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हिमाचल में 159 कंपनियां करेंगी करोड़ों का निवेश, 41 हजार लोगों को मिलेगा रोजगार

हिमाचल में इन्वेस्टर मीट के तहत मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर की अध्यक्षता में 159 कंपनियों ने राज्य अतिथि गृह पीटरहॉफ शिमला में प्रदेश सरकार के साथ समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए।

By BabitaEdited By: Published: Tue, 26 Feb 2019 08:40 AM (IST)Updated: Tue, 26 Feb 2019 08:40 AM (IST)
हिमाचल में 159 कंपनियां करेंगी करोड़ों का निवेश, 41 हजार लोगों को मिलेगा रोजगार
हिमाचल में 159 कंपनियां करेंगी करोड़ों का निवेश, 41 हजार लोगों को मिलेगा रोजगार

शिमला, राज्य ब्यूरो। धर्मशाला में जून में होने वाली इन्वेस्टर मीट के लिए हिमाचल सरकार की तैयारी रंग लाने लगी है। इन्वेस्टर मीट के लिए सरकार की एक महीने की कसरत के चलते प्रदेश में 17,356 करोड़ रुपये का निवेश होगा। इन्वेस्टर मीट के तहत सोमवार को मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर की अध्यक्षता में 159 कंपनियों ने राज्य अतिथि गृह पीटरहॉफ शिमला में प्रदेश सरकार के साथ समझौता ज्ञापन (एमओयू) पर हस्ताक्षर किए।

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इन कंपनियों में हिमाचल के 40,911 बेरोजगारों को रोजगार मिलेगा। प्रदेश में सबसे अधिक निवेश औद्योगिक क्षेत्र में होगा। औद्योगिक क्षेत्र में 5243 करोड़ रुपये का निवेश किया जाएगा और 25457 लोगों को सीधा रोजगार मिलेगा।  

हिमाचल में निवेशकों को आकर्षित करने के लिए पहले इस स्तर पर कभी काम नहीं किया गया। सरकार के अधिकारियों ने कड़ी मेहनत की है जिसका सार्थक परिणाम दिखाई दे रहा है। उद्योगपतियों को हर संभव सुविधा मुहैया करवाई जाएगी।

-जयराम ठाकुर, मुख्यमंत्री

ऑनलाइन मिलेगी धारा 118 की मंजूरी

मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा है कि हिमाचल प्रदेश में धारा 118 पहले की तरह कायम रहेगी। लेकिन प्रदेश में निवेश करने वालों को किसी प्रकार की दिक्कत न हो, इसके लिए प्रदेश सरकार धारा 118 का सरलीकरण करेगी। इसके तहत मंजूरी लेने के लिए वर्षों लग जाते थे, लेकिन अब ऐसा नहीं होगा। इसके तहत ऑनलाइन मंजूरी जल्द दी जाएगी।

मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने सोमवार को इन्वेस्टर मीट के लिए कंपनियों के साथ एमओयू साइन करने के बाद शिमला में पत्रकारों से बातचीत कर रहे थे। मुख्यमंत्री ने कहा कि धारा 118 की मंजूरी जल्द मिले, इसके लिए नई योजना तैयार की है। निवेशकों को अब न तो लंबा इंतजार करना पड़ेगा और न ही कार्यालयों के चक्कर काटने पड़ेंगे। एक सॉफ्टवेयर तैयार किया जा रहा है।

इस सॉफ्टवेयर की मदद से आवेदन करने वालों से लेकर मंजूरी मिलने तक की पूरी प्रक्रिया की मॉनीर्टंरग होगी। धारा 118 की फाइल कहां पहुंची है, कहां कितने दिनों से किन कारणों से रुकी है, इसे प्रदेश सरकार ऑनलाइन देख सकेगी। देरी होने पर संबंधित अधिकारी की जिम्मेदारी भी तय की जाएगी। लोकसभा चुनाव के बाद ग्लोबल इन्वेस्टर मीट का आयोजन होगा। 

उस दौरान विभिन्न नामी कंपनियां प्रदेश में निवेश करने के लिए एमओयू साइन करेंगी। प्रदेश में तीन चीजें निवेशकों के अनुकूल हैं। यहां सरप्लस और अन्य राज्यों के मुकाबले सस्ती बिजली है। वातावरण शुद्ध है और तीसरा यहां की कानून व्यवस्था बेहतर है। प्रदेश सरकार ने निवेशकों के लिए लैंड बैंक भी तैयार किया है। इसे

हिमाचल  एप में कोई भी निवेशक ऑनलाइन देख सकता है। पूर्व कांग्रेस सरकार ने निवेशकों को आकर्षित करने के लिए कोई काम नहीं किया। लेकिन भाजपा सरकार निवेशकों को हिमाचल लाने के प्रयास कर रही है।


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