनाकर भ्रष्टाचार को खुली छूट दी गई। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने 370 को खत्म कर इसके खिलाफ बलिदान देने वाले श्यामा प्रसाद मुखर्जी व आंदोलन चलाने वाले पंडित प्रेमनाथ डोगरा के आंदोलन को अंजाम तक पहुंचा दिया। अगर ये दोनों न होेते तो जम्मू कश्मीर से देश का जुड़ाव कभी स्थायी न होता। महाराजा हरि सिंह के जन्मदिन पर छुट्टी देने के लिए उपराज्यपाल मनोज सिन्हा का बधाई देते हुए शाह ने कहा कि महाराजा के कारण ही जम्मू कश्मीर देश का अभिन्न अंग बना।
श्री @narendramodi जी के नेतृत्व में आज जम्मू-कश्मीर हर क्षेत्र में आगे बढ़ रहा है।
आज जम्मू में ₹1960 करोड़ की 263 विकास परियोजनाओं का उद्घाटन व शिलान्यास किया। इससे जम्मू-कश्मीर की जनता के सामाजिक व आर्थिक विकास को और अधिक बल मिलेगा। pic.twitter.com/vyrFKkYhcx— Amit Shah (@AmitShah) October 4, 2022
मोदी सरकार ने जम्मू कश्मीर को विकास के क्षेत्र में आगे लाया
जम्मू कश्मीर के तेज विकास को मोदी सरकार की प्राथमिकता करार देते हुए उन्होंने कहा कि तीन परिवारों ने जम्मू कश्मीर को विकास में देश के अन्य हिस्सों के मुकाबले हजारों किलोमीटर पीछे कर दिया था। मोदी सरकार ने जम्मू कश्मीर को विकास के क्षेत्र में आगे लाया। पिछली सरकारों पर जम्मू कश्मीर में आतंक को शह देने के साथ पडौसी देश का महिमा मंडन करने का आरोप लगाते हुए उन्होंने कहा कि प्रदेश में जब रोज चार-पांच लोग मरना आम बात थी। आतंकवाद के कारण प्रदेश में 42 हजार लोग मर गए व दिल्ली के कान पर जूं तक नही रेंगी। आज धरने, प्रदर्शन करवाने पर चले गए हैं, अब रोकने वाले बैठें हैं। पथराव बंद है, न जलूस निकलते हैं न कर्फ्यू लगता है। इस परिवर्तन को समझना पड़ेगा। नही तो कुछ नही होगा। वही हुर्रियत है लेकिन न पथराव , न जुलूस हैं। कठोरता के साथ से सब कुछ खत्म किया गया। आतंक पर जीरो टालरेंस की नीति है। आतंकियों को कठोरता से खत्म किया है। उनके समर्थकों को चुन कर पकड़ा जा रहा है। प्रशासन में बैठे उनके समर्थकों को भी चिन्हित किया जा रहा है। पुलिस को आतंक के खिलाफ कार्रवाई करने की खुली छूट है। पहले सरेंडर करने का मौका देते हैं, जब सामने से गोली आती तो इसका जवाब दिया जाता।
आतंकी घटनाओं में 54 प्रतिशत कमी आई है
गृहमंत्री ने कहा कि जम्मू कश्मीर में आतंकी घटनाओं में 54 प्रतिशत कमी आई है। सुरक्षा बलों के बलिदान होने के मामले भी 84 प्रतिशत कम हो गए हैं। इसके साथ आतंकियों की भर्ती में 22 प्रतिशत की कमी आई है। शाह ने विपक्षी नेताओं को आड़े हाथ लेते हुए कहा कि ये आंकड़े उनके लिए हैं जो हमसे हिसाब मांगते हैं, और फिर गर्मियां बिताने लंदन, फ्रांस, स्विटरजरलैंड चले जाते हैं। हमारा काेई और घर नहीं है।शाह ने कहा कि जम्मू कश्मीर तेजी से विकास की राह पर अग्रसर है। इस बार 50 लाख यात्री सिर्फ जम्मू में आएं हैं। घाटी में छह लाख की जगह 22 लाख पर्यटन आने से पर्यटन पर आश्रित लोग उत्साहित हैं। यह बेहतर बदलाव है।