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क्रास एलओसी ट्रेड में शामिल व्यापारियों की पृृष्ठभूमि की होगी जांच

भारत-पाकिस्तान के बीच एक समझौते के बाद जम्मू कश्मीर और गुलाम कश्मीर के बीच आर्थिक सहयोग बढ़ाने के लिए अक्तूबर 2008 में यह व्यापार शुरु किया गया था।

By Preeti jhaEdited By: Published: Wed, 18 Jul 2018 01:59 PM (IST)Updated: Wed, 18 Jul 2018 03:23 PM (IST)
क्रास एलओसी ट्रेड में शामिल व्यापारियों की पृृष्ठभूमि की होगी जांच
क्रास एलओसी ट्रेड में शामिल व्यापारियों की पृृष्ठभूमि की होगी जांच

श्रीनगर, राज्य ब्यूरो। राज्यपाल एनएन वोहरा ने बुधवार को राज्य पुलिस महानिदेशक काे क्रास एलओसी ट्रेड में शामिल सभी व्यापारियों की एक माह के भीतर जांच करने और आवश्यक दस्तावेज जमा न करने व संदिग्ध चरित्र अथवा गतिविधियों वाले सभी व्यापारियों का पंजीकरण रदद करने का निर्देश दिया है।

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उन्होंने दोनोें व्यापारिक केंद्रों पर 60दिनों में सीसीटीवी स्थापित करने और ट्रकों की आवाजाही के लिए रोस्टर व्यवस्था को पूरी तरह बहाल करने का भी आदेश दिया।

राज्यपाल ने उपरोक्त निर्देश आज यहां एक उच्चस्तरीय बैठक में जम्मू कश्मीर व गुलाम कश्मीर के बीच जारी डयूटी फ्री क्रास एलओसी व्यापार से संबधित मुददों पर विचार विमर्श के दौरान दिए। उन्होंने ट्रकों की आवाजाही और आयात-निर्यात में शामिल व्यापारियों का मासिक रोस्टर व्यवस्था ऑनलाईन करने और प्रत्येक माह की पहली तारीख को उसे सार्वजिनक करने के लिए कहा।

उन्होंने मुख्य सचिव को निर्देश दिया कि कोई भी व्यापारी अपनी बारी अथवा क्रम पर किसी दूसरे व्यापारी को आयात-निर्यात का मौका न दे। इसके साथ ही उन्होंने उद्योग विभाग के प्रधान सचिव को निर्देश दिया कि किसी भी पंजीकृृत व्यापारी का कोई संबंधी, मित्र या परिवार का सदस्य इस व्यापार में गैरकानूनी तरीके से लिप्त नहीं होना चाहिए।

राज्यपाल एनएन वोहरा ने प्रधान सचिव उद्योग एवं वाणिज्य विभाग को इस व्यापार के रिकार्ड को कंप्यूटरीकृत करने और व्यापार में शामिल दोनों तरफ के व्यापारियों के खातों का हर तीन महीने बाद जांच व मिलान करने को यकीनी बनाने के लिए उचित कदम उठाएं। उन्होंने सभी व्यापारिक ट्रकों की एक स्थान पर स्क्रीनिंग की व्यवस्था के साथ साथ नशीले और प्रतिबंधित पदार्थाें की तस्करी रोकने और वास्तविक दामों से कहीं कम दामों पर सामान के मूल्यांकन की संभावनाको भ रोकने की व्यवस्था भी करने को कहा।

इससे पूर्व बैठक में उद्योग एवं वाणिज्य विभाग के प्रमुख सचिव ने क्रास एलओसी व्यापार की प्रक्रिया, इनमें आयात-निर्यात के लिए अनुमोदित वस्तुओं की सूची, व्यापार की कीमत, व्यापारिक केंद्रों पर फुल बॉडी ट्रक स्कैनर स्थापित करने की समयावधि, आयात-निर्यात के सामान के मूल्यांकन की व्यवस्था और इसमें राज्य व केंद्र सरकार की विभिन्न एजेंसियों की भूमिका पर एक प्रस्तुती भी दी।

बैठक में राज्यपाल के सलाहकार बीबी व्यास और के विजय कुमार के अलावा मुख्यसचिव बीवीआर सुब्रहमणयम,राज्य पुलिस महानिदेशक एसपी वैद, राज्यपाल के प्रमुख सचिव उमंग नरुला, प्रमुख सचिव गृह विभाग आरके गोयल, उद्योग एवं वाणिज्य विभाग के प्रमुख सचिव शैलेंद्र कुमार, एडीजीपी सीआईडी एजी मीर व अन्य संबधित अधिकारियों ने भाग लिया।

क्या है क्रास एलओसी ट्रेड

भारत-पाकिस्तान के बीच एक समझौते के बाद जम्मू कश्मीर और गुलाम कश्मीर के बीच आर्थिक सहयोग बढ़ाने के लिए अक्तूबर 2008 में यह व्यापार शुरु किया गया था। इस व्यापार में सिर्फ जम्मू कश्मीर और गुलाम कश्मीर के व्यापारी अनुमोदित 21 वस्तुओं का ही आयात-निर्यात कर सकते हैं।

कर मुक्त यह व्यापार पूरी तरह बार्टर है। इसमें नकद लेन-देन के बजाय सामान के बदल सामान का लेन-देन होता है। क्रास एलओसी व्यापार के तहत सप्ताह में चार दिन ही व्यापारिक ट्रकों का आदान-प्रदान होता है। जम्मू संभाग में चक्कां दा बाग से गुलाम कश्मीर के रावलाकोट और कश्मीर संभाग में उड़ी से गुलाम कश्मीर के चकोटी मुजफराबाद के बीच ट्रकों की आवाजाही होती है।  


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