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स्वां नदी के किनारे उद्योग लगाने पर पाबंदी

टाउन एंड कंट्री प्लानिंग ने स्वां नदी के किनारे किसी भी तरह के निर्माण कार्य पर रोक लगा दी है। ि

By JagranEdited By: Published: Tue, 04 Sep 2018 08:06 PM (IST)Updated: Tue, 04 Sep 2018 08:06 PM (IST)
स्वां नदी के किनारे उद्योग लगाने पर पाबंदी
स्वां नदी के किनारे उद्योग लगाने पर पाबंदी

अविनाश विद्रोही, गगरेट (ऊना)

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टाउन एंड कंट्री प्लानिंग ने स्वां नदी के किनारे किसी भी तरह के निर्माण कार्य पर रोक लगा दी है। जिला ऊना में 1988 में स्वां नदी में भयंकर बाढ़ आई थी। उस समय बाढ़ ने इस क्षेत्र में भारी तबाही मचाई थी। डेवलपमेंट प्लान के तहत विभाग ने लोक निर्माण विभाग व आइपीएच विभाग से आंकड़े मंगवाए थे। बाढ़ से जिन स्थानों पर भारी नुकसान हुआ था, उन स्थानों को चिह्नित करके रिपोर्ट भेजी गई थी। अब नदी के दोनों तरफ किसी भी तरह का निर्माण नहीं किया जा सकेगा। ये दूरी स्वां नदी से दोनों तरफ अलग-अलग है। वहीं कुछ स्थानों पर यह दूरी लगभग एक किलोमीटर तक भी है। 24 फरवरी, 2018 को विभाग द्वारा नोटिफिकेशन जारी की थी, जिसमें नदी के दोनों किनारों पर चिह्नित स्थानों पर निर्माण कार्यो पर प्रतिबंध लगा दिया गया था।

जितने भी निर्माण कार्य पहले से चले हुए हैं या बनकर तैयार हैं, उन्हें भी विभाग द्वारा स्थानांतरण करने की तैयारी चल रही है। लेकिन अभी तक विभाग द्वारा किसी भी इंडस्ट्री या होटल मालिक को इस बारे में नोटिस नहीं भेजा है। यदि कारवाई हुई तो कई बड़े उद्योग व होटल इसकी जद में आ जाएंगे।

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तटीकरण पर करोड़ों खर्च

स्वां नदी के रौद्र रूप से बचाने के लिए सरकार द्वारा करोड़ों रुपये खर्च किए गए हैं। बाढ़ नियंत्रण विभाग द्वारा दावा किया था कि नदी के तटीकरण से 7163 हेक्टेयर भूमि सुरक्षित कर ली जाएगी। ऐसे में क्या विभाग के दावे खोखले हैं या फिर टाउन एंड कंट्री प्ला¨नग विभाग बाढ़ नियंत्रण विभाग द्वारा किए गए दावे को दरकिनार किया गया है। वर्ष 1988 में स्वां नदी में आई बाढ़ के समय किसी तरह का तटीकरण नहीं हुआ था। ऐसे में 40 साल पुराने आंकड़ों को विभाग द्वारा आधार बनाया जाना कहां तक न्यायसंगत है।

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विभाग की इस नोटिफिकेशन से न केवल पुराने उद्योग बल्कि नए लगने वाले उद्योग भी प्रभावित हो रहे हैं। क्योंकि कुछ स्थानों पर दूरी एक किलोमीटर से भी अधिक है जबकि अधिकतर इंडस्ट्री स्वां नदी के साथ-साथ ही बनी है। क्योंकि बाढ़ नियंत्रण विभाग ने दोनों तरफ मजबूत तटीकरण किया हुआ है जिससे अब उद्योगों को बाढ़ का खतरा नहीं है। ऐसे में यह नोटिफिकेशन किसी तुगलकी फरफान से कम नहीं है।

- सुरेश कुमार, सचिव, इंडस्ट्री एसोसिएशन गगरेट उद्योग

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विभाग द्वारा स्वां नदी के दोनों तरफ आइपीएच और लोक निर्माण विभाग द्वारा जुटाए गए आंकड़ों के आधार पर एक नोटिफिकेशन फरवरी में जारी की थी। इसके आधार पर स्वां नदी के किनारे चिह्नित स्थान तक किसी भी तरह का कोई नया निर्माण कार्य नहीं किया जा सकता। क्योंकि यह फैसला डेवलपमेंट प्ला¨नग द्वारा आपातकालीन स्थिति के मद्देनजर लिया गया है।

- निर्मल सिंह, सहायक योजनाकार, टाउन एंड कंट्री प्लानिंग, ऊना


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