टैक्स डिफाल्टरों पर नगर निगम की नजर
जागरण संवाददाता शिमला नगर निगम शिमला ने आर्थिक मंदी के इस दौर में टैक्स डिफाल्टरों पर
जागरण संवाददाता, शिमला : नगर निगम शिमला ने आर्थिक मंदी के इस दौर में टैक्स डिफाल्टरों पर नजर रखना शुरू कर दिया है। शहर में टैक्स डिफाल्टरों पर पता लगाने के निगम ने उड़न दस्ते का गठन किया है। इन्हें रोजाना किसी क्षेत्र में भेजा जाता है, जहां से लंबे समय से टैक्स नहीं आया है। ऐसे स्थानों पर निगम की टैक्स ब्रांच की टीम टैक्स न देने के कारण जानने से लेकर टैक्स रिकवरी का काम कर रही है। इसके अलावा शहर में कई भवन ऐसे हैं. जिन्होंने टैक्स में छूट के प्रावधान के तहत खुद को इससे दूर रखा है। इनसे भी कारण पूछा जा रहा है कि किन कारणों से इन्हें छूट दी जानी चाहिए।
कुसुम्पटी, छोटा शिमला से लेकर बालूगंज टुटू तक लगातार ही निगम की टीमें दौरा कर रही है। इससे पहले भी अपनी आय को बढ़ाने के लिए निगम प्रशासन ने पिछले साल टैक्स के डिफाल्टरों के खिलाफ विशेष मुहिम चलाई थी। इसके तहत निगम का टैक्स न देने वाले 3300 भवन मालिकों को नोटिस जारी किए थे। इन भवनों को भी पहली बार निगम की ओर से टैक्स न देने के एवज में बिजली व पानी काटने तक के नोटिस जारी किए थे। इसके बाद निगम को टैक्स मिलना शुरू हो गए थे।
करोड़ों का टैक्स है बकाया
नगर निगम की टैक्स की बकाया राशि सात करोड़ से ज्यादा हो गई थी। इसलिए निगम ने इस साल के टैक्स से पहले ही इन्हें नोटिस जारी करना शुरू कर दिया था। अब निगम ने चालू वित्तीय वर्ष के लिए टैक्स के बिल जेनरेट करने शुरू कर दिए हैं। आने वाले समय में टैक्स डिफाल्टर्स की संख्या न बढ़े, इसके लिए पहली ही तैयारी शुरू कर दी है।
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शहर में भवन मालिकों से टैक्स लेने के लिए बिल जेनरेट करने का काम शुरू कर दिया है। समय पर सभी का टैक्स मिल जाए, इसके लिए हर संभव प्रयास किया जा रहा है।
अजीत भारदाज, संयुक्त आयुक्त नगर निगम शिमला