भितरघात की आशंका, सरकार का सहारा
जिला सिरमौर की पच्छाद विधानसभा में उपचुनाव के लिए भाजपा द्वारा रीना कश्यप को प्रत्याशी घोषित किया जाना मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर का आशीर्वाद माना जा रहा है। क्योंकि रीना कश्यप गिरिपार क्षेत्र से संबंध रखने के साथ नए चेहरे के तौर पर भाजपा में उभर कर आई है। रीना को टिकट मिलने के बाद से पच्छाद भाजपा में भितरघात की संभावना और प्रबल हो गई है। क्योंकि रीना कश्यप एक बार ही शिलांजी वार्ड से जिला परिषद सदस्य रही हैं। पच्छाद विधानसभा क्षेत्र में 60 पंचायतें व एक नगर पंचायत आती है। क्योंकि रीना को प्रत्याशी घोषित किये जाने
राजन पुंडीर, पवन तोमर, राजगढ़
आरक्षित विधानसभा क्षेत्र पच्छाद में प्रत्याशियों के नामांकन पत्र भरने के बाद मुकाबला रोचक हो गया है। भाजपा के बागी नेताओं ने पार्टी की मुसीबत बढ़ा दी है। भितरघात की आशंका के बीच अब पार्टी को प्रदेश सरकार के सहारे की उम्मीद है।
माना जा रहा है कि पार्टी प्रत्याशी रीना कश्यप को मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर के आशीर्वाद से ही टिकट मिला है। रीना कश्यप गिरिपार से संबंध रखने के साथ युवा चेहरे के तौर पर सामने आई हैं। हालांकि उनको टिकट मिलने के बाद से पच्छाद भाजपा में भितरघात की आशंका प्रबल हो गई है। क्योंकि वह एक बार ही शिलांजी वार्ड से जिला परिषद सदस्य रही हैं। क्षेत्र में 60 पंचायतें व एक नगर पंचायत आती है।
भाजपा के रुष्ट कार्यकर्ताओं में भाजपा प्रदेश कार्यकारिणी सदस्य दयाल प्यारी कश्यप, अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के छात्र नेता आशीष सिक्टा व पवन कुमार द्वारा निर्दलीय प्रत्याशी के तौर पर नामांकन किए जाने के बाद नए समीकरण उबरे हैं। दयाल प्यारी का सराहां की 30 पंचायतों में जनाधार है तो आशीष युवाओं में चर्चित चेहरा है। पच्छाद पर जातिवाद का साया
विधानसभा क्षेत्र में 43 फीसद वोट अनुसूचित जाति के हैं, जिसमें कोली बिरादरी के 35 फीसद वोट हैं। पच्छाद की भौगोलिक परिस्थितियों के साथ 21 दिन में 60 पंचायतों व एक नगर पंचायत में प्रचार प्रसार करना भी प्रत्याशियों के लिए कडी चुनौती है।
गंगूराम दसवीं बार मैदान में
कांग्रेस के प्रत्याशी गंगूराम मुसाफिर ने पच्छाद विधानसभ से दसवीं बार नामांकन दाखिल किया। जीआर मुसाफिर 1999 में कांग्रेस के टिकट पर लोकसभा का चुनाव भी लड़ा था, जिसमें वह भारी मतों से हार गए थे। भावुक हो फूट-फूट कर रोई दयाल प्यारी
जागरण संवाददाता, नाहन : पच्छाद विधानसभा उपचुनाव के लिए सोमवार को नामांकन करने राजगढ़ पहुंची भाजपा की बागी नेता एवं जिला परिषद सदस्य दयाल कश्यप भावुक हो गई और फूट फूट कर रोने लगी। निर्दलीय प्रत्याशी के तौर पर चुनाव लड़ रही दयाल प्यारी ने कहा कि उनके ससुर ने पच्छाद में भाजपा को 1977 से 1995 तक खून पसीने से सींचा। पार्टी को खड़ा करने के लिए दिन-रात एक किया। 1995 से वह स्वयं पार्टी के लिए दिन-रात काम कर रही हैं। आज नामांकन मैंने न्याय के लिए किया है, क्योंकि अपनी बात प्रधानमंत्री मोदी तक पहुंचाना चाहती हूं। सिरमौर और पच्छाद विधानसभा क्षेत्र में जो तानाशाही हो रही है। मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर को भी अवगत करवाया, उन्होंने कोई कार्रवाई नहीं की। नवरात्रि चल रहे हैं अब दुर्गा को भी काली का रूप धारण करना होगा। मेरे पास चुनाव जीतने के लिए न तो धन है और न ही बल है। मगर गरीब जनता और समर्थकों का आशीर्वाद ही उन्हें इस मझधार से पार लगाएगा। दयाल प्यारी ने कहा कि पच्छाद भाजपा कुछ लोगों की तानाशाही चल रही है। पुराने कार्यकर्ताओं को दरकिनार किया जा रहा है। कांग्रेस छोडकर से भाजपा में शामिल हुए लोग आज पच्छाद भाजपा में सर्वेसर्वा बन गए हैं। पच्छाद का यह उपचुनाव जनता की आवाज होगा। चुनाव परिणाम भी चौकाने वाला होगा।