मशोबरा में बनेगा कोरोना के लिए प्री-फेब्रिकेटिड अस्पताल
शिमला में कोरोना के लिए जल्द प्री- फेब्रिकेटिड अस्पताल बनाया जाएगा। इसके लिए तैयारियां जोरों पर हैं। मशोबरा में प्री- फेब्रिकेटिड अस्पताल बनाने पर विचार किया जा रहा है। अस्पताल बनाने के लिए आइआइटी रूड़की की टीम जगह चिन्हित करेगी।
शिमला, जेएनएन। शिमला में कोरोना के लिए जल्द प्री- फेब्रिकेटिड अस्पताल बनाया जाएगा। इसके लिए तैयारियां जोरों पर हैं। मशोबरा में प्री- फेब्रिकेटिड अस्पताल बनाने पर विचार किया जा रहा है। अस्पताल बनाने के लिए आइआइटी रूड़की की टीम जगह चिन्हित करेगी। इस अस्पताल का संचालन आइजीएमसी प्रशासन करेगा। आइआइटी रूड़की की टीम जिस जमीन पर अस्पताल बनेगा, उसकी मिट्टी की गुणवत्ता जांचने और अस्पताल का स्ट्रक्चर बनाने में सहायक होगी। अस्पताल बनाने के लिए जगह अभी तक चिन्हित नहीं हुई है। बताया जा रहा है कि कॉर्पोरेटिव सोशल रिस्पॉन्सिब्लिटी फंड की मदद से अस्पताल बनाया जाएगा। नया अस्पताल बनाने के लिए आइजीएमसी के समीप भी जगह चिन्हित करने पर विचार किया जा रहा था, लेकिन अस्पताल में नए ओपीडी ब्लॉक बनने, ट्रॉमा सेंटर और बहुमंजिला पार्किंग बनने से जगह की कमी होने से विचार बदल दिया गया। पिछले दिनों प्रदेश विधानसभा के मानसून सत्र में प्रदेश मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने अपने व्यक्तव्य में अस्पताल बनाने की बात रखी थी। अस्पताल प्रधानाचार्य डॉ. रजनीश पठानिया ने बताया कि प्री फ्रेब्रिकेटिड अस्पताल बनाने के लिए औपचारिकताएं पूरी की जा रही हैं। इस अस्पताल के बनने से कोरोना से ग्रसित मरीजों को बड़ी राहत मिलेगी।
आइजीएमसी के आसपास बनेगा नया अस्पताल
प्री फ्रेब्रिकेटिड अस्पताल को चलाने के लिए आइजीएमसी के स्टाफ की ड्यूटी लगाई जा रही है। इसलिए कोशिश की जा रही है कि नया अस्पताल आइजीएमसी के आसपास स्थापित किया जाएगा ताकि स्टाफ आइजीएमसी से अस्पताल पहुंचने में अधिक समय न लगे। आइजीएमसी में इन दिनों हजारों की ओपीडी के अलावा 700 से 800 मरीज दाखिल रहते हैं। वहीं कोरोना के लिए बनाए गए 90 बैड के आइसोलेशन वार्ड में 60 से अधिक मरीज दाखिल हैं। बढ़ती भीड़ के बीच संक्रमण का खतरा बढ़ गया है।
अस्पताल में होगी 50 मरीजों को दाखिल करने की सुविधा
कोरोना से निपटने के लिए सरकार ने तीन जिलों में प्री-फेब्रिकेटेड कोविड अस्पताल बनाने का फैसला लिया है। कांगड़ा के टांडा, सोलन के नालागढ़ और शिमला में 50-50 बेड की सुविधा वाले तीन कोविड अस्पताल तैयार होंगे। यह अस्पताल 10 से 15 दिन के भीतर बनाए जाएंगे। इन अस्पतालों के तैयार होने के बाद अस्पतालों में कोविड संक्रमित मरीजों को इनमें शिफ्ट किया जाएगा।