Dharmarth Trust Jammu Kashmir: 143 दिन से जारी धर्मार्थ ट्रस्ट कर्मचारियों का आंदोलन आज हो सकता है समाप्त
Dharmarth Trust Jammu Kashmir आंदोलन कर रहे ट्रस्ट कर्मचारियों ने बताया कि पिछले दिनों हुई बैठकों के परिणाम सार्थक दिख रहे हैं। धर्मार्थ ट्रस्ट के हाथ में जो मांगें मानना संभव था उन पर सहमति बन चुकी है।
जम्मू, जागरण संवाददाता: 143 दिन से जारी धर्मार्थ ट्रस्ट के कर्मचारियों का आंदोलन आज वीरवार को समाप्त हो सकता है। ट्रस्ट के प्रबंधन और कर्मचारियों में बना गतिरोध समाप्त होने की राह पर अग्रसर है । आज रामनवमी पर दोनों आंदोलनकारी कर्मियों के प्रतिनिधि और ट्रस्ट के वरिष्ठ अधिकारी ऐतिहासिक श्री रघुनाथ मंदिर में साथ पूजा में शामिल हुए। दोनों पक्ष समझौते पर लगभग राजी हो चुके हैं, पेंच धर्मार्थ ट्रस्ट के श्री माता वैष्णो देवी श्राइन बोर्ड में विलय या एक अन्य स्वतंत्र बोर्ड बनाने के मुद्दे पर फंसा हुआ है।
आपको बता दें कि धर्मार्थ ट्रस्ट जम्मू-कश्मीर के अधीन प्रदेश के लगभग 125 ऐतिहासिक व पौराणिक मंदिर हैं। पूर्व केंद्रीय मंत्री डा कर्ण सिंह इसके अध्यक्ष ट्रस्टी हैं। धर्मार्थ ट्रस्ट के अधीनस्थ मंदिरों के पुजारी, सेवादार व अन्य कर्मी बीते 143 दिनों से आंदाेलनरत हैं। आंदोलन कर रहे कर्मचारियों ने बताया कि पिछले दिनों हुई बैठकों के परिणाम सार्थक दिख रहे हैं। धर्मार्थ ट्रस्ट के हाथ में जो मांगें मानना संभव था, उन पर सहमति बन चुकी है। अब कोरोना महामारी के बीच आंदोलन को आगे खींचना उचित नहीं है।
अगर धर्मार्थ ट्रस्ट का रवैया ठीक रहा तो आंदोलन समाप्त कर दिया जाएगा। धर्मार्थ ट्रस्ट कर्मचारियों की अध्यक्ष विवेक बंद्राल ने कहा कि ट्रस्ट के अधिकारियों के साथ आज हमारी बातचीत हुई है। दोनों पक्षों के बीच कई मुद्दों पर सहमति बन गई है। कुछेक मुद्दों पर गतिरोध बना हुआ है। उम्मीद है कि यह वीरवार को होने वाली बैठक में हल होगा और दोनो पक्षों के बीच सहमति पत्र पर हस्ताक्षर हो सकते हैं।
वहीं कार्यकारी अध्यक्ष राजेंद्र शास्त्री ने कहा कि धर्मार्थ ट्रस्ट का रवैया काफी सकारात्मक है। उस पर से कोरोना भी विकराल रूप धारण करता दिख रहा है। इसे देखते हुए आंदोलन स्थगित हो सकता है।
ये रहीं हैं प्रमुख मांगें
- धर्मार्थ ट्रस्ट को श्री वैष्णो माता श्राइन बोर्ड में विलय या अलग बोर्ड का गठन किया जाए
- जिन कर्मचारियों को बर्खास्त किया गया है, उन्हें बहाल किया जाए।
- कर्मचारियों का बकाया वेतन एकमुश्त दिया जाए।
- कर्मचारियों को ईएसआइ का लाभ मिले।
- समय-समय पर कर्मचारियों का वेतन बढ़ता रहे।
- कोरोना काल में किसी भी कर्मचारी का वेतन न काटा जाए।
कर्मचारियों से बातचीत ठीक ट्रैक पर चल रही है। वीरवार को होने वाली बैठक में कर्मचारी अपना आंदोलन समाप्त करने की घोषणा कर सकते हैं। बुधवार को रामनवमी के मौके सभी ने एक साथ पूजा-अर्चना की है। कर्मचारियों की जायजा मांगों को धर्मार्थ ट्रस्ट पहले ही मान लेने का आश्वासन दे चुका है। - डा. गोपाल पार्थसारथी, सचिव, जम्मू-कश्मीर धर्मार्थ ट्रस्ट