बेटा मुख्यमंत्री बन गया पर मां की सादगी कायम, ब्रिकमू देवी 80 साल की उम्र में भी करती हैं खेतों में काम
हिमाचल के मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर के साथ बेशक वीवीआइपी तामझाम चलता है लेकिन उनकी माता की दिनचर्या अभी भी पहले की तरह सादगी से भरपूर है।
मंडी, जेएनएन। हिमाचल के मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर के साथ बेशक वीवीआइपी तामझाम चलता है, लेकिन उनकी 80 साल की माता ब्रिकमू देवी की दिनचर्या अभी भी पहले की तरह सादगी से भरपूर है। सीएम जयराम ठाकुर की माता ब्रिकमू देवी का मन आज भी अपने खेत-बागीचों में खूब रमता है। वह आज भी खेत व बगीचों में काम करती हैं। शायद यही कारण है कि आज भी वह पूरी तरह से फिट हैं।
ब्रिकमू देवी ने बताया उनकी दिनचर्या पहले की तरह ही है। वे खेतों में काम करके खुशी महसूस करती हैं। ब्रिकमू देवी को अपने सीएम बेटे की सादगी पर भी भरपूर विश्वास है। उन्होंने कहा मेरा बेटा सरल स्वभाव का है और वो तो बच्चों से भी खुशी से मिलता है। सीएम के परिवार की सादगी चर्चा में रहती है। यहां उल्लेखनीय है कि पिछले वर्ष जब उन्हें स्वास्थ्य संबंधी दिक्कत का सामना करना पड़ा था तो वे आम मरीज की तरह मंडी अस्पताल में चैकअप करवाने लाइन में खड़ी हो गई थीं।
प्रगतिशील बागवानों ने की ब्रिकमू देवी से मुलाकात
शिमला जिला से संबंध रखने वाले दो युवा प्रगतिशील बागवान मनोज चौहान और कैलाश मंगलवार को सीएम जयराम ठाकुर के गांव तांदी पहुंचे थे। दोनों को भरोसा नहीं था कि वह सीएम जयराम ठाकुर के घर जाकर उनकी माता ब्रिकमू देवी से मिल सकेंगे, लेकिन गांव के लोग उन्हें वहां ले गए। दोनों युवा सीएम की माता की सादगी और स्नेह से भरे स्वागत से हैरान रह गए। उनके आश्चर्य का कोई ठिकाना नहीं रहा, जब सीएम की माता अपने खेत-बागीचों को लेकर उनसे खूब बातें की। मनोज व कैलाश चौहान ने सीएम की माताजी को ताइवान में बना हुआ स्टील का लाइटवेट दराट दिया। इस भेंट को पाकर बिक्रमू देवी काफी खुश हुईं।
मनोज चौहान हिमाचल के विख्यात युवा बागवान संजीव चौहान के छोटे भाई हैं। संजीव चौहान के नाम प्रति हेक्टेयर सेब की पैदावार का विश्व रिकाॅर्ड है। प्रगतिशील बागवान संजीव चौहान को सेब बागवानी के क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्य के लिए राष्ट्रीय व राज्यस्तरीय कई पुरस्कार मिल चुके हैं। मनोज व कैलाश चौहान ने बताया वे ब्रिकमू देवी से मिलकर हैरान रह गए कि सीएम की माता वीवीआईपी तडक़-भडक़ से दूर सादगी से श्रम से भरपूर जीवन बिता रही हैं।