काम न करने की मानसिकता छोड़ें अधिकारी : जयराम
मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा कि अधिकारियों को सरकारी कामकाज न करने की मानसिकता छोड़कर लक्ष्य निर्धारित करना पडे़गा।
शिमला, राज्य ब्यूरो। मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा कि कुछ अधिकारियों ने तय कर लिया है कि कुछ नहीं करना है। उन्होंने सरकारी कामकाज न करने की मानसिकता बना ली है। इस प्रकार की मानसिकता छोड़कर लक्ष्य निर्धारित करना पडे़गा। मुख्यमंत्री ने यह बात प्रदेश सचिवालय में रोजगार सृजन लक्ष्यों की समीक्षा बैठक में कही।
मुख्यमंत्री चाहते थे कि सभी सरकारी विभाग यह प्रयास करें कि किस प्रकार स्वरोजगार के साधन विकसित किए जा सकते हैं। उस दौरान सहकारिता विभाग बैठक के केंद्र बिंदु में आ गया। संबंधित विभाग के अधिकारी ने कहा कि उनके पास ऐसी कोई योजना नहीं है जिसके तहत रोजगार के अवसर पैदा किए जा सकें। मुख्यमंत्री ने कहा कि महाराष्ट्र व गुजरात में सहकारिता एक आंदोलन का रूप लेकर लोगों के लिए स्वरोजगार का सशक्त माध्यम बनकर उभरी है।
क्या हिमाचल में इस प्रकार से सहकारिता को आगे नहीं बढ़ाया जा सकता है? इस पर मुख्य सचिव विनीत चौधरी ने मुख्यमंत्री को आश्वस्त किया कि अगली बैठक में सभी अधिकारी रोजगार के अवसर पैदा करने के लक्ष्य लेकर आएंगे। बैठक के बाद मुख्यमंत्री ने पत्रकारों से कहा कि सरकारी क्षेत्र में नौकरियां सीमित हैं। सरकार प्रयासरत है कि प्रदेश के युवाओं को सरकारी क्षेत्र में रोजगार मिले लेकिन साधन सीमित हैं। युवाओं के लिए स्वरोजगार के अवसर पैदा करने की दिशा में सरकार को कदम उठाना है। ऐसे क्षेत्र जल्द तलाशे जाएंगे जहां प्रशिक्षित युवाओं को आर्थिक स्वावलंबन मिल सके।
मंत्रिमंडल में फेरबदल से इन्कार
मुख्यमंत्री ने कहा कि सभी मंत्री अच्छा काम कर रहे हैं। ऐसे में किसी प्रकार के फेरबदल की आवश्यकता नहीं है। मंत्री क्यों बदले जाएं, जब सब बेहतर काम कर रहे हैं। उन्होंने मंत्रिमंडल में फेरबदल को लेकर चल रही अटकलों पर विराम लगा दिया।